मुंबई, सात जुलाई (भाषा) महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने छत्रपति संभाजीनगर में एक होटल की नीलामी की निविदा प्रक्रिया में किसी भी तरह की अनियमितता का पता लगाने के लिए सोमवार को एक उच्च स्तरीय जांच की घोषणा की।
शिवसेना विधायक एवं राज्य मंत्री संजय शिरसाट विपक्ष के उन आरोपों के बाद आलोचनाओं के घेरे में आ गए थे कि उनके बेटे की कंपनी तीन बोलीदाताओं में से एक थी।
विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के जरिये यह मुद्दा उठाया।
छत्रपति संभाजीनगर में वीआईटीएस होटल बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबद्ध कंपनी ढांडा कॉर्पोरेशन का था। वीआईटीएस होटल सहित ढांडा कॉर्पोरेशन की संपत्तियों को महाराष्ट्र जमाकर्ताओं के हितों का संरक्षण (वित्तीय प्रतिष्ठानों में) अधिनियम, 1999 के तहत जब्त कर लिया गया।
अदालत ने होटल की नीलामी का आदेश दिया। तदनुसार, छत्रपति संभाजीनगर कलक्ट्रेट ने कार्यवाही की।
दानवे ने नीलामी प्रक्रिया में पारदर्शिता की कमी का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि मेसर्स सिद्धांत मैटेरियल प्रोक्योरमेंट एंड सप्लायर्स कंपनी सहित तीन कंपनियां इस प्रक्रिया में शामिल हुईं। उन्होंने कहा कि यह कंपनी महाराष्ट्र के सामाजिक न्याय मंत्री संजय शिरसाट के बेटे सिद्धांत की है।
फडणवीस ने कहा कि राजस्व मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा था कि पूरी प्रक्रिया को रद्द कर दिया गया है और नए टेंडर जारी करने के लिए नई प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
उन्होंने कहा, ‘इस मामले में किसी अनियमितता की पारदर्शी पड़ताल के लिए एक उच्च स्तरीय जांच की जाएगी।’
इस बीच एक अन्य मामले में, फडणवीस ने शहरी क्षेत्रों में नक्सलवाद और उसके समर्थकों पर अंकुश लगाने के लिए लाए गए विधेयक के मसौदे की समीक्षा की।
एक अधिकारी ने बताया कि इसे विधानमंडल के चालू मानसून सत्र में पेश किया जाएगा। महाराष्ट्र विशेष सार्वजनिक सुरक्षा विधेयक को राज्य विधानमंडल की संयुक्त चयन समिति ने अंतिम रूप दे दिया है।
भाषा सुरेश अमित
अमित
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.