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Monday, 23 September, 2024
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दिल्ली मेट्रो की फर्जी नौकरी के लिए ऑनलाइन आवेदन करने पर 19 हजार रुपये का नुकसान

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नयी दिल्ली, 21 अप्रैल (भाषा) राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में एक व्यक्ति के साथ एक ऐसी नौकरी के लिए आवेदन करने के दौरान ऑनलाइन पंजीकरण शुल्क का भुगतान करते समय 19,000 रुपये से अधिक की ठगी की गई, जो मौजूद ही नही थी। पुलिस ने बृहस्पतिवार को इसकी जानकारी दी ।

पुलिस ने कहा कि उन्होंने इस संबंध में तीन लोगों को गिरफ्तार किया है जिन्होंने उम्मीदवारों को ठगने के लिए दिल्ली मेट्रो में नौकरी की रिक्तियों के संबंध में सोशल मीडिया पर कथित रूप से फर्जी विज्ञापन पोस्ट किया था ।

उन्होंने बताया कि आरोपियों की पहचान उत्तर प्रदेश के नोएडा निवासी नितिन सिंह (30), सुमंत कुमार (39) तथा न्यू अशोक नगर के रहने वाले मोहम्मद शाहनवाज (23) के रूप में की गयी है ।

पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि शास्त्री नगर निवासी भूपेंद्र सिंह (21) ने शिकायत दर्ज कराई कि उसने दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (डीएमआरसी) में रिक्ति के संबंध में सोशल मीडिया पर एक विज्ञापन देखा।

पुलिस ने कहा कि उस लिंक पर क्लिक करने के बाद, उसे एक व्हाट्सएप संदेश मिला, जिसमें दिल्ली मेट्रो रेल वेबसाइट का एक और लिंक था।

शिकायतकर्ता ने तब वेब फॉर्म भरा और कथित पंजीकरण शुल्क के लिए आवश्यक 49 रुपये के लेनदेन के लिए अपने डेबिट कार्ड का विवरण भी अपलोड किया। अधिकारी ने कहा कि वन टाइम पासवर्ड (ओटीपी) भरने के बाद उसके बैंक खाते से 19,049 रुपये काट लिए गए।

उन्होंने बताया कि इस बीच, इसी तरह की धोखाधड़ी के आरोपों वाली एक अन्य शिकायत भी प्राप्त हुई थी, उन्होंने कहा।

पुलिस उपायुक्त (उत्तर) सागर सिंह कलसी ने बताया कि जांच के दौरान पता चला कि आरोपी नोएडा से रैकेट चला रहे थे और उन्हें मंगलवार को गिरफ्तार किया गया।

डीसीपी ने कहा कि नितिन ने बताया कि उसने नोएडा में कॉल सेंटरों में काम किया, जहां से उसने नौकरी के इच्छुक लोगों को धोखा देने के विभिन्न तरीके सीखे।

पुलिस ने कहा कि उसने यह भी बताया कि उसने डीएमआरसी में नौकरी के अवसरों के लिए सोशल मीडिया पर एक पेज बनाया और उस पेज पर अपने फर्जी व्हाट्सएप नंबर का लिंक अपलोड किया।

उन्होंने कहा कि नौकरी के लिये भेजे गये दस्तावेज के आधार पर फर्जी आईडी बना कर आरोपी खातों से पैसे स्थानांतरित करते थे ।

उन्होंने बताया कि सुमंत और शाहनवाज आरोपी नितिन को फर्जी सिम कार्ड मुहैया कराते थे।

पुलिस ने बताया कि उनके पास से कुल 106 सिम कार्ड, एक सफारी कार, आठ स्मार्ट फोन, और 11 फर्जी आधार कार्ड बरामद हुए हैं।

भाषा रंजन उमा

उमा

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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