scorecardresearch
Wednesday, 9 October, 2024
होमदेशअर्थजगतटेक स्टार्टअप का चहेता सिलिकॉन वैली बैंक क्यों फेल हुआ और अमेरिकी सरकार ने डिपॉजिटर्स को कैसे बचाया

टेक स्टार्टअप का चहेता सिलिकॉन वैली बैंक क्यों फेल हुआ और अमेरिकी सरकार ने डिपॉजिटर्स को कैसे बचाया

लोगों को बैंक की वित्तीय स्थिति पर संदेह हुआ और उन्होंने बदहवास होकर अपने पैसे निकालने शुरू कर दिए. इस कारण अमेरिका के इस दिग्गज बैंक पर ताला लटक गया. हालांकि इसके बाद अमेरिकी नियामकों ने तेजी से हस्तक्षेप किया है.

Text Size:

नई दिल्ली: सिलिकॉन वैली बैंक के फेल होने की खबर ने जमाकर्ताओं, स्टार्टअप्स और अमेरिकी बैंकिंग प्रणाली में दहशत फैला दी थी. लेकिन इस खबर के तीन दिन बाद ही अमेरिकी सरकार और नियामकों ने मामले में हस्तक्षेप करते हुए निर्णायक कदम उठा लिए हैं.

इन कार्रवाइयों ने डिपॉजिटर्स को आश्वस्त किया है कि उनके पैसे सुरक्षित हैं और उनके पास अपने पैसे तक पहुंच होगी. साथ ही भविष्य में बीमार वित्तीय संस्थानों की मदद के लिए एक नया कोष बनाया जाएगा.

यूएस के केंद्रीय बैंक बोर्ड ‘फेडरल रिजर्व बोर्ड’ ने रविवार को कहा कि वह अतिरिक्त फंडिंग उपलब्ध कराएगा ताकि यह सुनिश्चित करने में मदद मिल सके कि बैंकों के पास अपने सभी जमाकर्ताओं की जरूरतों को पूरा करने की क्षमता है’.

फेडरल रिजर्व बोर्ड ने अपने बयान में कहा, ‘अतिरिक्त फंडिंग एक नए बैंक टर्म फंडिंग प्रोग्राम (BTFP) के जरिए उपलब्ध कराई जाएगी … BTFP उच्च गुणवत्ता वाली प्रतिभूतियों के खिलाफ लिक्विडिटी का एक अतिरिक्त स्रोत होगा, जो मुश्किल समय में उन प्रतिभूतियों को जल्दी से बेचने की संस्था की जरूरत को खत्म कर देगा.’

इसमें कहा गया है कि बीटीएफपी के लिए बैकस्टॉप के रूप में कार्य करने के लिए एक्सचेंज स्टेबिलाइजेशन फंड से 25 बिलियन डॉलर उपलब्ध कराने के लिए अमेरिकी ट्रेजरी सचिव की मंजूरी ले ली गई है. स्टेबिलाइजेशन फंड एक आपातकालीन रिज़र्व है जिसका इस्तेमाल विभिन्न वित्तीय क्षेत्रों में अस्थिरता को कम करने के लिए किया जा सकता है.

हालांकि बयान में कहा गया है कि फेडरल रिजर्व ‘पहले से यह अनुमान नहीं लगाता है कि इन बैकस्टॉप फंडों को निकालना जरूरी होगा’.

उसी दिन ट्रेजरी सचिव जेनेट येलेन, फेडरल रिजर्व बोर्ड के अध्यक्ष जेरोम पॉवेल और फेडरल डिपॉजिट इंश्योरेंस कॉरपोरेशन (FDIC) के अध्यक्ष मार्टिन ग्रुएनबर्ग ने भी एक संयुक्त बयान जारी किया था.

बयान में कहा गया, ‘राष्ट्रपति के साथ परामर्श करने और एफडीआईसी और फेडरल रिजर्व के बोर्डों से एक सिफारिश किए जाने के बाद सचिव येलन एफडीआईसी को सिलिकॉन वैली बैंक, सांता क्लारा, कैलिफ़ोर्निया की समस्या से निपटने में सक्षम बनाने के लिए सभी जमाकर्ताओं की पूरी तरह से रक्षा करने वाले कार्यों को मंजूरी दे दी गई है.’

