नई दिल्ली: भारतीय चिकित्सक संघ (आईएमए) ने मंगलवार को बताया कि वैश्विक महामारी कोविड-19 की दूसरी लहर में संक्रमण से 270 चिकित्सकों की मौत हुई है.
इस सूची में आईएमए के पूर्व अध्यक्ष डॉ. केके अग्रवाल का नाम भी शामिल है, जिनकी संक्रमण से सोमवार को मौत हो गई थी.
आंकड़ों के अनुसार, सबसे अधिक 78 चिकित्सकों की मौत बिहार में हुई है. इसके बाद उत्तर प्रदेश में 37, दिल्ली में 29 और आंध्र प्रदेश में 22 चिकित्सकों की मौत हुई.
आईएमए कोविड-19 पंजीकरण के अनुसार, वैश्विक महामारी की पहली लहर में 748 चिकित्सकों की मौत संक्रमण से हुई थी.
‘बेहद घातक है दूसरी लहर’
आईएमए के अध्यक्ष डॉ. जेए जयालाल ने कहा, ‘ पिछले साल, भारत में कोविड-19 से 748 चिकित्सकों की मौत हुई थी और मौजूदा लहर में इतनी कम अवधि में हमने 270 चिकित्सक खो दिए हैं.’
उन्होंने कहा,‘ वैश्विक महामारी की दूसरी लहर सभी के लिए बेहद घातक साबित हो रही है, खासकर स्वास्थ्य कर्मचारियों के लिए, जो अग्रिम मोर्चे पर तैनात हैं.’
आईएमए के वित्त सचिव डॉ. अनिल गोयल, ‘जो लोग होम क्वारंटीन में हैं वे अस्पताल लेट जा रहे हैं. जो मरीज घर हैं वे नियमित तौर पर कोविड अस्पताल में किसी न किसी छाती के डॉक्टर को दिखाते रहें ताकि शुरूआत में ही उनका ठीक से इलाज किया जा सके. मृत्यु दर अधिक होने का कारण देर से अस्पताल जाना है.’
डॉ. अनिल गोयल ने आगे कहा, ‘जो डॉक्टर कोविड यूनिट में दिन रात काम कर रहे हैं. हो सकता है वैक्सीनेशन के बाद भी उनकी इम्यूनिटी उतनी न हो जिससे वे कोविड के नए वेरिएंट से पार पा सकें, इसलिए डॉक्टरों की ज्यादा मौतें हो रही हैं. डॉक्टरों और प्रशासन को कहना चाहता हूं कि 6-8 घंटे से ज्यादा काम न करें.’
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