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Sunday, 22 December, 2024
होमदेशअपराधभीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद सहारनपुर में धारा-144 तोड़ने, शांति भंग करने के आरोप में नजरबंद

भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद सहारनपुर में धारा-144 तोड़ने, शांति भंग करने के आरोप में नजरबंद

चंद्रशेखर ने ट्वीट किया है कि पूरी दुनिया ने देखा कि कैसे सरकार और पुलिस की मिलीभगत से रात में ही हमारी बहन का दाह-संस्कार परिजनों की गैरमौजूदगी और उनकी बिना मर्जी के किया गया. इन लोगों की नैतिकता मर चुकी है.

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नोएडा: भीम आर्मी के चीफ प्रमुख चंद्रशेखर आजाद को पुलिस ने बुधवार को सहारनपुर ले जाकर हाउस अरेस्ट (नजरबंद) कर लिया. पुलिस ने उन पर धारा-144 के उल्लंघन का आरोप लगाया है और चेतावनी देते हुए घर में रहने को कहा है. सहारनपुर जिले के फतेहपुर थानाध्यक्ष की ओर से दी गई जानकारी से पता चला है.

थानाध्यक्ष मनोज चौधरी की ओर से जारी पत्र में कहा गया है, ‘आपको बताना है कि जिले में धारा-144 लागू है. विश्वसनीय सूत्रों से पता चला है कि आपके भ्रमण और आचरण से भीड़ एकत्र हो रही है. जिससे शांति भंग का खतरा हो रहा है. किसी अप्रिय घटना की आशंका है. अत: आप अपने घर में मौजूद रहें.

वहीं चंद्रशेखर ने पुलिस के पत्र को ट्विटर पर साझा करते हुए लिखा है, ‘पूरी दुनिया ने देखा कि कैसे सरकार और पुलिस की मिलीभगत से रात में ही हमारी बहन का दाह-संस्कार परिजनों की गैरमौजूदगी और उनकी बिना मर्जी के किया गया. इन लोगों की नैतिकता मर चुकी है. मुझे इनकी पुलिस ने रात हिरासत में लिया और अब सहारनपुर लाकर मुझे नज़रबंद कर दिया गया. लेकिन हम लडेंगे.’

सहयोगी को हिरासत में लेने का आरोप

वहीं संगठन की दिल्ली इकाई के प्रमुख हिमांशु वाल्मीकि को उत्तर प्रदेश पुलिस ने उस वक्त हिरासत में ले लिया जब वे हाथरस सामूहिक दुष्कर्म की घटना में जान गंवाने वाली लड़की के परिजन के साथ हाथरस जा रहे थे. आजाद के सहयोगियों ने बुधवार को यह आरोप लगाया.

अलीगढ़ के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने मामले से अनभिज्ञता जताई है.

आजाद समाज पार्टी के पदाधिकारियों के अनुसार आजाद और वाल्मीकि मंगलवार रात 10 बजे के बाद से लापता हैं और उस वक्त वे हाथरस सामूहिक बलात्कार की घटना में जान गंवाने वाली लड़की के परिजनों के साथ हाथरस जा रहे थे.

लड़की की दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में मंगलवार को मौत हो गई थी.

सामूहिक बलात्कार की शिकार लड़की और उसके परिवार को न्याय दिलाने की मांग को लेकर आजाद समाज पार्टी और दलित संगठन भीम आर्मी से जुड़े लोगों ने मंगलवार को दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल के बाहर प्रदर्शन किया था.

आजाद समाज पार्टी की कोर समिति के सदस्य रविंद्र भाटी ने कहा, ‘जेवर टोल प्लाजा पर पहुंचने के बाद से आजाद और वाल्मीकि का कुछ अता-पता नहीं है.’

उन्होंने आरोप लगाया कि रात के समय आजाद तथा वाल्मीकि को हिरासत में ले लिया गया, लेकिन पुलिस इसे सार्वजनिक नहीं कर रही है.

वहीं, हाथरस में सामूहिक बलात्कार की शिकार हुई लड़की के परिवार ने बुधवार को आरोप लगाया कि पुलिस ने रात में जबरन उनकी बच्ची का अंतिम संस्कार करा दिया.

स्थानीय पुलिस अधिकारियों ने कहा कि अंतिम संस्कार ‘परिवार की इच्छानुसार’ किया गया.

बुधवार दोपहर करीब 12.30 बजे आजाद समाज पार्टी और भीम आर्मी के कार्यकर्ता अलीगढ़ के टप्पल पुलिस थाने पर पहुंचे और उन्होंने प्रदर्शन किया.

भाटी ने टप्पल पुलिस थाना परिसर के अंदर प्रदर्शनकारियों से कहा, ‘आजाद और वाल्मीकि का पता लगाने के लिए हमारे प्रतिनिधियों का एक दल पुलिस और प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों से मुलाकात करेगा.’

इस संबंध में पूछे जाने पर अलीगढ़ के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा, ‘मुझे इस दावे(हिरासत) के बारे में कोई जानकारी नहीं है.’

इस संबंध में जिला पुलिस प्रमुख और कुछ अन्य वरिष्ठ अधिकारियों से संपर्क नहीं हो सका क्योंकि पुलिस अधिकारियों ने बताया कि वे कोरोना वायरस की चपेट में आ गए हैं और पिछले तीन-चार दिन से उनका उपचार चल रहा है.

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