गुवाहाटी: बृहस्पतिवार रात असम के सरकारी चिड़ियाघर में एक चार साल का जिराफ मृत पाया गया.
चिड़ियाघर के संभागीय वन अधिकारी (प्रभारी) अश्विनी कुमार ने कहा: ‘पहली नज़र में, ये मामला दुर्घटनावश हुई मौत का लगता है’. अधिकारी ने आगे कहा कि जिराफ की मौत पिंजरे के अंदर फंसकर गला घुट जाने से हुई, और वहां पर तैनात स्टाफ को तुरंत सूचित कर दिया गया था.
राज्य के वन मंत्री परिमल सुक्लाबैद्या ने जांच के आदेश दे दिए हैं, और 3 दिन दिन के अंदर रिपोर्ट दाख़िल किए जाने की संभावना है.
अश्विनी कुमार ने दिप्रिंट से कहा, ‘रात के समय वो किसी चीज़ में फंस गई, और उसका दम घुट गया. जिराफ को पिछले दो साल से बाड़े में रखा हुआ था. ऐसा नहीं है कि हमने उसे किसी नए पिंजरे में रखा था’.
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लेकिन अधिकारी ने जानवरी की मौत की परिस्थितियों के बारे में ज़्यादा विस्तार से बात नहीं की, क्योंकि अब ये मामला ‘जांच टीम के अधिकार क्षेत्र’ में आता है. उन्होंने कहा कि पिंजरे मानक साइज़ के थे, जैसा कि केंद्रीय ज़ू अथॉरिटी ने स्वीकृत किया हुआ है.
रोंगीली नाम के इस जिराफ को दिसंबर 2019 में, पटना चिड़ियाघर से इस सुविधा में लाया गया था.
2019 में जब रोंगीली को चिड़ियाघर में लाया जा रहा था, तो सुक्लाबैद्या ने ट्वीट किया था. उन्होंने कहा था, ‘8 साल के लंबे अंतराल के बाद, ये फिर से ज़ू का हिस्सा बन जाएगी…मादा जिराफ को एनिमल एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत @PatnaZoo से लाया जा रहा है, जिसे नई दिल्ली की सेंट्रल ज़ू अथॉरिटी ने स्वीकृति दी है.
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