दिप्रिंट के संपादकों द्वारा चयनित कार्टून पहले अन्य प्रकाशनों में प्रकाशित किए जा चुके हैं. जैसे- प्रिंट मीडिया, ऑनलाइन या फिर सोशल मीडिया पर.
आज के फीचर कार्टून में आलोक निरंतर ने पीएम नरेंद्र मोदी की गलवान घाटी में चीन की बढ़ती पकड़ को लेकर आलोचना की है. वो कार्टून के जरिए बताने की कोशिश कर रहे हैं कि सरकार का ध्यान उत्तर प्रदेश पर है जहां बढ़ते कोविड -19 मामलों के बीच राजनीतिक रैलियों में हिस्सा लेने के लिए हजारों लोग पहुंच रहे हैं.
चीन ने अपने क्षेत्रीय दावों पर जोर देने के लिए अरुणाचल प्रदेश की कुछ जगहों का नाम बदल दिया है. इस पर नाला पोनप्पा, भारत की ओर से टिट-फॉर-टेट प्रतिक्रिया करने की बात करते हुए हांग कांग और चीन के कुछ क्षेत्रों का नाम बदलने के लिए कह रहे हैं.
मंजुल कोरोनो वायरस के डेल्टा वैरिएंट को दिखाता है, जो 2021 में प्रमुख था और भारत में महामारी की विनाशकारी दूसरी लहर के लिए काफी हद तक जिम्मेदार था, और अब ओमीक्रॉन के बढ़ते मामलों को लेकर टिप्पणी कर रहे हैं.
साजिथ कुमार एनजीओ के लिए फंडिंग नियमों पर सरकार के सख्त रुख की आलोचना कर रहे हैं. मदर टेरेसा के मिशनरीज ऑफ चैरिटी सहित 5,968 संगठन 1 जनवरी को अपने विदेशी योगदान लाइसेंस को गंवा चुके हैं. हालांकि, सरकार चुनावी बॉन्ड के समर्थन में रही है जिसकी पारदर्शिता पर हमेशा सवाल उठते रहे हैं.
जैसे-जैसे भारत के इतिहास को फिर से लिखने की मांग बढ़ती जा रही है, संदीप अध्वर्यु नए साल में अतीत के महिमामंडन पर तंज़ कसते रहे हैं.
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