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Friday, 22 November, 2024
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कोलकाता में भाजपा सांसद स्वप्न दास गुप्ता को छात्रों ने किया छह घंटों तक विश्वविद्यालय के एक कमरे में बंद

दासगुप्ता को विश्वविद्यालय के शांतिनिकेतन के लिपिका सभागार में व्याख्यान श्रृंखला के तहत 'सीएए 2019: समझ और व्याख्या' पर बोलना था. स्वपन दास गुप्ता ने कमरे में बंद किए जाने की सूचना ट्वीट द्वारा दी.

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कोलकाता: भाजपा सांसद स्वप्न दासगुप्ता, विश्व भारती विश्वविद्यालय के कुलपति विद्युत चक्रवर्ती और कई अन्य लोग बुधवार को छह घंटे तक विश्वविद्यालय के एक भवन के भीतर बंद रहे, जिसके बाहर वामपंथ की ओर झुकाव रखने वाले सैंकड़ों छात्र धरने पर बैठे हुए थे. छात्रों का आरोप है कि राजनीतिक नेता समुदायों के बीच घृणा उत्पन्न कर रहे हैं.

विश्वविद्यालय के सूत्रों ने बताया छात्रों का धरना खत्म होने के बाद रात करीब दस बजे वे दोनों बाहर आए.

दासगुप्ता को विश्वविद्यालय के शांतिनिकेतन के लिपिका सभागार में व्याख्यान श्रृंखला के तहत ‘सीएए 2019: समझ और व्याख्या’ पर बोलना था. स्वपन दास गुप्ता ने कमरे में बंद किए जाने की सूचना ट्वीट द्वारा दी.

स्वपन दास गुप्ता ने लिखा, ‘कैसा लगता है जब सीएए पर हो रही एक शांतिपूर्ण मीटिंग में छात्र प्रदर्शन करने लगे. यह वहीं हो रहा है जहां विश्वभारती में मैं एक मीटिंग को संबोधित करने आया हूं और बाहर से भीड़ ने हमें बंद कर दिया है.’

कमरे में बंद किए जाने के बाद स्वपन दास गुप्ता ने एक के बाद एक दो ट्वीट किए और उन्होंने बताया, ‘विश्व भारती शांतिनिकेतन में 70 लोग एक कमरे में बंद है. विश्व भारती, शांतिनिकेतन में एक कमरे के अंदर लगभग 70 लोग बंद हैं, विश्ववद्यालय द्वारा एक सीएए पर आधिकारिक व्याख्यान में भाग लेने आए थे. यहां हमारे साथ विश्वविद्यालय के वीसी भी शामिल हैं. टकराव के बाद बाहर से भीड़ के चिल्लाने की आवाज आ रही है.’

स्वपन के बंद किए जाने के बाद कोलकाता में भाजपा के प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय ने एक ट्वीट कर ममता बनर्जी से भाजपा सांसदों की सुरक्षा की गुजारिश की है.

स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई) के कार्यकर्ताओं के विरोध प्रदर्शन के बाद, समारोह को विश्वभारती के दूसरे लेकिन सन्निहित परिसर श्रीनिकेतन में सामाजिक कार्य विभाग के एक अन्य सभागार में स्थानांतरित कर दिया गया.

अधिकारियों ने कहा, व्याख्यान शुरू होने के लगभग 45 मिनट बाद, आंदोलनकारी छात्र विभाग में पहुंचे, नारेबाजी की और कार्यक्रम को बाधित कर दिया गया.

छात्रों को तितर-बितर करने के कुछ ही देर बाद दासगुप्ता के ट्विटर हैंडल से पोस्ट किया गया, ‘विश्व भारती में बिना किसी टकराव के नाटकबाजी का अंत. टकराव चाहने वाले कुछ प्रदर्शनकारी हताश थे.’

कोलकाता में किसी नेता को कमरे में बंद किए जाने की यह कोई पहली घटना नहीं है, उससे पहले जाधवपुर विश्विद्यालय में राज्यपाल जगदीप धनखड़ को विरोध का सामना करना पड़ा था. जब वह छात्रों को डिग्री देने पहुंचे थे लेकिन छात्रों ने उन्हें बाहर ही रोक दिया था और उन्हें वापस लौटना पड़ा था.

(भाषा के इनपुट्स के साथ)

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