नई दिल्ली: छत्तीसगढ़ पुलिस ने शुक्रवार को बीजापुर जिले के पीडिया गांव के पास मुठभेड़ में चार महिलाओं सहित कम से कम एक दर्जन संदिग्ध माओवादियों को मार गिराया. राज्य पुलिस के अधिकारियों ने यह जानकारी दी.
मामले की जानकारी रखने वाले अधिकारियों ने दिप्रिंट को बताया कि पश्चिम बस्तर डिवीजन के अंतर्गत आने वाले गंगालूर थाने के अधिकार क्षेत्र में शुक्रवार सुबह करीब 6 बजे गोलीबारी शुरू हुई जो कि शाम 4 बजे तक चली.
उन्होंने आगे कहा कि खुफिया इनपुट के आधार पर जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी), स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ), केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) और इसकी कमांडो बटालियन फॉर रेसोल्यूट एक्शन (सीओबीआरए) के जवान पश्चिम बस्तर डिवीजन के नेता माओवादी पापा राव की तलाश में थे, जिसके बाद गोलीबारी शुरू हो गई.
नक्सल विरोधी अभियानों के लिए छत्तीसगढ़ पुलिस के अतिरिक्त महानिदेशक, विवेकानन्द सिन्हा ने दिप्रिंट को बताया कि शुक्रवार की मुठभेड़ पिछले कुछ महीनों में सुरक्षा बलों द्वारा की गई चौथी ऐसी कार्रवाई थी, जिसमें 50 से अधिक लोग हताहत हुए थे जिसे “राज्य में नक्सलवाद पर करारा प्रहार” माना जा रहा है.
सुरक्षा बल इस साल आक्रामक रुख अपनाते हुए छत्तीसगढ़ में अब तक 100 से अधिक संदिग्ध माओवादियों को मार गिरा चुके हैं, जबकि पिछले साल यह संख्या केवल 30 थी.
शुक्रवार की मुठभेड़ माओवादियों का गढ़ माने जाने वाले बस्तर रेंज में चौथा बड़ा ऑपरेशन था और यह उस जगह से कुछ ही किलोमीटर की दूरी पर हुई थी, जहां पिछले महीने सुरक्षा बलों ने 10 संदिग्ध माओवादियों को मार गिराया था.
30 अप्रैल को नारायणपुर जिले के अंतर्गत अबुझमढ़ जंगल में बलों ने तीन महिलाओं सहित 10 कथित माओवादियों को मार डाला, जबकि उससे ठीक 15 दिन पहले,बलों ने कांकेर जिला पुलिस क्षेत्राधिकार के तहत उसी जंगल में उनके 29 नेताओं को मारकर छत्तीसगढ़ में माओवादियों के खिलाफ सबसे बड़ा हमला किया था.
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