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Monday, 6 May, 2024
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भारत को कैसे त्वचा और बाल के इलाज के लिए अगला मेडिकल टूरिज्म डेस्टिनेशन बनाया जा सकता है?

पंजीकृत क्लीनिकों और चिकित्सा संस्थानों को सरकार के साथ गठजोड़ करना चाहिए और यात्रा और आवास की व्यवस्था करने की दिशा में काम करना चाहिए.

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मेडिकल टूरिज्म या मेडिकल वैल्यू ट्रैवल (MVT) आज भारत की अर्थव्यवस्था को फायदा पहुंचा रहा है और एक बढ़ता हुआ उद्योग है. मेडिकल टूरिज्म के तहत दुनिया भर से लोग इलाज और अन्य प्रक्रियाओं के लिए एक देश की यात्रा करते हैं. एक त्वचा विशेषज्ञ के रूप में, मैं अफगानिस्तान, बांग्लादेश और श्रीलंका, इन तीन देशों जहां से भारत में अधिक से अधिक मेडिकल टूरिस्ट आते हैं, के कई अंतरराष्ट्रीय मरीजों के लिए त्वचा और बालों के उपचार और सर्जरी और फॉलो-अप को सफलतापूर्वक सुविधा प्रदान करने की यात्रा का हिस्सा रही हूं. जिन अन्य देशों से भारत को बड़ी मात्रा में आमद मिलती है उनमें इराक, संयुक्त अरब अमीरात, ब्रिटेन, ओमान, मालदीव, यमन, कुछ दक्षिण अफ्रीकी देश, उज्बेकिस्तान और सूडान शामिल हैं. भारत निस्संदेह हाल के दिनों में सबसे पसंदीदा चिकित्सा और कल्याण स्थलों में से एक बन गया है. समय की मांग है कि इस प्रयास को जारी रखा जाए और भारत को नंबर 1 मेडिकल टूरिज्म डेस्टिनेशन बनाने के तरीकों पर काम किया जाए. 

आज, शीर्ष MVT गंतव्यों में तुर्की, जापान, फ्रांस, चीन, जर्मनी, ऑस्ट्रिया, थाईलैंड, ब्राजील, मैक्सिको, अमेरिका, सिंगापुर, भारत और ताइवान जैसे देश हैं.

तुर्की पश्चिमी देशों के लिए सबसे अधिक मांग वाले प्लास्टिक सर्जरी टूरिज्म डेस्टिनेशन में से एक बन गया है. 2022 में, यहां 1 मिलियन से अधिक लोग आए, जिन्होंने केवल हेयर ट्रांसप्लांट पर 2 बिलियन डॉलर से अधिक खर्च किए. सस्ती कीमतें, कुशल और नई सुविधाएं, विभिन्न प्रकार की सर्जरी, गोपनीयता बनाए रखने का अच्छा रिकॉर्ड, सांस्कृतिक और ऐतिहासिक आकर्षण, गर्मजोशी से भरा आतिथ्य प्रबंधन और सर्जरी से पहले और बाद में मरीजों का अच्छा देखभाल ऐसे कारण हैं. इन तमाम चीजों को लेकर वहां अच्छा प्रबंधन है. भारत को भी इन क्षेत्रों में काम करना चाहिए और इलाज कराने वाले लोगों के पसंदीदा गंतव्य के रूप में खुद को स्थापित करना चाहिए.

