नई दिल्ली: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार को एक कार्यक्रम के दौरान कहा, ‘देश को पांच लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने और दुनिया की तीन सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में शामिल करने के लिए सुरक्षा को सुदृढ़ करना बहुत जरूरी है. मोदी जी 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्थाओं में देश को शामिल करना चाहते हैं और हम सबको भरोसा है की देश वहां जरूर पहुंचेगा.’
शाह ने कहा, ‘मोदी जी देश को विश्व की तीन सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में शामिल कराना चाहते हैं. इसके लिए जरूरी है कि देश में कानून व्यवस्था दुरुस्त रहें. इसके लिए देश की आंतरिक और बाह्य सुरक्षा बनाए रखने की जरुरत है.’
अमित शाह ने यह बातें 49 वें पुलिस रिसर्च एंड डेवल्पमेंट ब्यूरो के स्थापना दिवस पर कहीं. उन्होंने कहा, ‘यह युग थर्ड डिग्री का नहीं है. हमलोगों को जांच के लिए साइंटिफिक मेथड का उपयोग करने की आवश्यकता है.’
‘मैंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कहा है कि हमें नेशनल मोडस ऑपरेंडी ब्यूरो बनाना होगा अपराध और अपराध की मानसिकता को समझने की जरूरत है.’
मोदी जी 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्थाओं में देश को शामिल करना चाहते हैं और हम सबको भरोसा है की देश वहां जरूर पहुंचेगा।
लेकिन इसके लिए देश की आंतरिक और बाह्य सुरक्षा को बेहतर बनाए रखने की जरूरत है: गृह मंत्री श्री @AmitShah pic.twitter.com/MGSJxoU5FC
— BJP (@BJP4India) August 28, 2019
गृह मंत्री ने कहा, ‘जो हमारे सामने चुनौतियां हैं जब तक उसके सामने हम दमखम के साथ खड़े नहीं होंगे तब तक हम 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था नहीं बना पाएंगे. लेकिन इसके लिए देश की आंतरिक और बाह्य सुरक्षा को बेहतर बनाए रखने की जरूरत है.
शाह ने कहा, ‘फोरेंसिक साइंस युनिवर्सिटीज को बढ़ावा देने की जरुरत है. इस काम के लिए हमें ज्यादा से ज्यादा लोगों को जोड़ने की जरुरत है. गुजरात ने इस काम में अहम भूमिका निभाई है. वहां से सीखने की जरुरत है.’
अमित शाह ने कहा, ‘गुनहगारों को जल्द सजा मिले इसके लिए फोरेंसिक साइंस युनिवर्सिटीज की भूमिका को जरुरी बताया और इसको और बढ़ावा देने पर ज़ोर दिया.’
गृह मंत्री ने फोरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी और कॉलेजों की दिशा में भी बीपीआर एंड डी को त्वरित गति से कार्य करने की आवश्यकता पर ज़ोर दिया. क्योंकि आज विभिन्न केसों में सजा कराने का हमारा अनुपात बहुत दयनीय है. उन्होंने कहा यह तभी सुधर सकता है, जब जांच को फोरेंसिक साइंस की समय पर सहायता मिले.
शाह ने कहा, ‘मैंने मोदी जी को कहा है कि सीआरपीसी और आईपीसी में बदलाव की जरुरत है. इसके दस्तावेजीकरण की भी जरुरत है.”
अमित शाह ने कहा, ‘सीआरपीसी और आईपीसी में आमूल-चूल परिवर्तन के लिए देशभर में एक प्रक्रिया शुरु करने की जरूरत है. जिसमें सबके सुझाव लेकर, उन्हें संकलित करके गृह मंत्रालय भेजा जाए.’
अमित शाह ने कहा, ‘सीआरपीसी और आईपीसी में बहुत समय से जो बदलाव नहीं हुए हैं, उसके लिए अब हमें आगे बढ़ने की जरूरत है.’