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Friday, 22 November, 2024
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पीएम मोदी की नई कैबिनेट में बढ़ा महिलाओं का दबदबा, अनुप्रिया की वापसी और 6 नए चेहरे शामिल

बुधवार को कैबिनेट फेरबदल में सात महिला नेताओं को मंत्रियों के रूप में शामिल किया गया. इसके साथ ही नरेंद्र मोदी सरकार में महिला मंत्रियों की संख्या बढ़कर 11 हो गई.

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नई दिल्ली: मोदी सरकार में अब नारी शक्ति की बड़ी उपस्थिति दिखाई देगी. बुधवार को कैबिनेट फेरबदल में सात महिला नेताओं को मंत्रियों के रूप में शामिल किया गया. इसके साथ ही नरेंद्र मोदी सरकार में महिला मंत्रियों की संख्या बढ़कर 11 हो गई.

इस मंत्रिपरिषद विस्तार में कुल 15 कैबिनेट और 28 राज्य मंत्री बनाए गए हैं. अब मंत्रिपरिषद के कुल सदस्यों की संख्या 78 हो गई है.

भाजपा की मीनाक्षी लेखी, शोभा कारंदलजे, दर्शना जरदोश, अन्नपूर्णा देवी, प्रतिमा भौमिक, भारती पवार और अपना दल (एस) की अनुप्रिया पटेल ने राज्य मंत्री के तौर पर शपथ ली.

इनमें अनुप्रिया को छोड़कर सभी छह नेता पहली बार केंद्रीय मंत्री बनी हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली पहली सरकार में अनुप्रिया स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री थीं.


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केंद्रीय कैबिनेट में शामिल होने वाली प्रतिमा भौमिक त्रिपुरा की पहली नेता

प्रतिमा भौमिक ने बुधवार को केंद्रीय मंत्री के तौर पर शपथ लेकर इतिहास रच दिया क्योंकि वह त्रिपुरा की पहली नेता हैं जो केंद्रीय मंत्री बनी हैं. 52 वर्षीय भौमिक का लोकप्रिय नाम ‘प्रतिमा दी’ है.

इससे पहले संतोष मोहन देब और त्रिगुन सेन त्रिपुरा से सांसद चुने गए और केंद्रीय कैबिनेट में शामिल हुए. बहरहाल, वे त्रिपुरा के रहने वाले नहीं थे. देब जहां असम के सिलचर के रहने वाले थे, वहीं सेन पश्चिम बंगाल से थे.

भौमिक की उपलब्धि पर मुख्यमंत्री बिप्लब कुमार देब ने ट्वीट किया, ‘त्रिपुरा के लिए गौरव का क्षण कि प्रतिमा भौमिक जी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाले मंत्रिपरिषद् में शामिल हुई हैं.’

भौमिक पहली बार सांसद बनी हैं और वह पिछले लोकसभा चुनावों में पश्चिम त्रिुपरा लोकसभा क्षेत्र से निर्वाचित हुई थीं. इससे पहले वह भाजपा की त्रिपुरा इकाई की महासचिव थीं. लेकिन सासंद चुने जाने के बाद पद छोड़ दिया और वर्तमान में राज्य इकाई की उपाध्यक्ष हैं.

त्रिपुरा महिला कॉलेज से विज्ञान में स्नातक भौमिक लंबे समय से राजनीति में सक्रिय रहने के बावजूद चर्चाओं से दूर रहना पसंद करती हैं.

दो साल के भीतर केंद्र में मंत्री बनी अन्नपूर्णा देवी

केंद्र में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मंत्रिपरिषद विस्तार में राज्य मंत्री के तौर पर शामिल कोडरमा की सांसद अन्नपूर्णा देवी कभी राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव की बेहद करीबी मानी जाती थीं और वर्ष 2019 के लोकसभा चुनावों के ठीक पहले राजद के झारखंड प्रदेश अध्यक्ष का पद छोड़कर भाजपा में शामिल होने का उन्हें भारी पुरस्कार दिया गया. पहले तो उन्हें भाजपा का राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया और आज मोदी मंत्रिपरिषद में शामिल कर लिया गया.

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मंत्रिपरिषद् विस्तार में 43 नये मंत्रियों में आज जिन सात महिला नेताओं को स्थान मिला उनमें झारखंड में कोडरमा की सांसद अन्नपूर्णा देवी भी शामिल हैं.

अन्नपूर्णा देवी ने वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव से ठीक पहले राजद को छोड़ भाजपा में शामिल होकर सभी को चौंका दिया था. लोकसभा चुनाव जीतने के बाद से सांसद अन्नपूर्णा देवी का कद भाजपा में लगातार बढ़ता रहा. चुनाव जीतने के बाद झारखंड विधानसभा चुनावों के परिणाम आने के बाद भाजपा के केन्द्रीय संगठन में परिवर्तन के दौरान पहले उन्हें भाजपा का राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और हरियाणा का सह प्रभारी भी बनाया गया.

अन्नपूर्णा देवी ने रांची विश्वविद्यालय से स्नातकोत्तर किया है और वह 51 वर्ष की हैं. सांसद अन्नपूर्णा का विवाह रमेश प्रसाद यादव से हुआ था. रमेश प्रसाद यादव वर्ष 1998 में एकीकृत बिहार के मंत्री रह चुके थे लेकिन, रमेश प्रसाद यादव के निधन के बाद वर्ष 1999 में अन्नपूर्णा देवी ने विधानसभा का उपचुनाव लड़ा और पहली बार में ही विधायक बन गयीं. इसके एक साल बाद ही विधानसभा चुनाव में अन्नपूर्णा ने पुनः जीत दर्ज की.

दूसरी बार विधानसभा चुनाव जीतने पर उन्हें बिहार सरकार में मंत्री बनाया गया था. अलग झारखंड राज्य बनने के बाद अन्नपूर्णा देवी ने वर्ष 2005 और 2009 में विधानसभा का चुनाव जीता. इसके बाद वर्ष 2013 में तत्कालीन हेमंत सोरेन सरकार में राजद कोटे से जल संसाधन मंत्री बनीं. हालांकि, इसके एक साल बाद वर्ष 2014 में उन्हें कोडरमा से ही विधानसभा चुनाव में हार का सामना भी करना पड़ा था.

वर्ष 2019 में राजद छोड़ भाजपा का दामन थामने वाली अन्नपूर्णा देवी 2019 के लोकसभा चुनाव में झारखंड विकास मोर्चा के अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी को लगभग साढ़े चार लाख मतों से हराकर सांसद बनीं. यह सांसद के रूप में अन्नपूर्णा देवी का पहला कार्यकाल है.

इन सात महिला नेताओं को मंत्रियों के अलावा वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी और राज्य मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति और रेणुका सिंह सरूता पहले ही मंत्रिपरिषद में शामिल हैं.

इससे पहले, बुधवार सुबह ही महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री देबश्री चौधरी ने इस्तीफा दिया. मंत्रिपरिषद विस्तार से पहले जिन मंत्रियों ने इस्तीफा दिया उनमें वह भी शामिल थीं.

नरेंद्र मोदी सरकार के पहले कार्यकाल के दौरान मंत्रिपरिषद में नौ महिला मंत्री थीं जिनमें छह कैबनेट थीं.


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