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Monday, 30 September, 2024
होमदेशअदालत ने बीरभूम विस्फोटों की जांच एनआईए को हस्तांतरित करने का दिया आदेश

अदालत ने बीरभूम विस्फोटों की जांच एनआईए को हस्तांतरित करने का दिया आदेश

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कोलकाता, 21 अप्रैल (भाषा) कलकत्ता उच्च न्यायालय ने बीरभूम जिले में हुए विस्फोटों की जांच यह कहते हुए राज्य सीआईडी ​​से राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को हस्तांतरित करने का आदेश दिया है कि अधिसूचित अपराध की जांच केंद्रीय एजेंसी की प्राथमिकता है।

एनआईए जांच में उच्च न्यायालय की एकल पीठ द्वारा पहले दिये गए स्थगन आदेश को हटाते हुए न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची और न्यायमूर्ति बिवास पटनायक की खंडपीठ ने एक अंतरिम आदेश में सीआईडी ​​को एनआईए के साथ सहयोग करने और 2019 में बीरभूम में दो मकानों में हुए विस्फोट में अपनी जांच से संबंधित सभी दस्तावेज यदि जरूरी हो तो उसे हस्तांतरित करने का निर्देश दिया।

पीठ ने 18 अप्रैल को पारित अपने आदेश में कहा, ‘‘केंद्रीय एजेंसी, जिसकी शक्तियां राज्य एजेंसी से कहीं अधिक व्यापक हैं, उसके द्वारा जांच अधिक प्रभावी होगी और इससे न्याय सुनिश्चित होगा।’’

यह उल्लेखित करते हुए कि एनआईए अधिनियम की धारा 6 में निर्धारित अधिसूचित अपराधों की जांच केंद्रीय एजेंसी की प्राथमिकता है, पीठ ने कहा, ‘‘एनआईए के पक्ष में जांच हस्तांतरण के लिए एक प्रथम दृष्टया मामला बनता है।’’

एनआईए द्वारा जिन अधिसूचित अपराधों की जांच की जा सकती है, उनमें विस्फोटक पदार्थ अधिनियम के तहत अपराध शामिल हैं।

अदालत ने मामले की अगली सुनवायी की तिथि 10 मई तय की। सीआईडी ​​अगस्त, 2019 में सदैयपुर स्थित एक मकान में और उसी साल सितंबर में लोकपुर के एक अन्य मकान में हुए विस्फोट की जांच कर रही थी।

राज्य सरकार के वकील ने दावा किया कि सीआईडी ​​ने जांच संतोषजनक ढंग से की है और कहा कि एनआईए ने एक साल के अंतराल के बाद जांच को हस्तांतरित करने की मांग की थी।

एनआईए के वकील ने कहा कि केंद्रीय एजेंसी द्वारा जांच उच्च न्यायालय द्वारा दिये गए स्थगन के कारण रुक गई थी और अनुरोध किया कि इसे हटा दिया जाए।

पीठ ने कहा कि एनआईए अधिनियम राज्य की एजेंसी को अधिसूचित अपराध के संबंध में प्राथमिकी दर्ज होने पर एक रिपोर्ट उसे प्रस्तुत करना जरूरी बनाता है ताकि केंद्रीय एजेंसी यह निर्णय ले सके कि मामले की जांच की जाए या नहीं।

पीठ ने कहा, ‘‘ऐसा प्रतीत होता है कि राज्य की एजेंसी ने एनआईए को ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं सौंपी।’’

सीआईडी ​​द्वारा एक वर्ष से अधिक समय तक जांच जारी रखने के बाद, एनआईए ने एनआईए अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार शक्तियों का प्रयोग किया और जांच को अपने पास हस्तांतरित किया।

भाषा अमित पवनेश

पवनेश

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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