बयान में कहा गया है कि ‘सोमवार से जमाकर्ताओं की पहुंच अपने पैसे तक हो जाएगी. सिलिकॉन वैली बैंक के संकल्प से जुड़े किसी भी नुकसान को करदाता द्वारा वहन नहीं किया जाएगा’.

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बिडेन ने बैंकिंग संकट के पीछे के लोगों को ‘पूरी तरह से जवाबदेह’ ठहराने का वादा किया है. सोमवार को एक भाषण में बिडेन ने लोगों से कहा, ‘वे विश्वास कर सकते हैं कि अमेरिकी बैंकिंग प्रणाली अभी भी सुरक्षित है. आपकी जमा राशि सुरक्षित है और आपको जब भी उसकी जरूरत होगी, वह आपके पास होगा.

हालांकि, उन्होंने कहा कि बैंक के प्रबंधकों को निकाल दिया जाएगा और निवेशकों को नुकसान झेलना होगा. ऐसा इसलिए है क्योंकि ‘उन्होंने जानबूझकर जोखिम उठाया और जब जोखिम के दौरान नुकसान का सामना करना पड़ता है तो (वे) अपना पैसा खो देते हैं. पूंजीवाद इसी तरह काम करता है’.

उन्होंने आगे कहा कि वह कांग्रेस और बैंकिंग नियामकों से बैंकों के लिए नियमों को मजबूत करने और यह सुनिश्चित करने के लिए कहने जा रहे हैं कि इस तरह की विफलता दोबारा न हो.

इस बीच, एचएसबीसी होल्डिंग्स ने सोमवार को घोषणा की कि उसकी सहायक कंपनी – एचएसबीसी यूके बैंक – एसवीबी की यूके शाखा, सिलिकॉन वैली बैंक यूके लिमिटेड का अधिग्रहण सिर्फ एक पाउंड में कर रही है.

कैसे एक के बाद एक घटनाओं ने अमेरिकी राष्ट्रपति, ट्रेजरी सचिव और अमेरिकी केंद्रीय बैंक के बोर्ड के अध्यक्ष को एक बैंक के जमाकर्ताओं की मदद करने की कोशिश में शामिल होने के लिए प्रेरित किया, जो एक सप्ताह से भी कम समय पहले तक अच्छी वित्तीय स्थिति में था? और अमेरिकी इतिहास में 2007-08 के वैश्विक वित्तीय संकट के बाद से दूसरे सबसे बड़े बैंकिंग पतन की वजह क्या रही? आइए इस बारे में जानते हैं-

बैंक से निकासी की शुरुआत

SVB अमेरिका का 16वां सबसे बड़ा बैंक था और टेक स्टार्टअप्स को उधार देने के लिए व्यापक रूप से जाना जाता था, जिसमें Pinterest Inc, Shopify Inc, और CrowdStrike Holdings Inc जैसी बड़ी कंपनियां शामिल थीं.

पिछले बुधवार को बैंक ने घोषणा की कि वह शेयर बिक्री से 2.25 बिलियन डॉलर जुटा रहा है और उसने अपने मौजूदा पोर्टफोलियो से 21 बिलियन डॉलर मूल्य की प्रतिभूतियां भी बेची हैं.

बैंक ने कहा कि जमा राशि में गिरावट के कारण नकदी जुटाने के लिए उसे ऐसा करने की जरूरत थी.

डिपॉजिट कम हो रहे थे क्योंकि यूएस में स्टार्टअप्स चल रही ‘फंडिंग विंटर’ – स्टार्टअप्स के लिए कम पूंजी प्रवाह का एक एक्सटेंडेड पीरियड- से निपटने के लिए अपनी बचत निकाल रहे थे.

