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Sunday, 3 November, 2024
होमदेशसात बार कोरोना पॉजिटिव पाया गया वडोदरा का 19-वर्षीय लड़का, लेकिन अभी तक नहीं दिखा कोई लक्षण

सात बार कोरोना पॉजिटिव पाया गया वडोदरा का 19-वर्षीय लड़का, लेकिन अभी तक नहीं दिखा कोई लक्षण

जय पाटनी, अपने आठवें कोरोना टेस्ट के परिणाम का इंतज़ार कर रहा है. वह तब तक घर नहीं जाना चाहता है जब तक कि कोरोना का परिणाम नेगेटिव न आ जाए, क्योंकि उसे डर है कि वह अपने माता-पिता को फिर से संक्रमित कर सकता है, जो कि अब ठीक हो चुके हैं.

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वडोदरा: करीब महीने भर आइसोलेशन में समय बिताने वाले 19 वर्षीय जय पाटनी को सात बार कोरोना पॉजिटिव पाया गया है.

पाटनी वडोदरा के हाई स्पीड रेलवे ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट में दर्जनों कोविद -19 पॉजिटिव रोगियों में से एक है, जो कोरोना ऐसे रोगियों के लिए क्वारंटाइन सुविधा केंद्र है जिनमे रोग के हलके लक्षण हैं या नहीं हैं.

हाई स्पीड रेल ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट, वडोदरा | फोटो : प्रवीण जैन

हालांकि, जांच के बाद से पाटनी में कोई लक्षण नहीं दिखा है.

उसने दिप्रिंट को बताया ‘खांसी, थकान, सिरदर्द नहीं है, मैं पहले दिन के बाद से पूरी तरह से ठीक महसूस कर रहा हूं.’ वह अपने कमरे के बाहर और गलियारे में खड़ा था और क्वारंटाइन केंद्र के आंगन को देख रहा था। उसने कहा कि वह ‘टाइम-पास’ के खातिर गलियारे में घूमता रहता है.

पाटनी ने कहा ‘यहां पर उसके करने के लिए कुछ भी नहीं है। मैं गलियारें में घूम कर फिल्म देखता हूं, फोन पर बात करता हूं, गेम खेलता हूं, इस तरह दिन बीतता है.’ 12 मई को, पटनी का सोशल डिस्टैन्सिंग का एक महीना पूरा होगा.

वह अपने माता-पिता के साथ 12 अप्रैल को कोरोना पॉजिटिव पाया गया था। पड़ोस में एक बच्चे के बीमार पड़ने और गुजर जाने के बाद उन्होंने परीक्षण कराने का फैसला किया। शुरुआत में, उनका मानना ​​था कि उसकी मृत्यु के पीछे कोरोनोवायरस था, लेकिन बाद में डेंगू होने का पता चला.

क्वारंटाइन केंद्र के गलियारे में, जय पाटनी | फोटो :प्रवीण जैन

वडोदरा के एमएस कॉलेज में प्रथम वर्ष का छात्र पाटनी और उसके माता-पिता वडोदरा के एक प्रमुख कोरोना हॉटस्पॉट नगरवाड़ा में रहते हैं.

इन तीनों को कोरोना रोगियों के लिए शहर के नोडल सुविधा गोटरी मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां पाटनी 20 दिनों तक रुका था. उसके माता-पिता 13 दिनों के भीतर नेगेटिव पाए गए और उन्हें घर वापस भेज दिया गया. उसके लक्षणों में कमी को देखते हुए उसे एक हफ्ते पहले क्वारंटाइन में स्थानांतरित कर दिया गया.

उसने कहा, ‘शुरू में मेरी मां घबरा गई और इस बात को लेकर चिंतित थी कि मेरा पॉजिटिव परिणाम क्यों आता है. मैं बिल्कुल भी चिंतित नहीं हूं. इस बारे में चिंता करने की क्या बात है?’

‘जब तक मैं दो बार लगातार नेगेटिव नहीं आ जाता हूं, तब तक मैं इंतजार करूंगा’

संवेदनशील आरटी-पीसीआर परीक्षण डेड वायरस को चुनता है, जो लगातार पॉजिटिव परिणाम का कारण हो सकता है, लेकिन अभी तक किसी भी डॉक्टर ने पाटनी को यह नहीं बताया है कि ऐसा क्यों हो रहा है.

स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के नए दिशानिर्देशों के अनुसार लक्षणों की शुरुआत के 10 दिन बाद बिना लक्षण वाले / हल्के लक्षणों वाले रोगियों को छोड़ने की अनुमति है.

वडोदरा में क्वारंटाइन केंद्र में अपने बेडरूम के अंदर , जय पाटनी | फोटो : प्रवीण जैन

संशोधित दिशानिर्देशों के तहत पाटनी सात दिनों के लिए क्वारंटाइन रहने की शर्त के तहत घर लौटने के लिए पात्र होगा. शनिवार को, क्वारंटाइन केंद्र ने यह चॉइस दी. लेकिन उसने नहीं चुना.

उसने कहा, ‘मैं अपने माता-पिता को फिर से संक्रमित नहीं करना चाहता. पाटनी ने कहा कि मैं लगातार दो बार नेगेटिव आने का इंतजार करूंगा. इसके अलावा मुझे यहां कोई चिकित्सा सुविधा नहीं दिया जाएगा. जब भी मुझे जरूरत हो कम से कम मैं यहां डॉक्टर को बुला सकता हूं.’

पाटनी अपने आठवें टेस्ट के नतीजों का इंतजार कर रहा है. वह उम्मीद करता है कि यह नेगेटिव आएगा – वह घर जाने के करीब एक कदम है.

(इस खबर को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)

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