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Thursday, 26 December, 2024
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दिल्ली चुनाव से पहले ‘लाडली बहनों’ को पैसे बांटने को लेकर AAP-BJP के प्रवेश वर्मा में टकराव

दिल्ली चुनाव से पहले AAP नेताओं ने वर्मा पर ‘वोट खरीदने’ का आरोप लगाया है. भाजपा नेता का दावा है कि वे अपने एनजीओ राष्ट्रीय स्वाभिमान संस्था के माध्यम से प्रत्येक महिला को ‘मासिक सहायता’ प्रदान कर रहे हैं.

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नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा चुनाव से कुछ हफ्ते पहले, अरविंद केजरीवाल की अगुवाई वाली आम आदमी पार्टी (आप) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के पूर्व सांसद प्रवेश वर्मा मतदाताओं को पैसे बांटने के आरोपों को लेकर आमने-सामने हैं.

दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने वर्मा पर नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र में पैसे बांटने का आरोप लगाया, जिसका प्रतिनिधित्व AAP नेता करते हैं. केजरीवाल ने एक्स पर पोस्ट किया, “ये लोग हर वोटर को 1100 रुपए दे रहे हैं और कह रहे हैं कि उनकी पार्टी को वोट देना. ये आप ज़रूरतमंदों की मदद कर रहे हो या खुलेआम वोट खरीद रहे हो? आपके पिताजी को आज शर्म आ रही होगी आप जैसे देशद्रोही बेटे पर.”

विवाद तब और बढ़ गया जब दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने भी वर्मा पर नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र में महिलाओं को पैसे बांटने का आरोप लगाया. बुधवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए आतिशी ने आरोप लगाया कि विंडसर प्लेस में वर्मा के आवास पर झुग्गी-झोपड़ियों की महिलाओं को 1,100 रुपये दिए गए और उनकी मतदाता पहचान पत्र की जानकारी नोट की जा रही थी.

केजरीवाल ने वर्मा का नाम लिए बिना उन पर आरोप लगाए, लेकिन एक्स पर अपने एक पोस्ट में उन्होंने कहा कि भाजपा अगले साल की शुरुआत में होने वाले दिल्ली विधानसभा चुनावों में वर्मा को पार्टी का चेहरा बनाएगी.

उन्होंने पूछा, “सूत्रों के मुताबिक बीजेपी प्रवेश वर्मा को अपना CM चेहरा घोषित करने जा रही है. क्या दिल्ली की जनता ऐसे व्यक्ति को अपना CM बनाना चाहेगी?”

भाजपा सूत्रों के अनुसार, पार्टी सामूहिक नेतृत्व में बिना किसी चेहरे के दिल्ली विधानसभा चुनाव लड़ना चाहती है, जैसा कि उसने राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ सहित कई राज्यों के चुनावों में किया है.

हालांकि, भाजपा ने इस मामले पर आधिकारिक रूप से कोई टिप्पणी नहीं की, लेकिन वरिष्ठ भाजपा नेता अमित मालवीय ने एक्स पर लिखा: “हार के डर से अरविंद केजरीवाल की घिग्घी बंध गई है. विधायक और तीसरी बार मुख्यमंत्री बनने के बाद नई दिल्ली विधानसभा में जिस आदमी ने कदम नहीं रखा, वहां के लोगों को साफ पानी जैसी मौलिक सुविधाओं के लिए तरसा दिया, वह चुनाव घोषणा से पहले अपनी हार का बहाना ढूंढ़ रहा है.”

भाजपा केजरीवाल की ‘आम आदमी’ वाली छवि पर हमला करती रही है और इस महीने की शुरुआत में उसने उनके सिविल लाइंस स्थित आवास का एक वीडियो भी जारी किया था, जिसे उसने ‘शीश महल’ करार दिया था.

मीडिया को दिए बयान में वर्मा ने वोट के लिए पैसे बांटने के आरोपों से इनकार किया, लेकिन माना कि वे ज़रूरतमंदों को पैसे मुहैया करा रहे हैं.

