नई दिल्ली: कर्नाटक में गहराते राजनीतिक संकट के बीच एक बार फिर मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने कहा है कि हमने स्थिति को संभाल लिया है और यह सरकार आराम से चलती रहेगी. जेडीएस और कांग्रेस की गठबंधन वाली सरकार में कांग्रेस के सभी 21 मंत्रियों के बाद जेडीएस के भी सभी मंत्रियों ने अपने पद से भी इस्तीफा दे दिया है.सीएमओ कर्नाटक के अनुसार नए कैबिनेट का जल्द पुर्नगठन होगा. कर्नाटक में चल रही इस उठापटक को लेकर दिल्ली में कांग्रेस नेता आज शाम 7 बजे बैठक करेंगे. बता दें कि कांग्रेस के मंत्रियों के इस्तीफे के बाद मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी की सरकार अल्पमत में आ गई है. सोमवार को इस मामले में लोकसभा में भी हंगामा हुआ.
चलती रहेगी गठबंधन की सरकार
पिछले तीन दिनों से चल रहे इस सियासी ड्रामें के बीच अभी से कुछ देर पहले मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने कहा, ‘मुझे मौजूदा राजनीतिक हलचल के बीच चिंता की कोई बात नहीं है. उन्होंने कहा कि मैं राजनीति पर किसी तरह की बात नहीं करना चाहता हूं.’
All ministers from #JDS have submitted their resignations just like the 21 ministers from #Congress.
Cabinet reshuffle will happen soon.— CM of Karnataka (@CMofKarnataka) July 8, 2019
कर्नाटक संकट के मुद्दे पर लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष अधीर रंजन चौधरी ने भाजपा के जिम्मेदार ठहराया. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, ‘त्याग पत्र देने का सिलसिला तो राहुल गांधी ने शुरू किया है. कर्नाटक की अस्थिरता से हमारा क्या लेना देना है. हर दिन कांग्रेस के बड़े-बड़े नेता पार्टी से इस्तीफा दे रहे है. कर्नाटक जो कुछ हो रहा है उससे भाजपा का कोई संबंध नहीं है. हमने कभी भी इस तरह से किसी पर दवाब बनाया.’
#Karnataka Chief Minister and JD(S) leader HD Kumaraswamy: I don't have any kind of anxiety about the present political development. I don't want to discuss anything about politics. pic.twitter.com/qsidfRD5Cg
— ANI (@ANI) July 8, 2019
इस पूरे मामले में कर्नाटक के सीएम और जेडीएस नेता एच डी कुमारस्वामी ने कहा कि चिंता की कोई बात नहीं है. यह विषय जल्द ही सुलझा लिया जाएगा. हमारी सरकार सामान्य तरह से कामकाज करती रहेगी.
राज्य में गहराए संकट के बाद वापस लौटे मुख्यमंत्री कुमारस्वामी
वरिष्ठ कांग्रेस नेता सिद्धारमैया ने कहा कि कर्नाटक कांग्रेस के 21 मंत्रियों ने अपनी मर्जी से इस्तीफा दे दिया. सोमवार को ही एक निर्दलीय विधायक ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है. निर्दलीय विधायक नागेश ने राज्यपाल को इस्तीफा सौंपा और पत्र में लिखा कि, ‘कुमारस्वामी सरकार से समर्थन वापस ले रहा हूं. मेरा समर्थन भाजपा को जाएगा.’
13 महीने पुरानी कुमारस्वामी की सरकार ने जब से सत्ता में आई है तभी से संकट के बादल मंडरा रहे हैं. बता दें कि राज्य में चल रहे ड्रामा को देखते हुए कर्नाटक के मुख्यमंत्री अपना अमेरिका दौरा बीच में ही खत्म कर बंगलूरू रविवार रात वापस लौट आए हैं. बता दें कि विधायकों के इस्तीफे के बाद 113 सदस्यों के साथ बहुमत वाली सरकार महज अब 105 विधायकों का समर्थन प्राप्त है जिसके बाद से सरकार अल्पमत में आ गई है. वहीं भाजपा के पास भी 105 विधायक हैं.
