टोरंटो: कनाडा की भारतीय मूल की रक्षा मंत्री अनिता आनंद और शीर्ष सैन्य कमांडर ने यौन शोषण, यौन उत्पीड़न या भेदभाव का शिकार रहे कनाडाई सशस्त्र बलों के मौजूदा और पूर्व सदस्यों से माफी मांगी है जिसका लंबे समय से इंतजार किया जा रहा था.
रक्षा मंत्री आनंद, चीफ ऑफ स्टाफ जनरल वायने इयरे और उप रक्षा मंत्री जोडी थॉमस ने सरकार की तरफ से उन महिलाओं और पुरुषों से माफी मांगी जो सेना में यौन शोषण, यौन दुर्व्यवहार और भेदभाव का शिकार बने हैं.
अनीता ने ट्विटर के जरिेए भी इस बात की जानकारी दी. उन्होंने ने ट्वीट किया ‘आज मैंने, चीफ ऑफ स्टाफ जनरल वायने इयरे और उप रक्षा मंत्री जोडी थॉमस के साथ मिलक कनाडा सरकार की ओर से सशस्त्र बल और राष्ट्रीय सुरक्षा में हमारे सदस्यों और कर्मचारियों की रक्षा करने में इन संस्थानों की विफलता के लिए माफी मांगी.’
For too long, members of our @CanadianForces, veterans, current and former employees of @NationalDefence, and staff of the Non-Public Funds have suffered sexual harassment, sexual assault, or discrimination based on sex, gender, gender identity or sexual orientation. pic.twitter.com/XD059q0KUW
— Anita Anand (@AnitaAnandMP) December 13, 2021
कनाडा की सेना ऐसे वक्त में यौन दुव्यर्वहार के आरोपों से निपटने और इन्हें रोकने के लिए बेहतर व्यवस्था बनाने के सार्वजनिक और राजनीतिक दबाव का सामना कर रही है जब आनंद को अक्टूबर में देश का नया रक्षा मंत्री नियुक्त किया गया.
कनाडाई सशस्त्र बल यौन शोषण या भेदभाव का शिकार रहे मौजूदा और पूर्व सदस्यों का भरोसा वापस हासिल करने की कोशिश कर रहे हैं.
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राष्ट्रीय रक्षा मुख्यालय से ऑनलाइन प्रसारित हुए कार्यक्रम में सरकार ने माफी मांगी.
रक्षा मंत्री ने अपने भाषण की शुरुआत में कहा, ‘हमारे कनाडाई सशस्त्र बलों के सदस्यों ने देश की सेवा कर हमेशा अपने आप से पहले सेवा को रखा है.’ उन्होंने यह भी कहा कि सेना के पास हमेशा कनाडाई लोगों का समर्थन रहा और हम हमेशा आपके रहेंगे.
उन्होंने कहा, ‘रक्षा मंत्री के तौर मैं कनाडा की सरकार की ओर से आपसे माफी मांगती हूं.’
उन्होंने कहा, ‘मैं उन हजारों कनाडाई लोगों से माफी मांगती हूं जिन्हें इसलिए नुकसान पहुंचाया गया क्योंकि आपकी सरकार ने आपकी रक्षा नहीं की. हम न्याय और जवाबदेही सुनिश्चित करने की सही व्यवस्था स्थापित करने में भी नाकाम रहे. आपकी सरकार सेना और विभाग में यौन शोषण, यौन उत्पीड़न और लिंग के आधार पर भेदभाव से निपटने के प्रयासों में विफल रही.’
रक्षा मंत्री ने कहा, ‘चीजें बदल सकती हैं, वे बदलनी चाहिए और वे बदलेंगी.’ आनंद ने शीर्ष सैन्य अधिकारियों के बीच ऐसे दुर्व्यवहार से निपटने के लिए ज्यादा कुछ न करने पर आलोचनाओं का शिकार बने हरजीत सज्जान के स्थान पर अक्टूबर में रक्षा मंत्री का पद संभाला. ऐसा अनुमान है कि यौन उत्पीड़न के 60 प्रतिशत पीड़ित महिलाएं हैं.
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