वर्मा ने कहा, “मैंने कल दिल्ली के पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल का पोस्ट देखा और आज दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी की प्रेस कॉन्फ्रेंस देखी. मैं देख रहा हूं कि वह नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र को लेकर वाकई चिंतित हैं. मैं उन्हें बताना चाहता हूं कि मेरे पिता ने 25 साल पहले राष्ट्रीय स्वाभिमान संस्था बनाई थी. हमने गुजरात में दो भूकंप के बाद दो गांवों का विकास किया, फिर हमने ओडिशा में चक्रवात के बाद चार गांवों का विकास किया, जिनका उद्घाटन पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम ने किया था. हमने कारगिल युद्ध के शहीदों के परिवारों को एक-एक लाख रुपये दिए थे. मेरे पिता ने मुझे ज़रूरतमंदों की मदद करना सिखाया.”

उन्होंने आगे बताया कि कोविड-19 महामारी के दौरान उन्होंने 500 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर उपलब्ध कराए थे और बहुत काम किया था.

वर्मा ने आगे कहा, “पिछले 11 दिनों से मैं यहां महिलाओं की पीड़ा देख रहा हूं, जो अरविंद केजरीवाल ने 11 साल में नहीं देखी. जब मैं उनकी कॉलोनियों में गया, तो उन्होंने मुझे बताया कि उनके बिजली बिल हज़ारों रुपये के हैं. उन्हें गंदा और दूषित पानी मिलता है और उनके पास दवाइयों और स्वास्थ्य सेवा तक कोई पहुंच नहीं है.”

पूर्व सांसद ने कहा, “उनकी दुर्दशा और अभाव, जो AAP के कुशासन का प्रत्यक्ष परिणाम है, ने मुझे राष्ट्रीय स्वाभिमान (NGO) के माध्यम से नई दिल्ली की प्रत्येक महिला को मासिक सहायता प्रदान करने की ज़रूरत के बारे में आश्वस्त किया. मैंने तुरंत इस संबंध में एक योजना का विचार बनाया और उसे शुरू किया, जिसके तुरंत बाद कई स्थानों पर रजिस्ट्रेशन कैंप लगाए. योजना को जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली और हमने नई दिल्ली की अपनी लाडली बहनों और माताओं को यह मासिक सहायता प्रदान करना शुरू कर दिया. मिस्टर केजरीवाल के विपरीत, कम से कम मैं दिल्ली के निवासियों को मुफ्त शराब नहीं बांट रहा हूं.”

वर्मा ने एक और घोषणा भी की, “मैं यह घोषणा करता हूं कि मिस्टर केजरीवाल चाहे जितना भी शोर और हंगामा करें, मैं नई दिल्ली की प्रत्येक ज़रूरतमंद महिला की सहायता करने के अपने मिशन में दृढ़ रहूंगा.”

उन्होंने वादा किया कि नई दिल्ली की प्रत्येक महिला को बिना किसी बाधा के यह सहायता मिलेगी. उन्होंने कहा, “उनकी पेंशन से लेकर नौकरी की ज़रूरतों तक, उनके भाई और बेटे — प्रवेश साहिब सिंह वर्मा — उनके जीवन को बेहतर बनाने के लिए 24×7 काम कर रहे हैं.”

वर्मा ने यह भी आरोप लगाया कि नई दिल्ली में उनके एनजीओ की योजना से पूरी आप पार्टी “घबरा गई” है.

उन्होंने कहा, “मैं आतिशी मर्लेना जी से कहना चाहता हूं कि यह मेरे द्वारा किए गए सुशासन के कई कार्यों में से एक है. प्रेस कॉन्फ्रेंस करने के बजाय उन्हें मेरे काम का समर्थन करना चाहिए. यही बात नई दिल्ली के मायावी विधायक मिस्टर अरविंद केजरीवाल पर भी लागू होती है…आदर्श आचार संहिता अभी लागू नहीं हुई है…ऐसा कुछ भी नहीं है जो उन्हें दिल्ली की महिलाओं से किए गए अपने वादों को पूरा करने से रोक सके. तीन साल पहले उन्होंने पंजाब राज्य की महिलाओं से भी ऐसे ही वादे किए थे, लेकिन किसी भी महिला के बैंक खाते में एक भी रुपया जमा नहीं हुआ.”


