नई दिल्ली: दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार लगातार चुनावी फैसले ले रही है. 2020 के फरवरी में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए पहले महिलाओं को साधने की कोशिश हुई. इसके लिए पहले दिल्ली सरकार ने भविष्य में महिलाओं के लिए मेट्रो और बस फ्री किए जाने की घोषणा की. अभी इसे लेकर बहस और इससे जुड़ी तैयारियां चल ही रही थीं कि सरकार ने दिल्ली में ऑटो का किराया बढ़ाने से जुड़ा नोटिफिकेशन जारी कर दिया. दिप्रिंट से बातचीत में हरेंद्र नाम के ऑटो चालक ने इसे चुनावी जुमला करार दिया.
क्या है नए बदलाव
पहले दो किलोमीटर के लिए ऑटो लेने वाले को 25 रुपए देने होते थे. यानी अगर मीटर डाउन हुआ है तो सवारी करने वाले को कम से के कम 25 रुपए देने होंगे. अब किराया तो उतना ही रहेगा लेकिन दूरी घट जाएगी. यानी अब 1.5 किलोमीटर के लिए सवारी को 25 रुपए देने होंगे.
अब से पहले दो किलोमीटर के बाद के हर एक किलोमीटर के लिए आठ रुपए देने होते थे. अब पहले 1.5 किलोमीटर के बाद हर एक किलोमीटर के लिए 9.5 रुपए देने होंगे. वेटिंग यानी इंतज़ार से जुड़े चार्ज को भी बढ़ाया गया है और इसे 0.75 पैसे कर दिया गया है. पहले वेटिंग चार्ज को लेकर बहुत सख्ती थी. लेकिन अब ढील दे दी गई है.
रात के चार्ज में कोई बदलाव नहीं हुआ है. ये पहले की तरह ही 25% है. वहीं, सामान से जुड़े चार्ज भी जस के तस हैं. नए बदलावों पर दिप्रिंट से बात करते हुए हरेंद्र नाम के एक ऑटो चालक ने कहा, ‘ये सब चुनावी जुमला है. चुनाव आने से पहले ऑटो वालों को बदनाम करने के लिए कहेंगे कि कई बार किराया बढ़ाया गया.’ वो कहते हैं कि गैस की कीमतें लगातार बढ़ीं लेकिन 2013 के बाद किराया अब बढ़ाया गया.
किराया बढ़ोत्तरी पर दिल्ली के ट्रांसपोर्ट मिनिस्टर कैलश गहलोत का ट्वीट
इसी मामले पर ट्वीट करते हुए दिल्ली के ट्रांसपोर्ट मंत्री कैलाश गहलोत लिखते हैं, ‘अरविंद केजरीवाल ने एक और वादा पूरा किया. ट्रांसपोर्ट मंत्रालय ने ऑटो के भाड़े को बढ़ाने से जुड़ा नोटिफिकेशन जारी किया है.’ इसी ट्वीट में कैलाश गहलोत का दावा कि है किराए बढ़ाए जाने के बावजूद दिल्ली में ऑटो का किराया बाकी के बड़े शहरों की तुलना में कम है.
.@ArvindKejriwal govt fulfills its key promise. Transport Department has notified revision of autorickshaw fares
After revision also, auto fares in Delhi to remain lower than other metro cities. @AamAadmiParty @AAPDelhi pic.twitter.com/9ursOOlvXG— Kailash Gahlot (@kgahlot) June 12, 2019
मामले पर दिप्रिंट से बातचीत में एक कामकाजी लड़की नैन्सी ने कहा, ‘ऑटो का किराया बढ़ना सीधे हमारे जेब पर असर डालेगा.’ नैन्सी का मानना है कि ऑटो वालों को ध्यान में रखते हुए किराया बढ़ाया जाना चाहिए. लेकिन लोगों का भी उतना ही खयाल रखा जाना चाहिए. महिलाओं के लिए मेट्रो और बस को फ्री किए जाने के वादे को वो भेदभावपूर्ण बताती हैं और कहती हैं, ‘दिल्ली में लड़के और लड़की के बीच ख़ासा अंतर नहीं है इसलिए ऐसा करना सही नहीं है.’
अभी तक फ्री मेट्रो-बस को लेकर दिल्ली सरकार का है ये प्लान
बुधवार को दिल्ली के सीएम केजरीवाल ने कहा कि महिलाओं के मेट्रो में फ्री सफर के लिए स्पेशल ‘पिंक टोकन’ की व्यवस्था की जाएगी. इस मामले पर बोलते हुए राज्य के डिप्टी सीएम सिसौदिया ने कहा कि दिल्ली मेट्रो द्वारा सरकार को एक ‘ठोस योजना’ भेजी गई है. सरकार के मुताबिक दिल्ली मेट्रो ने इसके लिए 1,566.64 करोड़ रुपए की मांग की है.
ग़ौर करने वाली बता ये है कि सरकार के मुताबिक दिल्ली मेट्रो ने कहा है कि इस योजना को लागू करने में 8 महीने का समय लगेगा. अभी दिल्ली के चुनाव में भी आठ महीने का समय है. यानी योजना लागू होने और चुनाव पूरे होने का समय एक है जिससे इस वादे का वादा ही रह जाने का डर है. हालांकि दिल्ली सरकार ने आश्वासन देते हुए कहा कि वो इसे तीन महीने में पूरा करने की कोशिश करेगी.
ज़्यादा समय लगने की पीछे दिल्ली मेट्रो ने ये वजह बताई है कि महिलओं को जो पास दिया जाएगा उसके सॉफ्टवेयर को अपग्रेड करने में सालभर का समय लग सकता है. इसी से बचने के लिए ‘पिंक टोकन’ का रास्ता अपनाया जाएगा. महिलाओं के लिए अलग टिकट काउंटर और वेंडिंग मशीन लगाने की भी बात कही गई है और जो काउंटर और गेट्स इस्तेमाल नहीं हो रहे उन्हें भी खोले जाने की बात कही गई है. ऐसे 170 गेट हैं जिनका इस्तेमाल नहीं हो रहा. उनका इस्तेमाल इस स्कीम के लिए किया जाएगा.
दिल्ली में ऑटो वालों की संख्या एक लाख़ के करीब बताई जाती है. ये शुरू से आम आदमी पार्टी (आप) का वोट बैंक रहे हैं. वहीं दिल्ली की लगभग 2 करोड़ की आबादी में से आधी महिलाएं हैं. ऐसे में आप ने इन दो तबकों को अपने दो कदमों के जरिए साधने की कोशिश की है. लेकिन दिप्रिंट को जिस तरह की प्रतिक्रिया मिली है. उससे किराया बढ़ाए जाने के अलावा फ्री मेट्रो-बस का वादा अभी तो आप के पक्ष में जाता नहीं दिख रहा.