नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के राष्ट्रीय प्रवक्ता गौरव भाटिया ने मंगलवार को लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस सांसद बिहार में चुनावी माहौल के बीच जो ‘वोटर अधिकार यात्रा’ निकाल रहे हैं, वह दरअसल ‘झूठ की दुकान’ है, ‘मोहब्बत की दुकान’ नहीं. भाटिया ने यह भी सवाल उठाया कि क्या राहुल गांधी देश से झूठ फैलाने के लिए माफी मांगेंगे.
नई दिल्ली में आयोजित भाजपा की प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाटिया ने 18 अगस्त को सुप्रीम कोर्ट द्वारा खारिज की गई याचिका का ज़िक्र किया, जिसमें 2024 महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कथित फर्जी मतदान का आरोप लगाया गया था.
भाटिया ने कहा, “कल सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट कहा कि हमारे सामने फर्जी मतदान का कोई ठोस सबूत नहीं है. यह तो न्याय प्रक्रिया का दुरुपयोग था.”
उन्होंने आगे कहा, “राहुल गांधी ‘झूठ की दुकान/शोरूम’ चला रहे हैं, ‘मोहब्बत की दुकान’ नहीं. 40 घंटे तक लोकतंत्र को कमजोर करने और चुनाव आयोग पर सवाल खड़े करने के लिए झूठ फैलाया गया. इसकी जिम्मेदारी कौन लेगा? क्या राहुल गांधी देश से माफी मांगेंगे? लोगों का भरोसा तोड़ा गया है.”
बीजेपी सांसद रविशंकर प्रसाद ने भी कांग्रेस पर हमला करते हुए कहा कि कांग्रेस चाहती है कि घुसपैठिए और मृतक लोग भी मतदाता सूची में बने रहें.
उन्होंने कहा, “क्या वे चाहते हैं कि घुसपैठियों को वोटर बनाया जाए? जो लोग मर चुके हैं उन्हें भी वोटर रखा जाए? जो दो जगहों पर दर्ज हैं उन्हें भी वोटर रखा जाए? कांग्रेस अपनी स्थिति स्पष्ट क्यों नहीं कर रही?”
रविशंकर प्रसाद ने राहुल गांधी को पुराने मुद्दों पर भी घेरा.
उन्होंने कहा, “राहुल जी, आपने पेगासस का मुद्दा उठाया था. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जिनको समस्या है वे फोन जांच के लिए दें, लेकिन आपने अपना फोन नहीं दिया. राफेल पर आपको सुप्रीम कोर्ट में माफी मांगनी पड़ी थी. देश आपको माफ नहीं करेगा. संसद का जो अपमान आपने किया, उसके बाद आपको जनता वोट नहीं देगी.”
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) की सांसद शंभवी चौधरी ने भी विपक्ष की यात्रा पर कटाक्ष करते हुए कहा कि इससे उनके गठबंधन को कोई फायदा नहीं मिलने वाला.
उन्होंने कहा, “इस यात्रा से उन्हें कोई लाभ नहीं होगा. बिहार की जनता विकास लाने वालों को ही वोट देगी. चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है, उस पर लगाए गए आरोप बेबुनियाद हैं.”
बता दें कि ‘वोटर अधिकार यात्रा’ रविवार को सासाराम से शुरू हुई है. 16 दिन की यह यात्रा बिहार में चुनाव आयोग की स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) प्रक्रिया और कथित ‘वोट चोरी’ के खिलाफ निकाली जा रही है. यह यात्रा 20 से ज्यादा जिलों में 1,300 किमी का सफर तय करेगी और 1 सितंबर को पटना में समाप्त होगी.
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