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‘मेरी प्यारी लाडली माता और बहनों के लिए, प्रवेश भाई की तरफ से’

हालांकि, जिन महिलाओं को धनराशि मिली है, वे संतुष्ट हैं.

दिप्रिंट बुधवार को दोपहर करीब 3 बजे वर्मा के आवास 20 विंडसर प्लेस पर पहुंचा, जहां काली बाड़ी इलाके की निवासी 45-वर्षीय हंसराजिनी पूर्व भाजपा सांसद के घर की ओर तेज़ी से जा रही थीं. उन्हें बताया गया था कि ‘लाडली योजना’ के मुताबिक, उन्हें 1,100 रुपये दिए जाएंगे. उनके साथ उनकी बेटी भी थी.

सांसद वर्मा के घर के बाहर हंसराजिनी | फोटो: मृणालिनी ध्यानी/दिप्रिंट
सांसद वर्मा के घर के बाहर हंसराजिनी | फोटो: मृणालिनी ध्यानी/दिप्रिंट

भाजपा ने मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में लाडली योजना के अलग-अलग संस्करण शुरू किए हैं, जहां लड़कियों और महिलाओं को एक निश्चित धनराशि दी जाती है और संबंधित राज्यों में इसका भारी राजनीतिक लाभ हुआ है, जहां पार्टी अब सत्ता में है.

हालांकि, दिल्ली में न तो राज्य और न ही केंद्र कोई ‘लाडली योजना’ चलाता है.

“कल शाम को मेरी कॉलोनी के कई लोगों ने मुझे इसके बारे में बताया, लेकिन मैं बारिश के कारण नहीं आ सकी.” हंसराजिनी ने एक प्लास्टिक फोल्डर पकड़ा हुआ था, जिसमें उनका ‘लाडली योजना कार्ड’ था, जिस पर उनका अंगूठा लगा था, आधार कार्ड, वोटर आईडी, एक सफेद लिफाफा और 2025 का एक कैलेंडर था.

हंसराजिनी ने कहा कि बुधवार को अपनी वोटर आईडी, आधार कार्ड और बैंक अकाउंट नंबर की प्रति जमा करने के बाद उन्हें वर्मा के आवास पर एक नंबर वाला टोकन दिया गया था. उन्होंने दिप्रिंट को बताया, “हमें हमारे टोकन नंबर के अनुसार बुलाया गया और हमें एक सफेद लिफाफा दिया गया, जिसमें 1,100 रुपये और एक पीला कार्ड था.”

वर्मा ने मीडिया को दिए बयान में कहा है कि यह पैसा उनके एनजीओ ने दिया था.

हंसराजिनी ने आगे दावा किया कि अपने आवास पर वर्मा ने पैसे लेने गई महिलाओं को सीधे संबोधित नहीं किया, बल्कि उनसे भाजपा को वोट देने का आग्रह किया.

महिलाओं को दिए गए पीले कार्ड पर “लाडली योजना” लिखा हुआ था और उसके साथ प्रवेश वर्मा की तस्वीर थी. कार्ड पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृह मंत्री अमित शाह और प्रवेश के पिता और दिल्ली के पूर्व सीएम साहिब सिंह वर्मा की सामूहिक तस्वीर थी. कार्ड के सामने की तरफ लाभार्थियों की डिटेल्स भी लिखी थी, जबकि पीछे की तरफ जनवरी 2025 से दिसंबर 2029 तक उन्हें किए गए भुगतान को रिकॉर्ड करने के लिए एक तालिका थी.

दिप्रिंट ने जिन महिलाओं से बात की, उन्होंने दावा किया कि उन्हें एक सफेद लिफाफे में पैसे मिले थे, जिस पर एक छोटा सा स्टिकर लगा था, जिस पर लिखा था “मेरी प्यारी लाडली माता और बहनों के लिए, प्रवेश भाई की तरफ से”.

महिलाओं को दिया गया लिफाफा | फोटो: मृणालिनी ध्यानी/दिप्रिंट
महिलाओं को दिया गया लिफाफा | फोटो: मृणालिनी ध्यानी/दिप्रिंट

जिन महिलाओं को पैसे मिले, उनसे बॉक्स के नीचे कार्ड पर हस्ताक्षर करने या अंगूठे का निशान देने के लिए कहा गया, जिसपर जनवरी छपा हुआ था, ताकि पैसे मिलने की पुष्टि हो सके.

