नई दिल्ली: तमिलनाडु में कुन्नुर के नजदीक नीलगिरी की पहाड़ियों में सेना का हेलिकॉप्टर क्रैश हुआ है जिसमें सीडीएस बिपिन रावत भी सवार थे. भारतीय वायु सेना ने ट्वीट कर इस क्रैश की जानकारी दी है. ऐसा बताया गया है कि हेलिकॉप्टर में 14 लोग सवार थे. बिपिन रावत अपनी पत्नी और कुछ अन्य लोगों के साथ यात्रा कर रहे थे. बता दें कि इससे पहले साल 2015 में नागालैंड से उड़ान भरने से कुछ मिनट पहले बिपिव रावत एक इंजन वाले हेलीकॉप्टर दुर्घटना में बाल-बाल बचे थे।
ऐसे कई बड़े नाम है जो हवाई दुर्घटनाओं में अपनी जान गंवा चुके हैं और कई ऐसे भी रहे हैं जो दुर्घटना के बाद भी सकुशल लौट आए. खुद बिपिन रावत भी 2015 में ऐसे ही एक हादसे का शिकार हुए थे जिसमें उन्हें मामूली चोटें आई थीं.
माधव राव सिंधिया से लेकर गंतिमोहन चंद्र बालयोगी तक ऐसे कई बड़े नाम जिनका क्रैश जैसी घटनाओं में निधन हो गया. इसके अलावा कुछ ऐसे लोग भी हैं जो दुर्घटनाओं को चकमा देकर बचने में कामयाब रहे.
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गति मोहन चंद्र बालयोगी
3 मार्च साल 2002 में 12वीं लोकसभा स्पीकर आंध्र प्रदेश के कृष्णा जिले में हेलिकॉप्टर हादसे में मारे गए थे. हादसे के दौरान पेशे से वकील और राजनीतिज्ञ मोहन चंद्र बालयोगी की उम्र महज़ 50 साल थी.
वाईएसआर रेड्डी
दक्षिण राज्य आंध्र प्रदेश में कांग्रेस के बड़े नेता और राज्य के मुख्यमंत्री रह चुके वाईएस राजशेखर रेड्डी का हेलिकॉप्टर हादसे में ही निधन हो गया था. रेड्डी के हेलिकॉप्टर क्रैश में सभी पांचों लोगों की मौत हो गई थी.
संजय गांधी
पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के भाई संजय गांधी की भी हवाई दुर्घटना में मौत हो गई थी. साल 1980 में 23 जून को संजय गांधी का हवाई जहाज सफदरजंग एयरपोर्ट के पास क्रैश हो गया था, जिसमें उनका निधन हो गया था. संजय गांधी खुद एक पायलट के तौर पर प्रशिक्षित थे. हादसे के दौरान संजय गांधी खुद हवाई जहाज उड़ा रहे थे.
माधव राव सिंधिया
कांग्रेस के मंत्री माधव राव सिंधिया की भी एक विमान दुर्घटना में मौत हो गई थी. उनका विमान 30 सितंबर, 2001 को उत्तर प्रदेश के मैनपुरी के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया था. सिंधिया एक चार्टर्ड फ्लाइट से कानपुर जा रहे थे इस दौरान विमान में सवार सभी आठ लोग हादसे में मारे गए थे. उनके साथ पत्रकार भी थे. बता दें कि सिंधिया एक शाही परिवार से आने वाले व्यक्ति थे. उनके पिता महाराज जिवाजी राव सिंधिया ग्वालियर के आखिरी महाराज थे.
दोरजी खांडू
अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री दोरजी खांडू की भी हेलीकॉप्टर दुर्घटना में मौत हो गई थी. मई 2011 में भारत-चीन सीमा के पास तवांग से लगभग 30 किलोमीटर दूर राज्य के गांव में हेलीकॉप्टर दुर्घटना में उनका निधन हो गया. पांच दिन लगातार खोजने के बाद खांडू के शव का पता लगाया गया था. मई 2001 में तवांग के पास पवन हंस विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने से अरुणाचल के एक अन्य मंत्री डेरा नाटुंग और पांच अन्य की मौत हो गई थी.
सी संगमा
केंद्रीय मंत्री और मेघालय के कम्युनिटी डेवलपमेंट मिनिस्टर सी संगमा की मौत भी हेलिकॉप्टर क्रैश में ही हुई थी. पवन हंस नाम के हेलिकॉप्टर पर सवार होकर संगमा गुवाहाटी से शिलांग की तरफ जा रहे थे. यह घटना सितंबर 2004 में हुई थी.
ओ पी जिंदल
31 मार्च 2005 को हरियाणा के पावर मिनिस्टर ओपी जिंदल की मौत भी प्लेन क्रैश में हुई थी. जांच में पता चला था कि तकनीकी खराबी की वजह से प्लेन उत्तर प्रदेश के सहारनपुर में क्रैश हो गया था।
हवाई दुर्घटनाओं में अपनी जान गंवाने वाले अन्य प्रमुख नामों में वैज्ञानिक होमी जे भाभा, उद्योगपति अशोक बिड़ला और अभिनेत्री सौंदर्या भी शामिल हैं।
दुर्घटनाओं में बचे लोग
ऐसा नहीं है कि दुर्घटना का शिकार हुए सभी लोगों की मौत ही हुई. कई ऐसे भी लोग हैं जो मौतों को चकमा देकर चमत्कारिक रूप से ऐसी घटनाओं से बचकर भी निकले हैं. ऐसी कई बड़ी हस्तियां हैं जो दुर्घटनाओं से बचकर निकल आईं इनमें रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, पूर्व प्रधान मंत्री मोरारजी देसाई, दिवंगत कांग्रेस नेता अहमद पटेल, पृथ्वीराज चौहान और कुमारी सैलजा और पंजाब के पूर्व डिप्टी सीएम सुखबीर सिंह बादल शामिल हैं.
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