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Monday, 6 May, 2024
होमदेशसुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद प्रशांत भूषण ने कहा- मैं एक रुपए का जुर्माना भरूंगा

सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद प्रशांत भूषण ने कहा- मैं एक रुपए का जुर्माना भरूंगा

भूषण ने कहा कि मेरे ट्वीट्स सुप्रीम कोर्ट का अनादर करने के लिए नहीं थे बल्कि ये मामला अन्याय के खिलाफ खड़े होने के लिए लोगों को प्रेरित करेगा.

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नई दिल्ली: वकील प्रशांत भूषण ने सोमवार को कहा कि वह अवमानना मामले में सुप्रीम कोर्ट की तरफ से लगाया गया एक रुपये का सांकेतिक जुर्माना भरेंगे लेकिन यह भी कहा कि वह आदेश के खिलाफ पुनर्विचार याचिका दायर कर सकते हैं.

भूषण पर अवमानना का मामला न्यायपालिका के खिलाफ उनके ट्वीट को लेकर चल रहा था.

अधिवक्ता-कार्यकर्ता ने कहा कि वह न्यायपालिका का बहुत सम्मान करते हैं और उनके ट्वीट शीर्ष अदालत या न्यायपालिका का अपमान करने के लिए नहीं थे.

भूषण ने प्रेस वार्ता में कहा, ‘पुनर्विचार याचिका दायर करने का मेरा अधिकार सुरक्षित है, मैं अदालत द्वारा निर्देशित जुर्माने को अदा करने का प्रस्ताव देता हूं.’

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भूषण ने कहा कि मेरे वकील और वरिष्ठ साथी राजीव धवन ने फैसले के बाद अपनी तरफ से एक रुपए का योगदान किया जिसे मैंने स्वीकार कर लिया है.

उन्होंने कहा कि मेरे ट्वीट्स सुप्रीम कोर्ट का अनादर करने के लिए नहीं थे. भूषण ने कहा कि ये मामला अन्याय के खिलाफ खड़े होने के लिए लोगों को प्रेरित करेगा.

भूषण ने उनके समर्थन में आए सभी लोगों, पूर्व जजों, सामाजिक कार्यकर्ताओं, वकीलों का शुक्रिया अदा किया. अंत में भूषण ने लोकतंत्र जिंदाबाद और सत्यमेव जयते कहा.

बता दें कि जस्टिस अरूण मिश्रा, बीआर गवई और कृष्ण मुरारी की तीन सदस्यीय पीठ ने भूषण के दो ट्वीट्स को लेकर उन्हें अदालत की अवमानना का दोषी पाया और उनपर 1 रूपए का जुर्माना लगाया जिसे उन्हें 15 सितंबर तक चुकाना है.


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क्या है पूरा मामला

जून में प्रशांत भूषण ने अदालत के सीजेआई एसए बोबडे और चार पूर्व मुख्य न्यायाधीशों को लेकर ट्वीट किया था, जून के आखिरी सप्ताह में ही भूषण ने सुप्रीम कोर्ट के छह साल के कामकाज को लेकर भी टिप्पणी की थी.

इन ट्वीट्स पर स्वत: संज्ञान लेते हुए अदालत ने उनके खिलाफ अवमानना की कार्रवाई शुरू की थी.

अदालत ने उन्हें नोटिस भेजा था. जिसके जवाब में भूषण ने कहा था कि सीजेआई की आलोचना करने से शीर्ष अदालत की गरिमा कम नहीं होती है. उन्होंने यह भी कहा था कि पूर्व सीजेआई को लेकर किए गए ट्वीट के पीछे मेरी एक सोच है, जो बेशक भले ही ठीक न लग रही हो लेकिन इसे अवमानना नहीं कह सकते हैं.

(समाचार एजेंसी भाषा के इनपुट के साथ)


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