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Sunday, 22 December, 2024
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शिवसेना दफ्तर के बाहर लगे पोस्टर में MNS का दावा, बालासाहेब के ‘सच्चे वारिस’ हैं राज ठाकरे

मनसे ने दावा किया कि महाराष्ट्र के सीएम और बालासाहेब के बेटे उद्धव ठाकरे हिंदुओं को हनुमान चालीसा की नमाज पढ़ने से रोक रहे हैं.

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मुंबई: महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) ने बुधवार को अपने प्रमुख राज ठाकरे को दिवंगत शिवसेना संस्थापक बालासाहेब ठाकरे का ‘सच्चा वारिस’ घोषित कर शिवसेना और मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर हमला किया है.

पार्टी ने दादर में शिवसेना भवन के बाहर एक बैनर लगाया, जिसमें उद्धव ठाकरे पर हिंदुओं द्वारा लगाए गए लाउडस्पीकर को हटाने का आरोप लगाया गया है.

बैनर में लिखा है, ‘देखिए आपका बेटा सीएम उद्धव ठाकरे हिंदू होते हुए भी, हिंदुओं द्वारा लगाए गए लाउडस्पीकर को हटाने के लिए कह रहे हैं. वह हमें हनुमान चालीसा पढ़ने से रोक रहे हैं.’

‘अगर कोई आपकी विरासत को आगे बढ़ा रहा है और आपका सच्चा उत्तराधिकारी है, तो वह केवल राज ठाकरे हैं.’

शिवसेना ने इसे भाजपा द्वारा महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार को अस्थिर करने के लिए राज ठाकरे का ‘उपयोग’ करने का प्रयास बताया है.

शिवसेना नेता भास्कर जाधव ने दिप्रिंट को बताया, ‘भाजपा लंबे समय से महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रही है. अपनी हताशा में अब वह राज ठाकरे को अपना काम करने के लिए इस्तेमाल करने की कोशिश कर रही है. राज ठाकरे को कुछ साल पहले ईडी का नोटिस मिला था, शायद बीजेपी इसका इस्तेमाल उन्हें ब्लैकमेल करने के लिए कर रही है ताकि उन्हें हमारी सरकार को अस्थिर करने में मदद मिल सके.’

मनसे के उपाध्यक्ष यशवंत किल्लेदार ने पुष्टि की कि पोस्टर आधिकारिक तौर पर पार्टी द्वारा लगाया गया था.

किल्लेदार ने दिप्रिंट को बताया, ‘बालासाहेब की शिवसेना ने हिंदुत्व के लिए प्रयास किया लेकिन अब पार्टी शासन कर रही है, उनका बेटा सीएम है और फिर भी हनुमान चालीसा का जाप करने के लिए लाउडस्पीकर का उपयोग करने वाले हिंदुओं के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है. बाल ठाकरे के नेतृत्व में शिवसेना का हिंदुत्व अलग था. उनके बेटे के नेतृत्व में किसी को पता ही नहीं चला कि उनका केसरिया कब हरा हो गया. इस पृष्ठभूमि में, केवल राजसाहेब ही बालासाहेब के प्रसिद्ध ‘ठाकेरी बाना’ को आगे ले जा सकते हैं.’

पिछले शनिवार को अपने वार्षिक गुड़ी पड़वा भाषण के दौरान, राज ठाकरे ने चेतावनी दी थी कि अगर मस्जिदों पर लगे लाउडस्पीकर नहीं हटाए गए, तो उनकी पार्टी लाउडस्पीकरों का सहारा लेगी जो हनुमान चालीसा को दोगुने आवाज़ में बजाएगी.

भाषण के बाद, मनसे कार्यकर्ताओं ने मुंबई में विभिन्न स्थानों पर लाउडस्पीकर लगाए लेकिन पुलिस ने जल्द ही इस पर कार्रवाई की.

लाउडस्पीकर पर विवाद के बीच महाराष्ट्र के गृह मंत्री दिलीप वालसे पाटिल ने कहा, ‘हर किसी को अपने धर्म का पालन करने और फैलाने का अधिकार है. लेकिन आज समुदायों के बीच फूट पैदा करने के लिए जिस तरह के बयान दिए जा रहे हैं, उस पर पुलिस विभाग के अधिकारी जरूर विचार करेंगे.’

पिछले महीने, उन्होंने बीजेपी पर बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) निकाय चुनावों से पहले ध्रुवीकरण करने के लिए हिंदुत्व से जुड़े मुद्दों को उठाने का भी आरोप लगाया था.


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मनसे-शिवसेना में तनातनी

चाचा बाल ठाकरे जैसे कलाकार राज ठाकरे को 2000 के दशक की शुरुआत में उनके राजनीतिक उत्तराधिकारी के रूप में देखा गया था. लेकिन 2006 में, उद्धव ठाकरे को बाल ठाकरे का उत्तराधिकारी नियुक्त किए जाने के बाद राज ठाकरे ने शिवसेना से नाता तोड़ लिया.

उसी वर्ष, राज ठाकरे ने महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना का गठन किया, जिसने हमेशा शिवसेना के खिलाफ स्टैंड लिया है.

अपने शुरुआती वर्षों में, पार्टी ने मुंबई में प्रवासियों के खिलाफ आक्रामक रुख अपनाया. पार्टी ने 2009 में अपने पहले विधानसभा चुनाव में 13 विधानसभा सीटें जीती थीं. हालांकि, 2014 में अगले चुनाव तक इसकी ताकत 1 सीट तक सीमित हो गई थी.

इसके बाद से पार्टी लगातार अपनी स्थिति बदलती रही है. 2019 के चुनावों से पहले, राज ठाकरे नरेंद्र मोदी और अमित शाह के विरोधी थे लेकिन चुनावों के तुरंत बाद पार्टी ने भाजपा की प्रशंसा शुरू कर दी.

(इस खबर को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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