मुंबई, 21 फरवरी (भाषा) केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) की विपक्ष द्वारा ‘गब्बर सिंह टैक्स’ के रूप में आलोचना किए जाने को सोचे-समझे बगैर दी गई प्रतिक्रिया बताते हुए सोमवार को कहा कि यह देश के संस्थानों का अनादर है।
सीतारमण ने देश की वाणिज्यिक राजधानी में बजट के बाद आयोजित एक कार्यक्रम में कहा कि जीएसटी के बारे में निर्णय लेने वाली सर्वोच्च संस्था जीएसटी परिषद में केंद्र के साथ सभी राज्यों के प्रतिनिधि शामिल होते हैं और केंद्र का निर्णयों पर सिर्फ एक-तिहाई असर रहता है।
कांग्रेस के प्रमुख नेता राहुल गांधी लगातार जीएसटी को ‘गब्बर सिंह टैक्स’ की संज्ञा देकर इसकी आलोचना करते रहे हैं। गांधी का कहना है कि जीएसटी की वजह से देश की आर्थिक वृद्धि में गिरावट आई है।
इस बारे में सीतारमण ने कहा, ‘चाहे जो भी वजह हो, जानबूझकर या अनजाने में, जब हम अपने जिस भी एजेंडे से जीएसटी की छवि को धूमिल करते हैं तो हम उस संस्थान को छोटा कर रहे हैं जिसने सभी राज्यों को एक मंच पर लाने का काम किया है।’
उन्होंने कहा कि जीएसटी के बारे में इस तरह की प्रतिक्रियाओं से देश के अपने ही संस्थानों का अनादर होता है।
भाषा
प्रेम रमण
रमण
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.