उसी समय, यह सामने आया कि एसवीबी ने अपनी जमा राशि का एक बड़ा हिस्सा बॉन्ड में निवेश किया है, जिसे उसने तब खरीदा था जब अमेरिका में ब्याज दरें अपेक्षाकृत कम थीं. अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा 2022 की शुरुआत से लगातार ब्याज दरों में 450 आधार अंकों की बढ़ोतरी के साथ, इन बांडों का मूल्य तेजी से गिरना शुरू हो गया.

इसका मतलब यह था कि जब एसवीबी फंड जुटाने के लिए इन बांडों को बेचने लगा, तो उसे घाटे में ऐसा करना पड़ा.

शेयर बिक्री की घोषणा के एक दिन बाद, एसवीबी की पेरेंट कंपनी ‘एसवीबी फाइनेंशियल ग्रुप’ ने शेयर की कीमत में 60 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की.

इसके साथ ही, एसवीबी की वित्तीय तंगी की खबर के बाद से डिपॉजिट को तेजी से निकाला जाने लगा. जमाराशियों की बड़े पैमाने पर निकासी से वेंचर कैपिटलिस्ट और स्टार्टअप पहले से ही काफी डरे होते हैं क्योंकि उनके पैसे की निकासी पर रोक लग सकती है और उनका डर सही साबित हुआ.

शुक्रवार को कंपनी के शेयर की कीमत में तेजी से गिरावट जारी रही, जिससे कारोबार ठप हो गया.

एसवीबी ने 10 मार्च को एक नियामक फाइलिंग में कहा, ‘9 मार्च, 2023 से पहले बैंक की वित्तीय स्थिति अच्छी होने के बावजूद निवेशकों और जमाकर्ताओं ने 9 मार्च, 2023 को बैंक से जमा राशि में 42 बिलियन डॉलर की निकासी शुरू कर दी, जिससे बैंक पर असर पड़ा. 9 मार्च को कारोबार बंद होने तक, बैंक के पास लगभग 958 मिलियन डॉलर का नेगेटिव कैश बैलेंस था.’

बैंक का अंत

FDIC ने शुक्रवार को घोषणा की कि कैलिफोर्निया डिपार्टमेंट ऑफ प्रोटेक्शन एंड इनोवेशन विभाग SVB को बंद कर रहा है और अगले कुछ दिनों में जमाकर्ताओं की अपनी बीमाकृत जमा राशि तक पहुंच हो जाएगी.

FDIC ने अपने बयान में कहा, ‘FDIC ने बीमित जमाकर्ताओं की सुरक्षा के लिए डिपॉजिट इंश्योरेंस नेशनल बैंक ऑफ सांता क्लारा (DINB) बनाया है. सभी इंश्योर्ड डिपॉजिटर्स के पास सोमवार सुबह, 13 मार्च, 2023 तक अपनी बीमित जमा राशि तक पूर्ण पहुंच होगी.’

FDIC के नए नियमों के अनुसार, जमाकर्ता 250,000 डॉलर तक की जमा राशि का बीमा कर सकते है.

हालांकि, ट्रेजरी सचिव, फेडरल रिजर्व बोर्ड के अध्यक्ष और एफडीआईसी के अध्यक्ष द्वारा रविवार को जारी किए गए संयुक्त बयान के अनुसार, जमाकर्ताओं के पास सिर्फ अपनी बीमा राशि तक नहीं बल्कि अपनी सभी जमा राशि तक पहुंच होगी.

हालांकि एसवीबी ने कथित तौर पर कुछ भारतीय स्टार्टअप्स में भी निवेश किया है. यह निवेश कितना है? अभी इसे लेकर कुछ साफ नहीं है इसलिए यह पता लगाना फिलहाल मुश्किल है कि बैंक के बंद हो जाने का यहां कितना असर होगा.

(संपादनः शिव पाण्डेय)
(इस खबर को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


यह भी पढ़ेंः अमेरिका में सिलिकॉन वैली बैंक के डूबने का खतरा, भारतीय बैंकों और लोगों पर पड़ सकता है इसका असर


 

share & View comments