नयी दिल्ली, 23 मई (भाषा) राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने यहां हाल में मुस्तफाबाद इलाके में बड़े स्तर पर लगी आग के सिलसिले में शहर के पुलिस आयुक्त और दिल्ली सरकार को नोटिस जारी किया है। अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी। पुलिस ने पहले बताया था कि दयालपुर पुलिस थानांतर्गत न्यू मुस्तफाबाद क्षेत्र में सड़क संख्या 23 पर स्थित एक फैक्टरी में आग लग गयी थी जिससे एक व्यक्ति की मौत हो गई थी और छह अन्य झुलस गए थे।
आयोग की ओर से जारी एक बयान में कहा गया, “राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने मीडिया में आई उन खबरों का स्वतः संज्ञान लिया है जिसके अनुसार 19 मई 2022 को राष्ट्रीय राजधानी में आग लगने की एक बड़ी घटना में 42 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो गई और एक महिला समेत छह अन्य लोग झुलस गए।”
बयान में कहा गया, “घटना मुस्तफाबाद के आवासीय क्षेत्र में इमारत की पहली मंजिल पर हुई जहां इन्वर्टर और स्टेबिलाइजर जैसे बिजली के सामान बनते थे। फैक्टरी कथित तौर पर बिना लाइसेंस के चल रही थी।” आयोग ने कहा कि अगर मीडिया में प्रकाशित खबरें सही हैं तो इससे पीड़ितों के मानवाधिकार का उल्लंघन होता है।
आयोग ने इस बाबत दिल्ली के मुख्य सचिव और पुलिस आयुक्त को नोटिस जारी कर चार सप्ताह में विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। बयान में कहा गया कि आयोग ने दोषियों के विरुद्ध की गई कार्रवाई, मृतकों के परिजनों को दिए गए मुआवजे और मजदूरों को दिए जा रहे चिकित्सकीय उपचार की स्थिति पर रिपोर्ट तलब की है।
बयान में कहा गया, “आयोग ने इसका भी संज्ञान लिया है कि दिल्ली में आग लगने संबंधी घटनाएं बार-बार न हों इसके लिए दिल्ली अग्निशमन विभाग को बहुमंजिला इमारतों और बिना लाइसेंस वाली बिल्डिंग का फायर ऑडिट करवाना चाहिए जिनके निर्माण में आग से सुरक्षा के इंतजाम नहीं किये गए हैं।”
भाषा यश उमा
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