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Monday, 6 May, 2024
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सोनिया की पार्टी नेताओं से अपील- अनुशासन और एकजुटता बनाए रखें, मोदी सरकार, RSS का झूठ करें बेनकाब

कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा देशभर के युवा पुरुष और महिलाएं अपनी उम्मीदों को आवाज देने के लिए एक आंदोलन की बाट जोह रहे हैं. यह हमारा कर्तव्य है कि हम उन्हें एक मंच प्रदान करें, जैसा कि हमने पिछली पीढ़ियों के लिए किया है.

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नई दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को पार्टी के भीतर अनुशासन एवं एकजुटता पर जोर दिया और कहा कि पार्टी में राज्य स्तर के नेताओं के बीच नीतिगत मुद्दों पर स्पष्टता एवं समन्वय का अभाव दिखता है. गांधी ने यह बातें आज हुई पार्टी महासचिवों, प्रदेश प्रभारियों और प्रदेश अध्यक्षों की बैठक में कही. इस दौरान उन्होंने मोदी सरकार और आरएसस पर जमकर हमला बोला.

कांग्रेस अध्यक्षा श्रीमती सोनिया गांधी ने कहा, ‘हमें वैचारिक रूप से भाजपा/आरएसएस के द्वेषपूर्ण अभियान से लड़ना होगा. अगर हमें इस लड़ाई को जीतना है तो हमें दृढ़ विश्वास के साथ ऐसा करके लोगों के सामने उनके झूठ का पर्दाफाश करना चाहिए.’

कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा देशभर के युवा पुरुष और महिलाएं अपनी उम्मीदों को आवाज देने के लिए एक आंदोलन की बाट जोह रहे हैं. यह हमारा कर्तव्य है कि हम उन्हें एक मंच प्रदान करें, जैसा कि हमने पिछली पीढ़ियों के लिए किया है.

सोनिया ने कहा, ‘हमारा अपना इतिहास इस बात का गवाह है कि अगर किसी संगठन को अन्याय और असमानता के खिलाफ सफल होना है, अगर उसे हाशिए पर पड़े लोगों के अधिकारों की प्रभावी रूप से हिमायत करनी है, तो उसे जमीनी स्तर पर एक व्यापक आंदोलन खड़ा करना होगा.’

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सोनिया गांधी ने जोर देकर कहा, ‘अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी रोजाना विभिन्न मुद्दों पर महत्वपूर्ण और विस्तृत बयान जारी करती है. परंतु यह अनुभव किया गया है कि ब्लॉक और जिला स्तर के हमारे कार्यकर्ताओं तक यह नहीं पहुंचता. नीतिगत मुद्दे हैं जिन पर पर मुझे स्पष्टता एवं समन्वय के अभाव का पता चलता है तथा यह हमारे राज्य स्तर के नेताओं के बीच भी है.’

उन्होंने पार्टी नेताओं से कहा, ‘आपको हमारे कार्यकर्ताओं को इस तरह प्रशिक्षित करना होगा कि वह भाजपा/आरएसएस की ओर से चलाए जा रहे दुर्भावनापूर्ण दुष्प्रचार का मुकाबला कर सकें. आपको हमारे कार्यकर्ताओं को ऐसे भी प्रशिक्षित करना है कि वह कांग्रेस की विचारधारा को बरकरार रखते हुए और आगे बढ़ाते हुए, लड़ाई लड़ें.’

उन्होंने आरोप लगाया, ‘मोदी सरकार ने हमारी संस्थाओं को नष्ट करने का प्रयास किया है ताकि वह जवाबदेही से बच सके. उसने संविधान के आधारभूत मूल्यों को कमजोर करने का प्रयास किया है ताकि वह खुद के लिए निचले स्तर के लिए मानक रख सके. उसने हमारे लोकतंत्र की बुनियादी बातों को सवालों को घेरे में खड़ा किया है.’

कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ‘हमें सरकार के दमन के शिकार पीड़ितों के लिए अपनी लड़ाई को दोगुनी ताकत देनी चाहिए, चाहे वह हमारे किसान और खेतिहर मजदूर हों, रोजगार के लिए लड़ते युवा हों, छोटे एवं मझोले कारोबारी हों या फिर हमारे वंचित भाई-बहन हों.’

उन्होंने यह भी कहा कि इस वादे को सही मायने में सार्थक बनाने के लिए संगठन में समाज के सभी हिस्सों को ज्यादा प्रतिनिधित्व देना होगा.

पार्टी मुख्यालय में हुई इस बैठक में कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा, संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल तथा अन्य महासचिव, प्रभारी एवं प्रदेश कांग्रेस कमेटियों के अध्यक्ष शामिल हुए.

सोनिया ने पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव का उल्लेख करते हुए कहा, ‘आने वाले महीनों में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. इन राज्यों में कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ता और नेता कमर कस रहे हैं. हमारा चुनाव अभियान समाज के सभी तबकों के साथ चर्चा के बाद सामने आई ठोस नीतियों एवं कार्यक्रमों के आधार पर होना चाहिए.’ उन्होंने कहा, ‘मैं फिर इस बात पर जोर देना चाहूंगी कि अनुशासन और एकजुटता की जरूरत है. आप और हम सबके लिए यह मायने रखता है कि संगठन मजबूत हो. यह व्यक्तिगत आकांक्षाओं से ऊपर होना चाहिए. इसी में सामूहिक और व्यक्तिगत दोनों सफलताएं निहित हैं.’

यह बैठक कांग्रेस कार्य समिति की बैठक में सदस्यता अभियान, महंगाई के मुद्दे पर जन-जागरण अभियान तथा संगठनात्मक चुनाव के तय किये गए कार्यक्रमों की पृष्ठभूमि में हुई है.

गत 16 अक्टूबर को हुई कांग्रेस कार्य समिति की बैठक में संगठनात्मक चुनाव का कार्यक्रम तय करने के साथ ही यह निर्णय लिया गया था कि आगामी एक नवंबर से कांग्रेस सदस्यता अभियान चलाएगी, जो अगले साल 31 मार्च तक चलेगा. इसके साथ ही फैसला हुआ था कि 14 से 29 नवंबर के बीच महंगाई के मुद्दे पर कांग्रेस की ओर से राष्ट्रीय स्तर पर जन-जागरण अभियान चलाया जाएगा.

(भाषा के इनपुट्स के साथ)

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