मेट्रो ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स के अध्यक्ष, पद्म विभूषण डॉ. (प्रोफेसर) पुरूषोत्तम लाल कहते हैं, “भारत के दिल में एक चिकित्सा कौशल बसा है जो वैश्विक स्वास्थ्य देखभाल के प्रकाशस्तंभ के रूप में चमक सकता है. जैसे-जैसे वैश्विक परिदृश्य विकसित हो रहा है, आइए हम भारत को मेडिकल टूरिज्म के लिए प्रमुख गंतव्य बनाएं, जहां हमारे डॉक्टरों का उपचारात्मक स्पर्श हमारी संस्कृति की समृद्ध टेपेस्ट्री से मिलता है. रणनीतिक सरकारी पहलों के माध्यम से, हम न केवल अंतर्राष्ट्रीय मरीजों को आकर्षित कर सकते हैं, बल्कि अपने चिकित्सा पेशेवरों को उत्कृष्टता प्राप्त करने के लिए एक पोषण वातावरण भी प्रदान कर सकते हैं, जिससे न केवल हमारे देश को बल्कि दुनिया भर के लोगों के स्वास्थ्य और खुशी को लाभ होगा. हमारे डॉक्टर अंतरराष्ट्रीय चिकित्सा सहयोग को बढ़ावा देकर और स्वास्थ्य देखभाल में नवीनतम प्रगति को अपनाकर अंतरराष्ट्रीय मरीजों को आकर्षित कर सकते हैं, जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि भारत वैश्विक स्वास्थ्य देखभाल नवाचार में सबसे आगे बना रहे.”


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भारत क्या कर सकता है?

मेडिकल टूरिज्म एसोसिएशन के अनुसार, भारत 2020-21 के लिए मेडिकल टूरिज्म इंडेक्स (MTI) में दुनिया भर के 46 गंतव्यों में से 10वें स्थान पर है. गोवा में G20 हेल्थ वर्किंग पार्टी की दूसरी बैठक में, केंद्रीय पर्यटन राज्य मंत्री श्रीपद नाइक ने वैश्विक स्वास्थ्य के लिए एक सहकारी और टिकाऊ दृष्टिकोण का आह्वान किया और दावा किया कि पिछले एक साल में 1.4 मिलियन मेडिकल टूरिस्ट्स भारत आए. इनमें से यह देखा गया है कि कॉस्मेटिक ऑपरेशन जैसे बाल, त्वचा, वजन घटाने की सर्जरी आदि के लिए यात्रा करने वाले लोग इसके विकास के एक बड़े हिस्से के लिए जिम्मेदार हैं. इसलिए, सरकार को भारत में त्वचा और बालों के उपचार की गुणवत्ता में सुधार के लिए मेडिकल टूरिज्म और विशेष रूप से कॉस्मेटोलॉजी में पारदर्शिता के साथ गुणवत्ता को बढ़ावा देना चाहिए.

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इसकी सख्ती से निगरानी की जानी चाहिए कि देश भर में किसी भी क्लिनिक या केंद्र में किसी भी टूरिज्म ट्रीटमेंट और प्रक्रियाओं के लिए परमिट इस बात की पुष्टि होने पर दिया जाए कि थेरेपी सेंटर, हेयर ट्रांसप्लांट सेंटर, डेंटल कॉस्मेटोलॉजी क्लीनिक, त्वचा और कॉस्मेटोलॉजी क्लीनिक आदि पंजीकृत और विनियमित हैं. पहले से मौजूद राष्ट्रीय कानून और मानदंड जैसा कि क्लिनिकल प्रतिष्ठान (पंजीकरण और विनियमन) अधिनियम (2010) में बताया गया है. सरकार के नेतृत्व वाली प्रभावी पहल और उनकी प्रतिबद्धता तुर्की में मेडिकल टूरिज्म में उछाल का महत्वपूर्ण कारण है. भारत को भी पहले से मौजूद लक्ष्यों के प्रति प्रतिबद्ध होना चाहिए और स्थायी और दृढ़ समर्थन को मजबूत करना चाहिए.

सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म, सरकारी कार्यक्रमों के साथ सहयोग आदि के माध्यम से सरकार से पर्याप्त समर्थन मिलना चाहिए. भारत के गृह मंत्रालय द्वारा विदेशी चिकित्सा पर्यटकों के लिए विशिष्ट उद्देश्यों के लिए शुरू किए गए नए “मेडिकल वीज़ा” को और अधिक लोकप्रिय बनाया जाना चाहिए. चिकित्सा पेशेवरों के साथ-साथ स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने वाले संस्थानों और क्लीनिकों के लिए नियमों और पंजीकरणों के लिए राष्ट्रीय स्तर के प्रोटोकॉल और मार्गदर्शन का सख्ती से पालन किया जाना चाहिए. मेडिकल टूरिस्ट आईडी वाले मेडिकल पर्यटकों को दवा पर छूट की अनुमति दी जा सकती है. यहां तक ​​कि एयरलाइंस को भी ऐसी श्रेणी के पर्यटकों के लिए छूट योजनाएं तैयार करने के लिए प्रोत्साहित किया जा सकता है. यह इन आगंतुकों को उपनगरीय और टियर दो और तीन शहरों का पता लगाने के लिए प्रोत्साहित करेगा.

