नई दिल्ली: बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के नेता अफजाल अंसारी को गाजीपुर की एमपी/एमएलए कोर्ट, द्वारा अपहरण और हत्या के मामले में दोषी ठहराए जाने के कारण सोमवार को उनकी लोकसभा सदस्यता रद्द कर दी गई.
अफजाल अंसारी गैंगस्टर से राजनेता बने मुख्तार अंसारी का भाई है और गाजीपुर निर्वाचन क्षेत्र से सांसद था.
लोकसभा की ओर से जारी अधिसूचना में कहा गया, ‘‘उत्तर प्रदेश के गाजीपुर की एमपी/एमएलए कोर्ट में विशेष सुनवाई/980/2012 में अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश, द्वारा दोषी ठहराए जाने के परिणामस्वरूप, उत्तर प्रदेश के गाजीपुर संसदीय क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करने वाले लोकसभा सदस्य अफजाल अंसारी सदस्यता से अयोग्य हो गए हैं. भारत के संविधान के अनुच्छेद 102 (1) (ई) के प्रावधानों के संदर्भ में जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 8 के तहत उन्हें 29 अप्रैल 2023 को सजा सुनाई गई थी.’’
गौरतलब है कि एमपी/एमएलए कोर्ट ने शनिवार को गैंगस्टर से नेता बने अफजाल अंसारी को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक कृष्णानंद राय की हत्या से संबंधित अपहरण और हत्या के मामले में दोषी ठहराया और उसे चार साल कैद की सजा सुनाई थी. अफजाल पर एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया था.
अदालत ने पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी को भी गैंगस्टर एक्ट के 14 साल पुराने एक मामले में 10 साल कैद और पांच लाख रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई थी.
गैंगस्टर से नेता बने मुख्तार अंसारी और बसपा सांसद अफजाल अंसारी के खिलाफ शनिवार को अपहरण और हत्या के मामले में उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में एमपी-एमएलए कोर्ट द्वारा फैसला सुनाए जाने से पहले सुरक्षा बढ़ा दी गई थी.
एक अधिवक्ता ने बताया कि 2005 में कृष्णानंद राय हत्याकांड और व्यापारी नंद किशोर रूंगटा के अपहरण के बाद 22 नवंबर 2007 को गाजीपुर जिले के मोहम्मदाबाद थाने में सांसद अफज़ाल अंसारी और मुख्तार अंसारी को शामिल करते हुए गैंगस्टर अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कराया गया था.
उन्होंने बताया कि 23 सितंबर 2022 को प्रथम दृष्टया दोनों के खिलाफ आरोप तय किए गए और अभियोजन पक्ष की गवाही पूरी हुई. मुख्तार वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश हुआ जबकि अफज़ाल ने अदालत में पेशी दी.
यह भी पढ़ेंः ‘पिता की शिखा का न्यायपालिका ने बढ़ाया मान’, मुख्तार अंसारी को गैंगस्टर एक्ट में कोर्ट ने सुनाई सजा