नई दिल्ली: पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख इमरान खान ने रविवार को वजीराबाद में हत्या के प्रयास के पीछे ‘सत्ता में बैठे लोगों’ का हाथ बताते हुए विशेष रूप से प्रधान मंत्री शहबाज शरीफ, आंतरिक मंत्री राणा सनाउल्लाह और एक खुफिया अधिकारी का नाम लिया. स्थानी अखबार डॉन ने यह जानकारी दी है.
इमरान ने यह आरोप तब लगाया जब इस्लामाबाद पुलिस उन्हें तोशखाना मामले में गिरफ्तार करने के लिए लाहौर स्थित ज़मान पार्क में उनके आवास पर पहुंची है.
इमरान पर 23 नवंबर को वजीराबाद में हमला किया गया था जब वह पीएमएल-एन के खिलाफ ‘आजादी मार्च’ का नेतृत्व कर रहे थे और मध्यावधि चुनाव की मांग कर रहे थे. कानून प्रवर्तन एजेंसियों ने संदिग्ध नवीद मेहर को हमले की जगह से गिरफ्तार कर लिया और हत्या के प्रयास की जांच जारी है.
पाकिस्तान स्थित डॉन अखबार ने बताया कि पीटीआई के वफादारों को संबोधित करते हुए, इमरान ने कहा कि वह कभी भी ‘किसी व्यक्ति या संस्था के सामने नहीं झुके और आपको भी ऐसा नहीं करने देंगे.’
उन्होंने कहा कि ‘केवल एक राष्ट्र, एक समूह नहीं’ देश के सामने आने वाली चुनौतियों का सामना कर सकता है.
इमरान ने कहा कि ‘मैंने आपको अपने समर्थन के लिए नहीं बल्कि आपको धन्यवाद देने के लिए बुलाया था.’
डॉन अखबार ने बताया कि पाकिस्तान सरकार के प्रदर्शन के बारे में बात करते हुए इमरान ने कहा कि यह देश के लिए ‘सबसे खराब समय’ था क्योंकि अर्थव्यवस्था ‘डूब गई’ थी और लोग ‘पाकिस्तान के इतिहास में रिकॉर्ड उच्च मुद्रास्फीति’ से कुचले जा रहे थे.
इमरान ने आरोप लगाया कि सरकार के नेताओं ने विदेशों में अपनी संपत्ति जमा की है और पूर्व सेना प्रमुख जनरल (सेवानिवृत्त) कमर जावेद बाजवा द्वारा कानूनी मामलों में उन्हें संरक्षण दिया गया है.
अरेस्ट वारेंट
पीटीआई ने देश भर में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन की धमकी दी क्योंकि पुलिस इमरान को ज़मान पार्क निवास से गिरफ्तार करने की कोशिश कर रही है.
डॉन की रिपोर्ट के अनुसार, इस्लामाबाद पुलिस अपने पंजाब पुलिस समकक्षों के साथ रविवार को पीटीआई के अध्यक्ष इमरान खान के आवास पर पहुंची, ताकि तोशखाना अदालत की सुनवाई से लगातार अनुपस्थित रहने के कारण उन्हें हिरासत में लिया जा सके. 70 वर्षीय पूर्व प्रधान मंत्री ने मामले में इस्लामाबाद सत्र अदालत में तीन बार अभियोग सुनवाई को छोड़ दिया है.
डॉन ने खबर दी कि इस्लामाबाद पुलिस जब इमरान को गिरफ्तार करने के लिए उनके आवास पर पहुंची तो वहां बड़ी संख्या में पीटीआई कार्यकर्ता मौजूद थे. वे फवाद चौधरी के बुलावे पर वहां जमा हुए थे. तोशखाना मामले की सुनवाई में इमरान के लगातार नहीं आने पर सत्र अदालत के न्यायाधीश ने गैर-जमानती वारंट जारी किया था. वहीं, पुलिस ने यह भी कहा है कि गिरफ्तारी में बाधा डालने वालों पर कार्रवाई की जाएगी.
