scorecardresearch
Saturday, 20 April, 2024
होमदेशलखनऊ: मायावती पर 59 करोड़ का संकट, सपा ने साधी चुप्पी

लखनऊ: मायावती पर 59 करोड़ का संकट, सपा ने साधी चुप्पी

चार बार प्रदेश की मुख्यमंत्री रहीं मायावती ने अपनी प्रतिमाओं पर 3.49 करोड़ रुपये, अपने गुरु कांशीराम की प्रतिमाओं पर 3.77 करोड़ रुपये और अपनी पार्टी के चुनाव चिन्ह हाथी की मूर्तियों पर 52.02 करोड़ रुपये खर्च किए हैं.

Text Size:

लखनऊ: हाथी की मूर्तियों को लेकर बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती पर 59 करोड़ रुपये की वापसी का हाथी जैसा संकट आ गया है.

दरअसल, सर्वोच्च न्यायालय ने उनको उत्तर प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में उद्यानों में हाथियों की मूर्तियां, बसपा के संस्थापक कांशीराम और उनकी अपनी प्रतिमाएं स्थापित करने पर खर्च हुए धन वापस करने को कहा है.

एक अनुमान के मुताबिक, चार बार प्रदेश की मुख्यमंत्री रहीं मायावती ने अपनी प्रतिमाओं पर 3.49 करोड़ रुपये, अपने गुरु कांशीराम की प्रतिमाओं पर 3.77 करोड़ रुपये और अपनी पार्टी के चुनाव चिन्ह हाथी की मूर्तियों पर 52.02 करोड़ रुपये खर्च किए हैं.

प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई, न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और दीपक गुप्ता की पीठ ने अपनी राय में कहा, ‘महोदया मायावती इन मूर्तियों पर खर्च धन की प्रतिपूर्ति सरकार के खजाने को करें’.

गठबंधन के घटक दल समाजवादी पार्टी (सपा) ने भी उनको खुद बचाव करने को छोड़ दिया है जिससे उनकी समस्या बढ़ गई है. बुआ जी पर सरकारी धन का दुरुपयोग करने का आरोप लगाते रहने वाले सपा प्रमुख अखिलेश यादव के पास अब कोई सवाल नहीं है.

अच्छी पत्रकारिता मायने रखती है, संकटकाल में तो और भी अधिक

दिप्रिंट आपके लिए ले कर आता है कहानियां जो आपको पढ़नी चाहिए, वो भी वहां से जहां वे हो रही हैं

हम इसे तभी जारी रख सकते हैं अगर आप हमारी रिपोर्टिंग, लेखन और तस्वीरों के लिए हमारा सहयोग करें.

अभी सब्सक्राइब करें

उन्होंने कहा, ‘मैंने सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के बारे में पूरा नहीं पढ़ा है. बसपा के वकील मसले से निबटेंगे.’

मामले को अंतिम फैसले के लिए दो अप्रैल को सूचीबद्ध किया गया है. उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री की चिंता के दो कारण हैं- पहला यह कि अदालत की झिड़की से आगामी लोकसभा चुनाव में पार्टी की संभावनाओं पर असर पड़ सकता है और प्रतिद्वंद्वी पार्टी खासतौर से भारतीय जनता पार्टी को एक बार फिर उनको दलित नहीं दौलत की बेटी कहने का मौका मिल जाएगा. दूसरा कारण यह है कि इससे उनके बटुए में बड़ा सुराख बन जाएगा.

लखनऊ स्थित अंबेडकर पार्क में हाथियों की 152 मूर्तियां हैं, जबकि नोएडा स्थित में अंबेडकर पार्क 56 मूर्तियां हैं. मायावती पर सरकारी धन का दुरुपयोग करने के अलावा स्मारकों के ठेके देने में गड़बड़ी करने का आरोप है.

इस मसले को लेकर सर्वोच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका (पीआईएल) दायर की गई थी. याचिकाकर्ता अधिवक्ता रविकांत ने कहा कि सत्ता में रहते हुए राजनीतिक हितों के लिए सरकारी धन का खुल्लमखुल्ला उपयोग किया गया.

मुख्यमंत्री रहते हुए अखिलेश यादव के आदेश पर हुई लोकायुक्त जांच में भी 1,400 करोड़ रुपये के घोटाले का अनुमान लगाया गया था.

share & View comments