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Sunday, 16 November, 2025
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दिल्ली पुलिस ने 49 लाख रुपये के डिजिटल धोखाधड़ी मामले में लखनऊ से छह लोगों को गिरफ्तार किया

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नयी दिल्ली, 16 नवंबर (भाषा) दिल्ली पुलिस ने एक बड़े ऑनलाइन जबरन वसूली गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए इसके छह प्रमुख गुर्गों को लखनऊ से गिरफ्तार किया है। एक अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि यह कार्रवाई 71 वर्षीय एक महिला की शिकायत पर जांच के दौरान की गई। महिला से कथित तौर पर 49 लाख रुपये की ठगी की गई। कुछ लोगों ने खुद को कानून प्रवर्तन कर्मी बताकर उसे करीब 24 घंटे तक डिजिटल रूप से बंधक बनाकर रखा।

पुलिस के अनुसार, धोखेबाजों ने पीड़िता को फोन करके बताया कि वह एक आपराधिक मामले में शामिल है और लगातार वीडियो कॉल के जरिए उसे धमकाया।

लगातार दबाव ने उसे तोड़ दिया और उसने सिंडिकेट द्वारा नियंत्रित कई बैंक खातों में रकम भेजी।

जांच के सिलसिले में, क्राइम ब्रांच की एक टीम ने लखनऊ के अमीनाबाद, हसनगंज, मदेयगंज और सदर कैंट इलाकों में छापेमारी की, जिसके बाद गिरफ्तारियां हुईं।

अधिकारी ने बताया कि छह लोगों की पहचान विशाल तिवारी (19) और शकील अहमद (53 ) तथा मोहम्मद ओवैस, मोहम्मद अहद, मोहम्मद आतिफ और मोहम्मद उज्जैब के रूप में हुई है। इन चारों की उम्र 25 वर्ष है।

अधिकारी ने कहा, ‘गिरफ्तार किए गए लोग आर्थिक रूप से कमजोर पृष्ठभूमि से थे और उन्हें धन शोधन में मदद के लिए ‘म्यूल खाता’ संचालक के रूप में भर्ती किया गया था। उनमें से कई स्थानीय दुकानों, होटलों और छोटे-मोटे कामों में काम करते थे, जबकि एक अन्य आपराधिक मामले में मुकदमे का सामना कर रहा था।’

‘म्यूल खाते’ ऐसे बैंक खाते होते हैं जिनका इस्तेमाल जालसाज अपराध से मिले पैसे को ठिकाने लगाने के लिए करते हैं। इन खातों का इस्तेमाल अपराधी अवैध रूप से कमाए गए पैसे को लेने, अंतरित करने या छिपाने के लिए करते हैं।

जांच के दौरान, टीम को पता चला कि गिरोह ने धोखाधड़ी की गई धनराशि को स्थानांतरित करने के लिए कई बैंक खातों का इस्तेमाल किया। पीड़ित द्वारा धनराशि भेजे जाने के बाद, उसे तुरंत अन्य खातों में भेज दिया जाता था और एटीएम से निकाल लिया जाता था।

अधिकारी ने बताया कि गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश जारी है।

भाषा तान्या प्रशांत

प्रशांत

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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