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Tuesday, 21 May, 2024
होमदेश'WFI के पूर्व चीफ़ के ख़िलाफ़ FIR दर्ज नहीं की गई' - पहलवानों ने जंतर मंतर पर फिर शुरू किया विरोध प्रदर्शन

‘WFI के पूर्व चीफ़ के ख़िलाफ़ FIR दर्ज नहीं की गई’ – पहलवानों ने जंतर मंतर पर फिर शुरू किया विरोध प्रदर्शन

प्रदर्शनकारी पहलवानों ने जानकारी दी कि एक नाबालिग सहित सात महिला पहलवानों ने संसद मार्ग थाने में शिकायत दर्ज कराने की कोशिश की, लेकिन पुलिस अधिकारियों ने प्राथमिकी दर्ज करने से इनकार कर दिया.

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नई दिल्ली: भारत के दिग्गज पहलवान बजरंग पूनिया ने रविवार को कहा कि पहलवानों के एक बार फिर विरोध करने का कारण यह है कि उनकी समस्याओं के समाधान के लिए अब तक कुछ नहीं किया गया और पहलवान कुश्ती को बचाने के लिए दिल्ली के जंतर मंतर पर जमा हुए हैं.

बजरंग पुनिया, विनेश फोगट, रवि दहिया और साक्षी मलिक सहित शीर्ष भारतीय पहलवानों ने इस साल जनवरी में जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन किया, जिसमें ब्रज भूषण को प्रधान कार्यालय से हटाने और भारतीय कुश्ती महासंघ को भंग करने की मांग की गई थी. उन्होंने निकाय और उसके प्रमुख पर पहलवानों के यौन उत्पीड़न और दुर्व्यवहार का आरोप लगाया था. बजरंग पुनिया और कई अन्य पहलवानों ने कहा, “हमारे पास सिर्फ एक मुद्दा है. विरोध का कारण यह है कि अब तक कुछ भी नहीं किया गया है … हम यहां कुश्ती को बचाने के लिए हैं.”

प्रदर्शनकारी पहलवानों ने जानकारी दी कि एक नाबालिग सहित सात महिला पहलवानों ने संसद मार्ग थाने में शिकायत दर्ज कराने की कोशिश की, लेकिन पुलिस अधिकारियों ने प्राथमिकी दर्ज करने से इनकार कर दिया.

पहलवानों ने बताया कि उन्होंने शुक्रवार को नई दिल्ली के कनॉट प्लेस पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई थी, लेकिन अभी तक प्राथमिकी दर्ज नहीं की गई.

पदक विजेता साक्षी मलिक ने कहा, “हमने कनॉट प्लेस पुलिस स्टेशन में शिकायत की है. दो दिन हो गए हैं, लेकिन अभी तक कोई प्राथमिकी दर्ज नहीं की गई है. सात महिलाओं ने शिकायत की, जिसमें एक नाबालिग भी शामिल है. यह पॉस्को का मामला है, लेकिन अभी तक कुछ भी नहीं किया गया है.”

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बृजभूषण सिंह के खिलाफ प्रदर्शन करते हुए मीडिया से बातचीत के दौरान पहलवान विनेश फोगट और साक्षी मलिक भावुक हो गए.

साक्षी मलिक ने कहा, “जांच कमिटी को हमने और अन्य लड़कियों ने बयान दे दिए हैं लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हो रही है. पिछले दो महीने से हमारे मन में यही चल रहा है कि क्या हम कुश्ती कर पाएंगे.”

उन्होंने आगे कहा कि हम पर आरोप लगाए जा रहे हैं कि हमारा कुश्ती का करियर खत्म हो गया है इसीलिए हम यह विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. उन्होंने कहा, “हम कुश्ती को बचाने के लिए यहां हैं. हम चाहते हैं कि सच्चाई की जीत हो.”
खिलाड़ियों ने कहा कि जांच कमिटी ने रिपोर्ट सौंप दी है लेकिन अभी तक उसके नतीजों को उजागर नहीं किया गया है.

