यहूदी पूजाघरों में बढ़ी सुरक्षा, सरकार से मिली सहायता और छाबड़ हाऊस के दोबारा खुलने से मुंबई में रहने वाले यहूदी एक बार फिर सुरक्षित महसूस करने लगे हैं।
एक समय, आईएसआई का सोच यह था कि यहां के हिंदू अपने यहां के अल्पसंख्यकों से बदला लेने पर उतर आएंगे. वे भारत में इस तरह का संकट पैदा करने की कोशिश करते रहे हैं कि इस देश में गृहयुद्ध छिड़ जाए.
पारिस्थितिकीय चिंताओं, परिचालन संबंधी मुद्दों और एक जनहित याचिका ने मास्टर प्लान 2005-2025 को कई साल पीछे धकेल दिया. 2011 में स्वीकृत 50 बिस्तरों वाला उप-जिला अस्पताल अभी भी चालू नहीं है.