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Monday, 23 December, 2024
होमराजनीतिभारी गतिरोध के बीच पीएम से राजभवन में मिलीं ममता दीदी, सीएए और एनआरसी पर हुई बात

भारी गतिरोध के बीच पीएम से राजभवन में मिलीं ममता दीदी, सीएए और एनआरसी पर हुई बात

ममता ने बताया कि मैनें प्रधानमंत्री को बताया कि हम सीएए, एनआरसी और एनपीआर का विरोध करते हैं और हम चाहतें हैं कि सीएए और एनआरसी को वापस लिया जाए.

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कोलकाता: संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों और ‘वापस जाओ’ के नारों के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी दो दिवसीय यात्रा पर शनिवार को कोलकाता पहुंचे. ममता एयरपोर्ट पर पीएम की अगुवाई के लिए तो नहीं पहुंची लेकिन राजभवन में उनसे मुलाकात करने जरूर गईं.

मुलाकात के बाद मीडिया से बातचीत में ममता ने बताया कि मैनें प्रधानमंत्री को बताया कि हम सीएए, एनआरसी और एनपीआर का विरोध करते हैं और हम चाहतें हैं कि सीएए और एनआरसी को वापस लिया जाए. वहीं ममता बनर्जी ने यह भी बताया कि उन्होंने पीएम ने कुछ वित्तीय मांगों की भी बात की. उन्होंने प्रधानमंत्री के समक्ष बकाया वित्तीय सहायता के विषय को उठाया, जिसे राज्य को केंद्र से मिलना अभी बाकी है.

‘मैंने उन्हें 28,000 करोड़ रुपये के बारे में बताया, जो राज्य को केंद्र सरकार से मिलना अभी बाकी है.’

मुख्यमंत्री ने संवाददाताओं से यह भी कहा कि मोदी ने उन्हें नयी दिल्ली आकर इन मुद्दों पर चर्चा करने के लिए कहा है हमारी मुलाकात एक शिष्टाचार मुलाकात थी.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने के शीघ्र बाद पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने तृणमूल कांग्रेस के छात्र संगठन की ओर से सीएए के खिलाफ आयोजित धरने में हिस्सा लिया.

प्रधानमंत्री के दो दिवसीय दौरे पर पहुंचने के कुछ ही समय बाद दोनों नेताओं के बीच हुई मुलाकात राजनीतिक रूप से महत्वपूर्ण मानी जा रही है.

यह बैठक तब हो रही है जब नया नागरिकता कानून प्रदेश में गतिरोध का नया बिंदु बनकर उभरा है. तृणमूल कांग्रेस की सुप्रीमो ममता बनर्जी जहां इसके कट्टर विरोध में हैं वहीं भाजपा इसे लागू करने के लिये दबाव बना रही है.

सैकड़ों प्रदर्शनकारियों ने कोलकाता हवाई अड्डे के गेट संख्या एक बाहर काले झंडे लेकर प्रदर्शन किया. पुलिस ने हवाई अड्डे की तरफ जाने से उन्हें रोकने के लिए बैरिकेड लगाये थे.

हवाई अड्डे से प्रधानमंत्री एक हेलीकॉप्टर से रॉयल कलकत्ता टर्फ क्लब (आरसीटीसी) के लिए रवाना हुए और वहां से वह राजभवन पहुंचे.

जैसे ही उनका काफिला आरसीटीसी के बाहर आया तो प्रदर्शनकारी एजेसी बोस रोड फ्लाईओवर पर खड़े हो गये और उन्होंने राष्ट्रीय ध्वज और काले झंडे लहराये और सीएए के खिलाफ नारे लगाये.

एसएफआई कार्यकर्ता यादवपुर विश्वविद्यालय, शहर के गोलपार्क, कॉलेज स्ट्रीट, हतीबगान और एस्प्लेनेड इलाकों में एकत्र हुए और उन्होंने इस ‘विभाजनकारी अधिनियम’ के खिलाफ प्रधानमंत्री मोदी और केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह के पुतले फूंके.

वाममोर्चा के कार्यकर्ताओं ने उत्तर 24 परगना जिले के विभिन्न भागों में नये नागरिकता कानून के खिलाफ शनिवार को प्रदर्शन किये.

मोदी शनिवार और रविवार को कोलकाता में रहेंगे. वह 12 जनवरी को कोलकाता बंदरगाह ट्रस्ट की 150वीं वर्षगांठ के मौके पर आयोजित समारोह में शामिल होंगे.

प्रधानमंत्री कोलकाता में चार धरोहर इमारतों पुरानी करेंसी बिल्डिंग, बेल्वेदेरे हाउस, मेटकॉफ हाउस और विक्टोरिया मेमोरियल हाल को राष्ट्र को समर्पित करेंगे. संस्कृति मंत्रालय ने इनकी मरम्मत एवं साजसज्जा का काम किया है.

प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री नेताजी इंडोर स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम में मंच साझा करेंगे. पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ भी इस मौके पर मौजूद रहेंगे. मोदी के रामकृष्ण मिशन के मुख्यालय बेलूर मठ में शनिवार की रात गुजारने की संभावना है.

पश्चिम बंगाल प्रशासन ने प्रधानमंत्री की यात्रा के लिए सुरक्षा के कड़े प्रबंध किये है.

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