नई दिल्ली: दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में बीते रविवार हुई हिंसा के बाद जेएनयूएसयू के प्रतिनिधियों ने मानव संसाधन एवं विकास मंत्रालय के सचिव अमित खरे से मुलाकात की. जेएनयू छात्र संघ की अध्यक्ष आइशी घोष ने कहा, ‘हमने मंत्रालय के सचिव से बातचीत में कहा कि कैंपस में पांच तारीख़ को हुई घटना भयानक थी. वीसी सक्षम नहीं है. शिक्षा मंत्रालय ने भरोसा दिया है कि हमारी मांगे सुनी जाएगी.’
दिल्ली पुलिस द्वारा आइशी घोष सहित नौ लोगों की तस्वीर जारी करने पर जेएनयूएसयू अध्यक्ष ने कहा कि पहले कन्हैया कुमार को फंसाने की कोशिश की गई अब मुझे फंसाया जा रहा है.
पुलिस ने प्रेस कांफ्रेंस कर कहा, ‘जेएनयू में हमला करने वाले नौ संदिग्ध हमलावरों की पहचान की गई. जेएनयू के पेरियार छात्रावास में कुछ खास कमरों को निशाना बनाया गया. जेएनयू छात्र संघ अध्यक्ष आइशी घोष समेत कुछ लोगों ने पांच जनवरी को पेरियार छात्रावास में छात्रों पर हमला किया. बड़ी संख्या में छात्र शीत सेमेस्टर के लिये पंजीकरण कराना चाहते थे लेकिन छात्र निकायों ने उन्हें ऐसा नहीं करने दिया.’
एचआरडी के सचिव से मिलने के बाद जेएनयूएसयू आइशी घोष ने कहा कि हम वीसी को तुरंत पद से हटाए जाने की मांग करते हैं. वो विश्वविद्यालय को चलाने के लायक नहीं है. हमें ऐसा वीसी चाहिए जो नई शुरुआत कर सके और कैंपस में सामान्य माहौल बना पाए.
बैठक में एचआरडी ने छात्रों से आंदोलन वापस लेने की अपील की है.
मानव संसाधन विकास मंत्रालय में उच्च शिक्षा सचिव अमित खरे ने शुक्रवार को वाइस चांसलर जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, जेएनयू के छात्र संघ प्रतिनिधियों और यूजीसी के अधिकारियों से बैठक की.
वाइस चांसलर की तरफ से गुरुवार को एक सर्कुलर दिया गया है जिसके तहत यूटिलिटी चार्जेस को हॉस्टल स्टूडेंट से लेने पर मना किया गया है और कहा गया है कि यह अतिरिक्त खर्च यूजीसी उठाएगी. इसके बाद हम छात्र संगठन और जेएनयू के छात्रों से हड़ताल वापस लेकर शैक्षणिक कार्य शुरू करने की अपील करते हैं.
छात्रों का वीसी पर भरोसा नहीं है
आइशी ने कहा कि शिक्षा मंत्रालय ने फ़ीस वृद्धि और हमारे ऊपर चल रहे मामलों पर सर्कुलर लेकर आने की बात कही. हम सर्कुलर आने के बाद तय करेंगे कि आगे प्रदर्शन करना है या नहीं. हम इलेक्टेड बॉडी के साथ बैठकर आगे की प्रक्रिया तय करेंगे. किसी भी छात्र का वीसी पर भरोसा नहीं है.
जेएनयूएसयू के जनरल सेक्रेटरी सतीश चंद्र यादव ने कहा कि गुरुवार को पूर्व एचआरडी मंत्री मुरली मनोहर जोशी ने भी कहा था कि मौजूदा वीसी योग्य नहीं है. हम इसका भी हवाला देकर कहते हैं ऐसा वीसी दिया जाए जिसके ऊपर हमारा भरोसा हो.
जेएनयूएसयू के उपाध्यक्ष साकेत मून ने कहा, ‘दिल्ली पुलिस हमें फ़्रेम करने की कोशिश कर रही है. जिस दिन हमला हो रहा था उस दिन दिल्ली पुलिस गेट और कैंपस में तमाशा देख रही थी. इस वीसी ने हिंसा करवाई है और हमें फंसवाया है. हाई कोर्ट ने दो बार वीसी को कहा कि वो हमसे मिले लेकिन दोनों बार उन्होंने हाई कोर्ट की अवमानना की.’
साकेत मून ने कहा, ‘दिल्ली पुलिस को हमारे ख़िलाफ़ सीधे गृह मंत्रालय से आदेश दिए जा रहे हैं. वीसी ने एबीवीपी के प्रेसिडेंट की तरह व्यवहार किया है.’
आइशी ने कहा कि वीडियो हमारे पास भी हैं लेकिन उनपर कोई कार्रवाई नहीं हुई.
यादव ने कहा कि वीसी ने फ़ीस रोल बैंक के मुद्दे को हिंसा का मुद्दा बना दिया. शिक्षा सचिव ने जेएनयूएसयू से बातचीत में उन्हें जानकारी दी कि सुबह वीसी से सचिव की किन बातों पर चर्चा हुई है. उन्होंने सर्कुलर लाने की बात कही है और भरोसा दिलाया है कि बच्चों की बातें मानी जाएंगी.
छात्रों से ये अपील भी की गई है कि वो अपना प्रदर्शन वापस लें. बच्चों का कहना है कि वो सर्कुलर देखने के बाद चुने हुए प्रतिनिधियों के बीच चर्चा से आगे का रास्ता तय करेंगे.