डॉन की खबर के मुताबिक, इमरान पर आरोप है कि उन्होंने तोशखाना से अपने पास रखी संपत्ति की घोषणाओं में उपहारों का ब्योरा छिपाया.
इस्लामाबाद पुलिस ने रविवार को सिलसिलेवार ट्वीट में कहा कि लाहौर पुलिस के सहयोग से इमरान को गिरफ्तार करने के लिए अभियान चलाया जा रहा है.
पुलिस ने लिखा, ‘अदालत के आदेशों के निष्पादन में बाधा डालने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.’
दि डॉन ने बताया कि टेलीविजन पर एक फुटेज में पुलिस अधिकारियों को ज़मान पार्क निवास के बाहर पीटीआई कार्यकर्ताओं द्वारा रोके जाने को दिखाया गया है.
थोड़ी देर बाद टेलीविजन फुटेज में इमरान के घर के बाहर पंजाब पुलिस की एक टुकड़ी आती दिखाई दी.
गौरतलब है कि अतिरिक्त जिला और सत्र न्यायाधीश जफर इकबाल ने 28 फरवरी को पीटीआई प्रमुख के लिए गैर-जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया था. उस समय इमरान अभियोग के लिए व्यक्तिगत रूप से पेश नहीं हुए थे. इमरान उस दिन चार में से तीन सुनवाई में पेश में कामयाब हुए थे.
वारंट में कहा गया है कि इमरान बार-बार अदालत के सामने पेश होने में विफल रहे हैं. अदालत ने कहा, ‘आरोपी अदालतों और मामलों के लिए एक पिक एंड चॉइस बना रहा है और यह मामला उसकी प्राथमिकता में शामिल नहीं है.’
इसमें कहा गया है, ‘आरोपी को 7 मार्च के लिए गिरफ्तारी के गैर-जमानती वारंट के जरिए तलब किया जाए.’
दूसरी ओर, फवाद चौधरी ने ‘लाल रेखा’ पार करने पर देशव्यापी विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी है.
इमरान के आवास के बाहर प्रेस कॉन्फ्रेंस में पीटीआई नेता फवाद चौधरी ने कहा कि इस्लामाबाद पुलिस तोशखाना मामले में उनकी गिरफ्तारी को अंजाम देने के लिए पूर्व प्रधानमंत्री के आवास पर पहुंची थी.
उन्होंने कहा, ‘इमरान के खिलाफ 74 मामले हैं. इन सभी मामलों में किसी भी व्यक्ति के लिए अदालत में पेश होना मानवीय रूप से संभव नहीं है.’
उन्होंने दावा किया कि इमरान की गिरफ्तारी का उद्देश्य पंजाब में आगामी आम चुनाव को स्थगित करना है. फवाद ने कहा कि इमरान ने हमेशा न्यायपालिका का सम्मान किया है और जब भी उन्हें बुलाया गया वह अदालत में पेश हुए. फवाद ने कहा, ‘लेकिन वे चाहते हैं कि इमरान खान अदालत जाएं ताकि आतंकवादी उन्हें फिर से निशाना बना सकें.’ इसके बाद उन्होंने देश भर के पार्टी कार्यकर्ताओं से तैयारी करने का आह्वान किया.
फवाद ने कहा, ‘अगर वे रेखा पार करते हैं, तो ऐसा विरोध होगा जो पाकिस्तान ने पहले कभी नहीं देखा है.’ दूसरी ओर, पीटीआई के उपाध्यक्ष शाह महमूद कुरैशी ने समर्थकों से न घबराने को कहा.
इमरान को 28 फरवरी को तोशखाना रेफरेंस में अभ्यारोपित किया जाना तय था, लेकिन उनके वकील ने एडीएसजे इकबाल से अनुरोध किया था कि उन्हें सुनवाई से छूट दी जाए क्योंकि उन्हें कई अन्य अदालतों में पेश होना था. उनका अभियोग पहले दो बार टाल दिया गया था.
जज ने तब इमरान के लिए गिरफ्तारी वारंट जारी किया था और सुनवाई 7 मार्च तक के लिए स्थगित कर दी थी.
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