नई दिल्ली: माकपा ने बृहस्पतिवार को जामिया मिल्लिया इस्लामिया गोलीबारी की घटना को दिल्ली विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान भाजपा नेताओं और मंत्रियों के ‘नफरत फैलाने वाले भाषणों’ का नतीजा बताया है.
प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि जामिया मिल्लिया इस्लामिया विश्वविद्यालय में बृहस्पतिवार को संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे एक समूह पर एक व्यक्ति ने पिस्तौल से गोली चलायी और हथियार लहराते हुए आराम से निकल गया. इस घटना में एक छात्र घायल हो गया. पुलिस की भारी संख्या में तैनाती के बीच उसने ‘ये लो आजादी’ कहते हुए गोली चलायी .
बाद में पुलिस ने उस व्यक्ति को पकड़कर हिरासत में ले लिया.
माकपा महासचिव सीताराम येचुरी ने ट्वीट किया, ‘भाजपा नेताओं और केंद्रीय मंत्रियों द्वारा हिंसा का आह्वान और नफरतों भरे भाषण- इसके साथ ही प्रधानमंत्री की चुप्पी- का यह शर्मनाक परिणाम हुआ. सरकार इसी प्रकार का भारत बनाना चाहती है. शहीद दिवस.’
इस बीच भाकपा महासचिव डी राजा ने कहा कि उन्हें और उनकी पार्टी के वरिष्ठ नेता अतुल कुमार अंजान को दिल्ली पुलिस ने उस वक्त हिरासत में ले लिया जब वे संविधान, लोकतंत्र और धर्मनिरपेक्षता तथा सीएए के खिलाफ एकजुटता प्रदर्शित करने के लिए मानव श्रृंखला का निर्माण करने राजघाट गए थे.
राजा ने कहा, ‘जब हम संशोधित नागरिकता कानून और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर के विरोध में मानव श्रृंखला में भाग लेने के लिए राजघाट गए तो हमें हिरासत में ले लिया गया. दिल्ली पुलिस ने हमें हिरासत में लिया है और हमें एक बस में बैठाया गया है. हमें नहीं मालूम कि हमें कहां ले जाया जा रहा है?’