कांग्रेस के राज्य के सबसे मजबूत नेता रामलिंगा रेड्डी के अलावा आन्द सिंह, रमेश जरकीहोली, बीसी पाटिल, एच विश्वनाथ, नारायण गौड़ा, एस हेब्बर, महेश कुमाटल्ली, गोपालय्या और प्रताप गौड़ा पाटिल ने इस्तीफा दे दिया है. अभी अध्यक्ष का इन मंत्रियों का इस्तीफा स्वीकार करना बाकी है. बता दें इनमें से दस विधायक मुंबई के होटल में मीटिंग कर रहे हैं.
पल पल बदल रही है कर्नाटक की सियासत
रविवार रात को अमेरिका की यात्रा से लौटै सीएम एचडी कुमारस्वामी ने कांग्रेस के असंतुष्ट विधायक रामलिंगा रेड्डी से मुलाकात की है. दोनों नेताओं की यह मुलाकात किस जगह हुई इसका खुलासा नहीं हुआ है. वहीं कांग्रेस और जेडीएस से 13 विधायक अपने इस्तीफा देने पर अभी भी अड़े हुए हैं.
इधर राज्य में उभरे सियासी संकट के बीच कांग्रेस कांग्रेस पार्टी का कहना है कि ‘कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस सरकार को गिराने की कोशिश कर रही है भाजपा.’
कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री जी परमेश्वर ने राज्य में स्थिरता बनाए रखने के लिए उन्होंने सभी नेताओं की नाश्ते पर बैठक भी की. जी परमेश्वर ने यह भी कहा कि कर्नाटक की राजनीतिक में जो भी कुछ हो रहा है उसके पीछे भारतीय जनता पार्टी का हाथ है. हम समझ रहे हैं कि वह (भाजपा) क्या चाहती है. जी परमेश्वर ने सुबह ही कहा था कि अगर जरूरत पड़ी तो हम सभी इस्तीफा दे सकते हैं. नौ बागी विधायकों के शनिवार के इस्तीफे के बाद इस संकट से निपटने के लिए नौ जुलाई को अपने सभी 78 विधायकों की बैठक बुलाई है. इससे पहले कांग्रेस के विधायक आनंद सिंह (विजयनगर) ने एक जुलाई को इस्तीफा दे दिया था, जिसे मिलाकर बागी विधायकों की संख्या 13 हो गई है.
कांग्रेस प्रवक्ता रवि गौड़ा ने कहा कि कांग्रेस विधायक दल के नेता सिद्धारमैया ने सभी विधायकों को निर्देश दिया है कि वे मंगलवार को सुबह 9.30 बजे विधानसभा भवन के कॉन्फ्रेंस हॉल में सभी मुद्दों पर चर्चा करें. जिसमें शनिवार को इस्तीफा देने वालों की चिंताएं भी शामिल होगी.
गौड़ा ने कहा कि पार्टी की राज्य इकाई के अध्यक्ष दिनेश गुंडू राव और मल्लिकार्जुन खड़गे के अलवा राज्य के सभी वरिष्ठ पार्टी नेता भी बैठक में भाग लेंगे.
विधानसभा अध्यक्ष के.आर. रमेश कुमार मंगलवार को ही विधायकों के त्याग-पत्रों पर गौर करेंगे. विधायकों ने कुमार की अनुपस्थिति में अपने इस्तीफे उनके निजी सचिव को सौंप दिए थे.इनमें नौ कांग्रेस और तीन जनता दल (सेक्युलर) के विधायकों के इस्तीफे हैं.विद्रोही विधायक शनिवार को व्यक्तिगत रूप से इस्तीफा देने के लिए कुमार से मुलाकात नहीं कर पाए थे, इसलिए उन्होंने अपने त्याग-पत्रों में उल्लिखित कारणों को स्वीकार करने पर जोर देने के लिए उनसे मंगलवार को मिलने का समय मांगा है.
कांग्रेस—जेडीएस के 13 विधायकों ने शनिवार को इस्तीफा दे दिया था. वहीं सोमवार को एक निर्दलीय विधायक ने अपना इस्तीफा सौंप दिया है. बागी विधायकों के अगर इस्तीफे मंजूर हो जाते है तो 224 सदस्यों वाली विधानसभा में सदस्यों की संख्या 109 रह जाएगी.