आगरा: कोरोनवायरस महामारी के मद्देनजर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 21 दिन के देशव्यापी लॉकडाउन की घोषणा से प्रवासी श्रमिकों का भारी पलायन शुरू हो गया है.
हजारों लोगों ने पैदल अपने घरों तक पहुंचने की कोशिश की, जिसमें दैनिक मजदूरी करने वाले मजदूर, बच्चे और गर्भवती महिलाएं भी शामिल हैं. इन लोगों ने भोजन और यातायात की व्यवस्था की उम्मीद में आगरा के प्रताप चौक पर डेरा डाल दिया. वे रात भर यात्रा करते रहते हैं और थक जाने पर सड़कों पर भी सोते हैं. सरकार द्वारा सीमा पार करने पर सख्त प्रतिबंध लगाने लगाने के बाद से अधिकांश प्रवासी अब बिना किसी भोजन या आश्रय के बीच में फंस गए हैं.
दिप्रिंट के प्रवीण जैन के द्वारा आगरा में ली हुई तस्वीर आपके लिए.
एक प्रवासी मजदूर अपने परिवार के साथ हाईवे के किनारे सुबह होने का इंतज़ार कर रहा है. देशव्यापी लॉकडाउन के बाद दिल्ली से मज़दूरों में पलायन करना शुरु कर दिया है.
दिल्ली से अपने घर जाता हुआ प्रवासी श्रमिक परिवार जो कि आगरा-लखनऊ हाईवे पर चलते हुए अपने घर जा रहा है.
दिल्ली आगरा हाईवे पर प्रवासी श्रमिकों का परिवार जिसमें एक महिला गर्भवती है जो गाड़ी का इंतज़ार कर रही है.
अपने घर जाने के लिए फुटपाथ पर इंतज़ार करते हुए प्रवासी श्रमिक.
देश के विभिन्न हिस्सों से अपने घर को जाते हुए प्रवासी श्रमिक.
सड़क पर अपने बच्चे के साथ सोती हुई एक महिला.
सड़क पर अपने पिता के साथ एक बच्चा.
एक वाहन पर चढ़ने की कोशिश कर हुए प्रवासी श्रमिक.
आगरा-लखनऊ हाईवे पर अपने घर की ओर पैदल चलते हुए मजदूर.
प्रवासी मजदूर भरी हुई बसों से जाते हुए.
अपने परिवार के साथ जाता हुए श्रमिक और साथ में आगे -आगे चलते हुए दो बच्चियां.
एक श्रमिक परिवार अपने सामान को लेकर आगरा-लखनऊ राजमार्ग पर चलते हुए.
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