(तस्वीरों के साथ)
देहरादून, 10 दिसंबर (भाषा) सेना की मध्य कमान के कमांडर-इन-चीफ लेफ्टिनेंट जनरल योगेन्द्र डिमरी ने शनिवार को भारतीय सैन्य अकादमी के प्रशिक्षण प्राप्त कर चुके कैडेट में यहां जोश भरते हुए कहा कि वे प्रौद्योगिकी क्षेत्र में हो रहे बदलावों के प्रति सजग रहें ताकि युद्धकला की बदलती गतिशीलता से निपटा जा सके।
उन्होंने कहा कि नैनोटेक्नोलॉजी, मशीन लर्निंग, कृत्रिम बुद्धिमत्ता और वर्चुअल रियलिटी जैसी नयी प्रौद्योगिकी के आगाज के साथ आधुनिक युद्धकल की गतिशीलता तेजी से बदल रही है। उन्होंने कैडेट से कहा कि सामसामयिक चुनौतियों से निपटने के लिए वे तैयार रहें।
उन्होंने कहा, ‘‘ सैनिक होना निस्वार्थ समर्पण और त्याग की मांग करता है जिसे आप सभी मसहूस करेंगे।’’ अकादमी में रंगारंग पासिंग-आउट परेड के बाद कैडेट को संबोधित करने के दौरान डिमरी ने उन्हें कमीशन प्राप्ति से पूर्व प्रशिक्षण सफलता पूर्वक संपन्न करने के लिए बधाई दी। उन्होंने कैडेट से कहा कि वे अपने-अपने देशों का जुनून और गर्व के साथ सेवा करें।
आईएमए में अपना प्रशिक्षण पाठ्यक्रम पूरा करके शनिवार को कुल 344 कैडेट पास-आउट हुए जिनमें से 314 कैडेट भारतीय हैं, जबकि 30 कैडेट 11 मित्र देशों के हैं।
इन कैडेट में सबसे अधिक उत्तर प्रदेश के 51, जबकि हरियाणा के 30, उत्तराखंड के 29, बिहार के 24, महाराष्ट्र तथा पंजाब के 21-21, हिमाचल के 17, राजस्थान के 16, मध्य प्रदेश के 15, दिल्ली के 13 और केरल के 10 कैडेट हैं।
इसके अलावा बाकी राज्यों का प्रतिनिधित्व दस से कम है। छोटा राज्य होने के बावजूद उत्तरखंड के कैडेट की संख्या प्रतिशत के लिहाज से सर्वाधिक है।
भाषा संतोष माधव
माधव
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