भाजपा ने एनआरसी के बाद नागरिकता संशोधन विधेयक के ज़रिए असम के जातिवादी संधर्ष के पुराने ज़ख्मों को फिर हरा कर दिया है. इस बिल पर राज्य में विरोध प्रदर्शन लोगों के स्वाभाविक गुस्से की अभिव्यक्ति है. इससे कुछ कदम आगे बढ़ना विद्रोह की ओर कदम होगा. भाजपा ने इस क्षेत्र में विकास का वादा किया था न कि नए विरोध को हवा देना.
डाटा सुरक्षा विधेयक निजता को प्रभावित करता है, मोदी सरकार को इसे संसद से जल्दबाज़ी में पारित कराने की कोशिश नहीं करनी चाहिए
निजी डाटा सुरक्षा विधेयक को वही करना चाहिए जो उसका मकसद है- निजता की सुरक्षा. अपने मौजूदा स्वरूप में ये सरकार और निजी एजेंसियों को कई कारणों के चलते निजी डाटा बिना उसके मालिक को सूचित किए इस्तेमाल का हक देता है. मोदी सरकार को इसे संसद से बाकी विवादास्पद विधेयकों की तरह जल्दबाज़ी में पारित नहीं कराना चाहिए.