विनेश फोगट ने रोते हुए कहा, “सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि हमने कमिटी के सामने कुछ भी नहीं बोला है. कोई सबूत नहीं दिए हैं. लेकिन क्या ब्रज भूषण से सबूत मांगे गए? उनका नार्को टेस्ट कराया जाए और हमारा भी कराया जाए. अगर हम झूठे हैं तो अदालत हमें जो सजा देगी हमें मंजूर है.”

उन्होंने आरोप लगाया कि कमिटी के मेंबर सियासी तौर पर प्रभावित थे. हालांकि विनेश फोगट ने कहा कि वो इस बारे में खुल कर बात नहीं कर सकती हैं.

बता दें कि पहलवानों ने इस साल जनवरी में भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के खिलाफ प्रदर्शन किया था.

इससे पहले शीर्ष भारतीय पहलवान और ओलंपिक पदक विजेता बजरंग पुनिया ने रविवार को कहा कि पहलवान दिल्ली के जंतर मंतर पर एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे और भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के खिलाफ अपने विवाद में कानूनी प्रक्रिया के बारे में जानकारी देंगे.


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क्या है विवाद

जनवरी में, केंद्रीय युवा मामले और खेल मंत्रालय ने भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) और उसके प्रमुख बृज भूषण शरण सिंह और अन्य कोचों के खिलाफ लगाए गए थे. आरोपों की जांच के लिए एक ‘निरीक्षण समिति’ के गठन किया गया था. समिति को मंत्रालय को इस मुद्दे पर एक रिपोर्ट प्रस्तुत करने का काम दिया गया.

ओलंपिक पदक विजेता मैरी कॉम निगरानी समिति का नेतृत्व कर रही हैं. पूर्व पहलवान योगेश्वर दत्त, पूर्व शटलर तृप्ति मुर्गुंडे, एसएआई सदस्य राधिका श्रीमन, टारगेट ओलंपिक पोडियम प्लान के पूर्व सीईओ राजेश राजगोपालन, और सीडब्ल्यूजी स्वर्ण पदक विजेता बबीता फोगट मैरी कॉम की अगुवाई वाली समिति के अन्य सदस्य हैं।

लेकिन इससे पहले अप्रैल में, पुनिया ने कहा था कि मामले की जांच के लिए नियुक्त निरीक्षण समिति की रिपोर्ट और प्रमुख भारतीय पहलवानों द्वारा भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) और बृजभूषण के खिलाफ लगाए गए आरोपों के विरोध में पहलवान अदालत जाएंगे.

पुनिया ने कहा, ‘मैंने एक लेख पढ़ा जिसमें समिति के एक सदस्य ने कहा कि रिपोर्ट उनके हस्ताक्षर के बिना खेल मंत्रालय को सौंपी गई है. सदस्य ने रिपोर्ट से अपनी असहमति भी व्यक्त की. रिपोर्ट प्रस्तुत करना और रिपोर्ट से असहमत होना, हम इस पर कैसे भरोसा कर सकते हैं?”

उन्होंने कहा, “हमें यह भी नहीं बताया गया कि रिपोर्ट मंत्रालय को सौंप दी गई है.”


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दिल्ली महिला आयोग का नोटिस

दिल्ली महिला आयोग ने रविवार को पुलिस उपायुक्त को नोटिस भेजा और कई महिला पहलवानों द्वारा बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ लगाए गए यौन उत्पीड़न के आरोपों के संबंध में दर्ज की गई पहली जांच रिपोर्ट (एफआईआर) का विवरण मांगा.

मालीवाल ने ट्वीट किया, “देश की कई महिला रेसर्ल्स ने दो दिन पहले कैनॉट प्लेस पुलिस स्टेशन में डब्लूएफआई अध्यक्ष के ख़िलाफ़ यौन शोषण की शिकायत दी थी. एक शिकायतकर्ता नाबालिग भी है. अब तक दिल्ली पुलिस ने मामले में एफआईआर दर्ज नहीं की, जो क़ानून के ख़िलाफ़ है. पुलिस को नोटिस दिया है, 48 घंटे में डीसीडब्लू को जवाब दे.”

शिकायतकर्ता ने दिल्ली महिला पैनल को सूचित किया कि इस मामले में 21 अप्रैल को कनॉट प्लेस पुलिस स्टेशन में एक शिकायत दर्ज की गई थी, लेकिन शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं की गई.


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