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Friday, 1 November, 2024
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सीए के छात्रों का प्रदर्शन चौथे दिन भी जारी, कहा- नून रोटी खाएंगे कॉपी री-चेकिंग कराएंगे

छात्रों का यह प्रदर्शन सोमवार को दिल्ली के आईटीओ स्थित इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाउंटेंट ऑफ इंडिया (आईसीएआई) के मुख्यालय के बाहर शुरू हुआ था.

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नई दिल्ली: सोमवार को शुरू हुआ चार्टर्ड अकाउंटेंट के छात्रों का प्रदर्शन गुरुवार आते-आते और उग्र हो गया है. दिल्ली के विभिन्न इलाकों से छात्र यहां अपनी मांग को लेकर धरने पर बैठे हैं. इन छात्रों के समर्थन में कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि यह देश के 12 लाख छात्रों के भविष्य का सवाल है. उनकी मांगे उचित हैं सभी राजनीतिक पार्टियों को इन छात्रों का समर्थन करना चाहिए.

इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाउंटेंट ऑफ इंडिया (आईसीएआई) के दिल्ली स्थित मुख्यालय के बाहर छात्रों का प्रदर्शन तब तक चलेगा जब तक उनकी मांगे नहीं मान ली जातीं. छात्र इसी साल मई में हुई परीक्षा की उत्तरपुस्तिका की दुबारा जांच की मांग कर रहे हैं.

ये छात्र आज कई बैनरों के साथ बैठे थे और नारे लगा रहे थे. उन्होंने अपने पोस्टर में लिखा था- ‘नून रोटी खाएंगे कॉपी री-चेकिंग कराएंगे’..वहीं दूसरे पोस्टर में उन्होंने अभिनेत्री अनुष्का शर्मा की फोटो के साथ लिखा था- ‘अगर जस्टिस नहीं मिला तो आंटी भी धरने पर बैठेंगी, प्रोटेस्ट यूंही चालेगा.’ वहीं एक छात्र ने अपने पोस्टर में लिखा था तू आईसीएआई भूल गया हम सबको (स्टूडेंट) जिसने बनाया तुझको. इसी के छात्र बीच-बीच में तेज़ आवाज़ में नारे भी लगा रहे थे.

गुरुवार को आईसीएआई के प्रेसिडेंट सीए प्रफुल्ला पी छजेड़ ने कहा कि ’10 प्रतिशत कॉपियों की दुबारा चेकिंग की जाएगी जिससे चेकिंग की गुणवत्ता के बारे में आश्वस्त किया जा सके.’ उन्होंने कहा की कॉपियों की जांच कोडिंग सिस्टम के अंतर्गत कराई जाती है जिससे यह पता नहीं किया जा सकता है कि किसकी कॉपी कौन सी है.

गुरुवार को सीए के छात्रों के प्रदर्शन का चौथा दिन था. दूर-दूर से आए छात्र अपनी मांग को लेकर अड़े हुए हैं और मांगों के पूरा होने के बाद ही इस आंदोलन को खत्म करने की बात कह रहे हैं.

दिप्रिंट को धरने पर बैठे कुछ छात्रों ने बताया कि ‘जब तक आईसीएआई हमारी कॉपी दुबारा जांच की मांग को पूरा नहीं करता तब तक हम यूं ही रोज यहां आते रहेंगे और प्रदर्शन करते रहेंगे.’

सीए के छात्र अविनाश मिश्रा ने बताया, ‘हम रोज सुबह 11 बजे यहां आ जाते हैं और शाम को 6 बजे यहां से जाते हैं. हमारी सिर्फ एक ही मांग है कि आईसीएआई के नियम-39(4) में बदलाव किया जाएं जिससे हमें कॉपी की दोबारा चैकिंग का अधिकार मिल सकें.

क्या है आईसीएआई का नियम-39(4)

प्रदर्शन कर रहे छात्र चार्टर्ड अकाउंटेंटस एक्ट 1949 के नियम 39 (4) में सुधार चाहते हैं. इस नियम के तहत किसी छात्र की किसी पेपर में दिए गए जवाब या मार्क्स की जांच की जा सकती है. लेकिन इसमें री-एग्जाम की कोई व्यवस्था नहीं है. इसमें सिर्फ छात्र अपने नंबरों की री-टोटलिंग करा सकते हैं.

इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाउंटेंट ऑफ इंडिया के कुछ नियम है जिसके तहत पूरी व्यवस्था चलती है. सीए के छात्रों को पढ़ाने वाले आशीष बताते हैं कि वर्तमान में बच्चों को कॉपी की ‘दुबारा चेकिंग’ का अधिकार नहीं है. इस नियम के तहत बच्चे कॉपी को पुनर्मूल्यांकन करा सकते हैं यानी कि जिन सवालों की जांच नहीं हुई है उसे तो जांचा जा सकता है लेकिन पूरी कॉपी की जांच नहीं हो सकती. हम इसी की मांग कर रहे हैं कि बच्चों को यह अधिकार मिले कि उनकी कॉपियों की दुबारा जांच हो सकें.

प्रदर्शन करता छात्र | कृष्ण मुरारी/दिप्रिंट

दिप्रिंट के यह पूछने पर कि वो आईसीएआई के अध्यक्ष द्वारा 10 प्रतिशत कॉपी की जांच किए जाने को कैसे देखते हैं. इस पर आशीष ने कहा ‘यह विचार तो ठीक है लेकिन किन 10 फीसदी कॉपियों की जांच होगी इसकी क्या प्रक्रिया होगी यह कैसे तय होगा.’

उन्होंने बताया कि अभी हमारे कुछ साथी आईसीएआई के अधिकारियों से मिलने गए हैं. हमारी उनसे लगातार बात हो रही है. अगर वो हमारी बात नहीं मानेंगे तो हमारा प्रदर्शन यूं ही चलता रहेगा.

राजनीतिक पार्टियां भी आई समर्थन में

25 सितंबर को राहुल गांधी ने भी इस प्रदर्शन के बारे में ट्वीट कर लिखा कि देशभर के 12 लाख सीए के छात्र अपने अधिकारों के लिए लड़ रहे हैं. हर जगह से यह रिपोर्ट आ रही है कि उत्तर-पुस्तिका की जांच में गड़बड़ियां सामने आ रही हैं. इन छात्रों की मांगे उचित है और सभी राजनीतिक पार्टियों को इसका समर्थन करना चाहिए. बुधवार को नेशनल स्टूडेंट युनियन आफॅ इंडिया (एनएसयूआई) के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री नीरज कुंदन ने सीए के छात्रों से मुलाकात की और उनके लिए लड़ने का आश्वासन दिया था.

प्रदर्शन में छात्रों की संख्या में लगातार तेज़ी आ रही है

दिप्रिंट ने जब प्रदर्शन के पहले दिन रिपोर्ट की थी उस दिन छात्रों की संख्या काफी कम थी. धीरे-धीरे छात्रों की संख्या में काफी वृद्धि हो रही है. छात्र काफी दूर-दूर से बैनर और पोस्टर लेकर प्रदर्शन में शामिल हो रहे हैं. प्रदर्शन कर रहे एक छात्र जो अपने हाथों में अमेंड-39(4) का पोस्टर लिए हुए है उसने कहा कि हम किसी पार्टी के सदस्य या आंदोलनकारी नहीं है. इन लोगों ने हमें मजबूर कर दिया है कि हम सड़कों पर उतरे और अपनी मांगों को लेकर आवाज़ उठाएं. जब तक हमारी मांगों को नहीं माना जाता हमारा आंदोलन जारी रहेगा. इन्हीं छात्रों ने बताया कि देश के करीब 180 सेंटरों पर छात्र कॉपी की दुबारा जांच की मांग के साथ प्रदर्शन कर रहे हैं.

इस प्रदर्शन पर गौर करने पर पता चलता है कि छात्राएं भी काफी संख्या में यहां आई हैं और लगातार अपने हकों के लिए नारे लगा रही हैं. गौरतलब है कि आंदोलन के पहले दिन छात्राओं की संख्या काफी कम थी.

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