नई दिल्ली: लॉकडाउन में प्रतिबंधों पर ढील के साथ, राजमार्ग क्षेत्र तेजी से अपनी काम पर वापसी कर रहा है. चालू परियोजनाओं पर लगभग 80 प्रतिशत काम शुरू हो गया है, सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों ने दिप्रिंंट को यह जानकारी दी है.
मंत्रालय को 2020-21 के वित्तीय वर्ष में 12,000 किमी सड़कों के निर्माण को लेकर आशान्वित है, जो प्रतिदिन लगभग 32 किमी रोड पर काम कर रहा है.
एक वरिष्ठ राजमार्ग मंत्रालय के अधिकारी ने कहा, ‘वर्तमान में, चालू परियोजनाओं में फिर से 80 प्रतिशत निर्माण कार्य शुरू हो गया है. वापस आने वाले मजदूरों की संख्या 50 प्रतिशत से बढ़कर 80 प्रतिशत हो गई है.’
अधिकारी, जो कि नाम नहीं बताना चाहते थे, ने कहा कि मंत्रालय को उम्मीद है कि एक महीने में और अधिक मजदूर वापस आ जाएंगे.
मंत्रालय के एक दूसरे अधिकारी ने कहा कि 65 प्रतिशत वाणिज्यिक वाहन राजमार्गों पर वापस आ गए हैं और टोल राजस्व, जो लॉकडाउन के दौरान प्रभावित हुआ था, वह ऊपर उठा रहा है.
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प्राथमिकता में रहने वाली परियोजनाएं
मंत्रालय के दूसरे अधिकारी ने कहा कि दिल्ली-मुंबई, बेंगलुरु-चेन्नई और विशाखापत्तनम-रायपुर जैसी एक्सप्रेस-वे परियोजनाओं पर काम को प्राथमिकता दी जाएगी.
मंत्रालय प्रस्तावित दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे को वडोदरा-मुंबई तक विस्तार के लिए निविदा प्रक्रिया को भी पूरा करने की योजना बना रहा है. इस एक्सप्रेस-वे परियोजना को 2023 तक पूरा करने का लक्ष्य है.
उपर्युक्त पहले आधिकारिक ने जिक्र करते हुए कहा, ‘बेंगलुरु-चेन्नई और विजाग-रायपुर ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे परियोजनाओं के लिए भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया जारी है.’
केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने पिछले महीने दिप्रिंट के ‘ऑफ द कफ’ के डिजिटल शो में बातचीत के दौरान कहा था कि उनका मंत्रालय अगले दो वर्षों में 15 लाख करोड़ रुपये के राजमार्ग का कार्य शुरू करने की योजना बना रहा है.
गडकरी ने यह भी कहा था कि 1 लाख करोड़ रुपये के बजटीय आवंटन के साथ इस क्षेत्र में धन की कोई कमी नहीं है. राजमार्ग मंत्रालय को 2020-21 के केंद्रीय बजट में 91,823 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं.
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