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Tuesday, 24 September, 2024
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उच्च पूंजीगत व्यय, रेलवे गलियारों, समुद्री खाद्य उत्पादों पर ध्यान देने से निर्यात बढ़ेगा: निर्यातक

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नयी दिल्ली, छह फरवरी (भाषा) अंतरिम बजट में उच्च पूंजीगत व्यय, तीन प्रमुख आर्थिक रेलवे गलियारे और समुद्री खाद्य उत्पादों का निर्यात बढ़ाने के लक्ष्य जैसे उपायों की घोषणा से देश के समग्र निर्यात को बढाने में मदद मिलेगी। निर्यातकों ने यह बात कही है।

सरकार ने जलीय कृषि उत्पादकता को मौजूदा तीन टन से बढ़ाकर पांच टन प्रति हेक्टेयर करने और पांच एकीकृत एक्वा पार्क स्थापित करके प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना (पीएमएमएसवाई) के कार्यान्वयन को बढ़ाने का प्रस्ताव किया है।

निर्यात व आयात पर भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) की राष्ट्रीय समिति के अध्यक्ष संजय बुधिया ने कहा कि दीर्घकालिक वित्तपोषण के लिए 50 साल के ब्याज मुक्त ऋण के साथ नवाचार के लिए एक लाख करोड़ रुपये के कोष की घोषणा और बिना या शून्य ब्याज दरों पर पुनर्वित्त करना, निजी क्षेत्र को अनुसंधान एवं विकास तथा नए युग की प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अनुसंधान व नवाचार को बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करेगी।

पैटन समूह के प्रबंध निदेशक बुधिया ने कहा, ‘‘ निर्यात पर निरंतर जोर दिया जा रहा है। तीन आर्थिक गलियारों की घोषणा, मल्टी मॉडल संपर्क, अतिरिक्त हवाई अड्डों आदि पर जोर और समुद्री खाद्य निर्यात के लक्ष्य को दोगुना कर एक लाख करोड़ रुपये करना स्पष्ट रूप से विकास के इंजन के रूप में हमारे अंतरराष्ट्रीय व्यापार के महत्व को दोहराता है।’’

फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गेनाइजेशन (एफआईईओ) के अध्यक्ष (कार्यकारी) इसरार अहमद ने कहा कि डिजिटल सहित आधुनिक बुनियादी ढांचे में निवेश पर ध्यान केंद्रित करने से उद्योग के लिए लॉजिस्टिक्स दक्षता बढ़ाने में मदद मिलेगी।

अहमद ने कहा, ‘‘ अनुसंधान एवं विकास और नवाचार के लिए एक लाख करोड़ रुपये का आवंटन निजी क्षेत्र को व्यापार तथा उद्योग के उभरते क्षेत्रों में अपने शोध व नवोन्मेषण को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करेगा।’’

तिरुपुर एक्सपोर्टर्स एसोसिएशन (टीईए) के चेयरमैन ए. शक्तिवेल ने कहा कि पीएम मित्र जैसी योजनाओं के लिए धन के आवंटन से घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी।

उन्होंने कहा, ‘‘ अंतरिम बजट में आयात शुल्क सहित प्रत्यक्ष तथा अप्रत्यक्ष करों की दरों में कोई बदलाव नहीं किया गया है, जिससे संतुलन का एहसास होता है।’’

देश का व्यापारिक निर्यात चालू वित्त वर्ष 2023-24 में अप्रैल-दिसंबर के दौरान 5.7 प्रतिशत घटकर 317.12 अरब डॉलर रह गया है। आयात 7.93 प्रतिशत घटकर 505.15 अरब डॉलर रहा है। अप्रैल-दिसंबर, 2022 में 212.34 अरब डॉलर के मुकाबले चालू वित्त वर्ष 2023-24 की पहली तीन तिमाहियों में व्यापार घाटा 188.02 अरब अमेरिकी डॉलर रहा है।

भाषा निहारिका अजय

अजय

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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