यह सुझाव दिया जा सकता है कि चयनित पंजीकृत योग्य क्लीनिकों और चिकित्सा संस्थानों को सरकार के साथ गठजोड़ करना चाहिए और मरीजों के लिए यात्रा और आवास व्यवस्था करने की दिशा में काम करना चाहिए. इसके अतिरिक्त, कॉस्मेटिक और प्लास्टिक सर्जरी और उपचार सहित मेडिकल पर्यटन को सरकार द्वारा प्री-बुकिंग चैनल के माध्यम से विनियमित किया जा सकता है. यह सिफारिश की जा सकती है कि एक मेडिकल टूरिज्म सेल स्थापित किया जाए जिसमें निजी डॉक्टरों को भी शामिल किया जाए. सेल मरीजों को भ्रम को दूर करने और धोखाधड़ी वाले तत्वों को दूर रखने के लिए निश्चित संख्या में विकल्प देगा.

यह सेल देश भर के शीर्ष डॉक्टरों की ऑनलाइन नियुक्तियों की सुविधा भी प्रदान कर सकता है और मेडिकल टूरिस्टों के लिए बाधा-मुक्त बुकिंग भी सक्षम कर सकता है. दान के आधार पर MVT के लिए प्री-बुकिंग की भी व्यवस्था की जा सकती है, जिसे सरकारी सेल उपचार प्रदान करने वाले क्लिनिक या केंद्र के उत्थान के लिए सुविधा प्रदान कर सकता है.

कुल मिलाकर, चिकित्सा पर्यटन के पूर्ण दायरे को साकार करने के लिए, भारत के लिए स्वास्थ्य देखभाल की गुणवत्ता को बनाए रखना और सुधारना, पारदर्शिता सुनिश्चित करना और देश को एक विश्वसनीय चिकित्सा पर्यटन गंतव्य के रूप में बढ़ावा देना जारी रखना आवश्यक है. इसके अतिरिक्त, बुनियादी ढांचे की चुनौतियों का समाधान करना और एक मजबूत स्वास्थ्य देखभाल नियामक बनाए रखना इस उद्योग में निरंतर विकास के लिए महत्वपूर्ण है.

एक डॉक्टर के रूप में, मैं भारत में सभी इच्छुक मेडिकल टूरिस्टों का स्वागत करती हूं और दृढ़ता से सुझाव देती हूं कि आपकी चिकित्सा आवश्यकताओं के लिए शोध करना और एक प्रतिष्ठित स्वास्थ्य सुविधा का चयन करना आवश्यक है. गंतव्य का चुनाव आपके लिए आवश्यक विशिष्ट चिकित्सा उपचार और आपकी व्यक्तिगत प्राथमिकताओं पर निर्भर हो सकता है. भारत में एक पुरस्कृत मेडिकल टूरिज्म अनुभव प्राप्त करने के लिए कोई भी निर्णय लेने से पहले हमेशा अपने स्वास्थ्य सेवा प्रदाता से परामर्श करें और सरकारी दिशानिर्देशों और प्रक्रियाओं, नियमों की पूर्ति, आवश्यक बुनियादी ढांचे, क्लिनिक के मेडिकल रिकॉर्ड, मेडिकल वीज़ा प्रक्रियाओं आदि की जांच करें.

(डॉ दीपाली भारद्वाज एक त्वचा विशेषज्ञ, एंटी-एलर्जी विशेषज्ञ, लेजर सर्जन और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रशिक्षित एस्थेटीशियन हैं. उनका एक्स हैंडल @dermatdoc है. व्यक्त किए गए विचार निजी हैं.)

(संपादन: ऋषभ राज)

(इस लेख को अंग्रेज़ी में पढ़नें के लिए यहां क्लिक करें)


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