मुंबई: मुंबई में महा नगरपालिका के एक अस्पताल में नर्सों और पैरामेडिक्स कर्मचारियों समेत चिकित्साकर्मियों ने उन्हें दिए गए निजी सुरक्षा उपकरणों (पीपीई) की ‘खराब गुणवत्ता’ के खिलाफ बुधवार को प्रदर्शन किया. अस्पताल में कोविड-19 के मरीज की मौत के बाद उन्हें पृथक किए जाने की मांग को लेकर मेडिकल स्टाफ्स ने प्रदर्शन किया.
एक कर्मचारी ने बताया कि उपनगर बांद्रा में के. बी. भाभा म्युनिसिपल जनरल अस्पताल के कर्मचारी अस्पताल के बाहर एकत्रित हो गए और उन्होंने प्रदर्शन किया. कोविड-19 संक्रमण के कारण वहां एक महिला की मौत हो जाने के बाद उन्होंने प्रदर्शन किया.
अस्पताल के कर्मचारी मांग कर रहे हैं कि उन्हें पृथक किया जाए क्योंकि अस्पताल में कोविड-19 फैलने का गंभीर खतरा है.
गौरतलब है कि कुछ चिकित्साकर्मियों के कोरोनावायरस से संक्रमित पाए जाने के बाद मुंबई में दो निजी अस्पतालों को सील कर दिया गया है.
कर्मचारी संघ के एक नेता ने बताया कि कर्मचारी मांग कर रहे हैं कि स्टाफ को पृथक किया जाए क्योंकि उनमें से कुछ महिला के सीधे संपर्क में आए थे.
नेता ने बताया कि अस्पताल में करीब 450 कर्मचारी काम करते हैं. इनमें नर्स, वार्ड ब्वॉय, सफाई कर्मचारी और अन्य पैरामेडिक्स कर्मी हैं.
उन्होंने बताया, ‘महिला के कोरोनावायरस से संक्रमित पाए जाने के बाद भी अस्पताल प्रबंधन ने हमें अंधेरे में रखा.’
अस्पताल के कर्मचारियों के अनुसार, महिला को कुछ दिनों तक महिलाओं के जनरल वार्ड में रखा गया तथा हालत बिगड़ने पर दूसरे वार्ड में ले जाया गया.
कुछ स्टाफ सदस्यों ने उन्हें दिए गए निजी सुरक्षा उपकरण (पीपीई) की ‘खराब गुणवत्ता’ का भी मुद्दा उठाया.