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शनिवार, 5 जुलाई, 2025
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केंद्र ने दिल्ली, पड़ोसी राज्यों से पराली जलाने पर अंकुश के लिये रणनीति बनाने को कहा

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नयी दिल्ली, 21 सितंबर (भाषा) केंद्र ने बुधवार को दिल्ली और पड़ोसी राज्यों से पराली जलाने पर अंकुश लगाने के लिये व्यापक रणनीति तैयार करने को कहा।

सरकार ने पराली जलाने के कारण राष्ट्रीय राजधानी में सर्दियों में वायु प्रदूषण फैलने से रोकने के लिये बुधवार को पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और दिल्ली सरकार को व्यापक सूक्ष्म स्तर पर योजना तैयार करने तथा कृषि अवशेष को खाद में तब्दील करने की तकनीक (बॉयो डिकम्पोजर) के उपयोग को बढ़ावा देने को कहा।

राज्य सरकार और भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (आईसीएआर) के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक में केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि राज्यों ने चालू वित्त वर्ष में मिले 600 करोड़ रुपये पूरी तरह से खर्च नहीं किये हैं।

तोमर के हवाले से एक आधिकारिक बयान में कहा गया है, ‘‘राज्यों को चालू वित्त वर्ष में 600 करोड़ रुपये दिये गये हैं। उसमें से 300 करोड़ रुपये खर्च नहीं हो पाए।’’

उन्होंने कहा कि केंद्र और संबंधित राज्यों को संयुक्त रूप से एक दीर्घकालिक योजना तैयार करनी चाहिए और एक निश्चित समयसीमा के भीतर फसल अवशेष जलाने की समस्या से मुक्ति के लिये बहु-आयामी गतिविधियां अपनानी चाहिए।

मंत्री ने पराली जलाने को रोकने के लिए अब तक की गई कार्यवाही की समीक्षा की और पड़ोसी राज्यों के प्रस्तावित कदम पर चर्चा की।

तोमर ने कहा कि सर्दी के मौसम में पराली जलाने पर प्रभावी तरीके से अंकुश के लिये राज्यों को सूक्ष्म स्तर पर व्यापक योजना तैयार करनी चाहिए।

बयान के अनुसार, उन्होंने कहा कि पूसा संस्थान द्वारा तैयार ‘बायो-डीकंपोजर’ पराली की समस्या के समाधान की दिशा में महत्वपूर्ण है।

उन्होंने कहा कि इसके अधिकाधिक उपयोग पर जोर दिया जाना चाहिए। साथ ही किसानों को ऐसे खेतों पर ले जाकर पूसा संस्थान की इस पद्धति को दिखाया जाना चाहिए ताकि उन्हें पता चले कि इसका किस तरह से फायदा हो रहा है।

भाषा

रमण अजय

अजय

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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