एयर इंडिया को टाटा को बेचा जाना भारतीय एविएशन और मोदी के प्राइवेटाइजेशन प्रोग्राम के लिए मील का पत्थर है. एयर इंडिया की विरासत समस्याओं से भरी रही है और इसकी दुबारा उड़ान टाटा की विशेषज्ञता को चेक करेगी. उन्हें भारत के लिए इसे दुबारा सफल करना पड़ेगा ताकि वे खाड़ी के देशों और दक्षिण पूर्व एशियन देशों में खोए अपने बिजनेस की भरपाई कर सकें.