हंसराजिनी ने कहा, “वर्मा और वहां मौजूद अन्य लोगों ने हमसे कहा कि बदलाव तभी आएगा जब हम उनका साथ देंगे.” उन्होंने कहा कि महंगाई बढ़ रही है, हर चीज़ महंगी होती जा रही है और छह लोगों के परिवार को पालने के लिए किसी भी तरह की मदद का स्वागत है.

हंसराजिनी शाम करीब 4 बजे पैसे लेकर कार्यक्रम स्थल से चली गईं. उनके साथ उनकी बेटी ने भी पैसे लिए.

20 विंडसर प्लेस स्थित प्रवेश वर्मा के आवास से बाहर निकलती महिलाएं | फोटो: प्रवीण जैन/दिप्रिंट
20 विंडसर प्लेस स्थित प्रवेश वर्मा के आवास से बाहर निकलती महिलाएं | फोटो: प्रवीण जैन/दिप्रिंट

भाजपा सांसद ने कई जगहों पर कैंप लगाए थे, जिनमें से तीन काली बाड़ी इलाके के आसपास, अटल आदर्श विद्यालय, सांगली मेस, एनडीएमसी और बंगला साहिब रोड पर काली मंदिर के पास थे.

अटल आदर्श विद्यालय, सांगली मेस के पास ‘लाडली योजना’ रजिस्ट्रेशन कैंप | फोटो: प्रवीण जैन/दिप्रिंट
अटल आदर्श विद्यालय, सांगली मेस के पास ‘लाडली योजना’ रजिस्ट्रेशन कैंप | फोटो: प्रवीण जैन/दिप्रिंट

इससे पहले दोपहर करीब 2 बजे हंसराजिनी के परिवार की दो और महिलाएं गीता और काजल पूर्व सांसद के घर वादा किए गए पैसे लेने पहुंचीं. उन्होंने मंगलवार को बंगला साहिब रोड पर काली मंदिर के पास एक कैंप में रजिस्ट्रेशन कराया था.

गीता ने कहा, “उन्होंने ज़रूरत पड़ने पर हमें नौकरी दिलाने का वादा किया.” गीता के पति एनडीएमसी के सीवरेज डिवीजन में सीवर लाइनों की सफाई का काम करते हैं.

महिलाओं ने यह भी दावा किया कि जब वह कैंप में रजिस्ट्रेशन कराने गईं, तो उन्होंने पाया कि उनके नाम पहले से तैयार सूची में थे. उन्हें बस अपनी डिटेल्स की पुष्टि करनी थी.

दिप्रिंट ने पहले भी रिपोर्ट की थी कि भाजपा केजरीवाल को कड़ी टक्कर देने के लिए नई दिल्ली विधानसभा सीट से वर्मा को उम्मीदवार बनाने पर विचार कर रही है. वह 2025 के विधानसभा चुनावों को राष्ट्रीय राजधानी की बागडोर फिर से हासिल करने के अवसर के रूप में देख रही है.

केजरीवाल 2013 से नई दिल्ली विधानसभा सीट का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं. वर्मा ने 2014 से 2019 तक पश्चिमी दिल्ली लोकसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया और 2013 के विधानसभा चुनाव में महरौली से भी जीत हासिल की. ​​उनके पिता साहिब सिंह वर्मा 1996 से 1998 के बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री रहे.

पार्टी सूत्रों के अनुसार, वर्मा नई दिल्ली सीट से चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं और उन्होंने चुनाव प्रचार की योजना बनाने के लिए नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र के मतदाताओं और कार्यकर्ताओं के साथ बैठकें की हैं. राष्ट्रीय भाजपा के सूत्रों ने कहा कि वर्मा केजरीवाल के खिलाफ चुनाव लड़ने के इच्छुक हैं और केंद्रीय नेतृत्व जल्द ही इस संबंध में अंतिम फैसला लेगा.

(इस रिपोर्ट को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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