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Tuesday, 28 January, 2025
होमदेश26/11 के आरोपी तहव्वुर राणा को लाने के लिए NIA ने 5-सदस्यीय टीम बनाई, खास उड़ान से लाने की तैयारी

26/11 के आरोपी तहव्वुर राणा को लाने के लिए NIA ने 5-सदस्यीय टीम बनाई, खास उड़ान से लाने की तैयारी

भारतीय अधिकारी विमान की व्यवस्था सहित तैयारियों को अंतिम रूप दे रहे हैं. दिल्ली की तिहाड़ जेल को अलर्ट कर दिया गया है. पिछले हफ़्ते अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने राणा के प्रत्यर्पण को मंज़ूरी दे दी थी.

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नई दिल्ली: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने 26/11 मुंबई आतंकवादी हमलों में शामिल ताहव्वुर राणा को भारत लाने की तैयारी शुरू कर दी है. एजेंसी ने पांच अधिकारियों की एक टीम तैयार की है, जो अमेरिकी विदेश मंत्री की अंतिम मंजूरी मिलने के बाद लॉस एंजिल्स की यात्रा करेगी, यह जानकारी दिप्रिंट को मिली है.

आमतौर पर, विदेश मंत्री की मंजूरी मिलने के 24 घंटे के भीतर भेजने की प्रक्रिया पूरी हो जाती है, सुरक्षा तंत्र से जुड़े सूत्रों ने दिप्रिंट को बताया. राणा इस समय लॉस एंजिल्स के एक डिटेंशन सेंटर में हिरासत में हैं.

“अमेरिकी विदेश मंत्री को प्रत्यर्पण की अंतिम मंजूरी देनी है, और हम उसी का इंतजार कर रहे हैं,” एक सूत्र ने बताया. यह मंजूरी भारतीय अधिकारियों को अमेरिकी दूतावास के माध्यम से दी जाएगी, जो संबंधित एजेंसी को इसे आगे बढ़ाएगी.

सूत्रों का कहना है कि भारत को फैसले के अपने पक्ष में होने की उम्मीद है. “हम राणा के प्रत्यर्पण की तैयारी कर रहे हैं और पिछले कुछ महीनों से अमेरिकी दूतावास के अधिकारियों के साथ बैठकें कर रहे हैं. हमारे पास उनके खिलाफ पुख्ता सबूत हैं और जिस तरह से भारत ने अपना पक्ष रखा, हमें पूरा भरोसा था कि फैसला हमारे पक्ष में होगा.”

सूत्र ने कहा, “अब यह केवल समय की बात है, और हम तैयार हैं, जब तक कोई कानूनी बाधा न आ जाए, लेकिन इसकी संभावना नहीं है.” 

पांच अधिकारियों की एक अस्थायी टीम तैयार की गई है, जो अमेरिका जाकर राणा को वापस लाएगी. इसमें इंस्पेक्टर जनरल रैंक के अधिकारी शामिल हैं.

सूत्र ने कहा, “न्यायिक प्रक्रिया अब खत्म हो चुकी है, अब केवल राज्य का फैसला बाकी है, और टीम मंजूरी मिलते ही रवाना हो जाएगी.”  उन्होंने यह भी बताया कि टीम एनआईए की है क्योंकि राणा के खिलाफ चार्जशीट इसी एजेंसी ने दायर की थी.

सूत्र ने कहा, “टीम पहले से ही अपने अमेरिकी समकक्षों के साथ राणा के ट्रांजिट की योजना पर काम कर रही है.” 

सूत्रों ने यह भी बताया कि राणा को किस माध्यम से भारत लाया जाएगा, इस पर अंतिम फैसला अभी नहीं हुआ है. यह एक चार्टर्ड फ्लाइट, सैन्य विमान, या फिर एक व्यावसायिक उड़ान हो सकती है, हालांकि व्यावसायिक उड़ान की संभावना कम है.

इस बीच, तिहाड़ जेल, जहां राणा को लाने के बाद रखा जाएगा, को भी आवश्यक तैयारियां करने का निर्देश दिया गया है.


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न्यायिक प्रक्रिया समाप्त

पाकिस्तानी मूल के एक कनाडाई नागरिक राणा को 2008 के मुंबई आतंकवादी हमलों में शामिल होने के लिए भारत ने तलाशा है. इन हमलों में कम से कम 174 लोग मारे गए थे और 300 से अधिक घायल हुए थे.

पाकिस्तान सेना के पूर्व डॉक्टर राणा 1997 में कनाडा चले गए थे. बाद में वे अमेरिका चले गए, जहां उन्होंने एक इमिग्रेशन फर्म स्थापित की. एनआईए ने अपनी चार्जशीट में आरोप लगाया है कि इस फर्म का इस्तेमाल लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी डेविड हेडली ने 2008 के घातक आतंकवादी हमलों के लिए प्रमुख इमारतों की रेकी करने के लिए किया था.

अमेरिकी फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (एफबीआई) ने राणा को हेडली की मदद करने के आरोप में गिरफ्तार किया था. हेडली को उसके कामों के लिए दोषी ठहराया गया, लेकिन राणा को 2011 में अपर्याप्त सबूतों के कारण बरी कर दिया गया.

हालांकि, एक अन्य मामले में, उन्हें एक डेनिश समाचार पत्र पर असफल हमले की साजिश रचने के लिए दोषी ठहराया गया और 14 साल की सजा सुनाई गई. कोविड-19 महामारी के दौरान दया के आधार पर उन्हें जेल से रिहा कर दिया गया था, लेकिन 2020 में भारत द्वारा प्रत्यर्पण का अनुरोध किए जाने के बाद अमेरिकी अधिकारियों ने उन्हें फिर से गिरफ्तार कर लिया.

राणा के प्रत्यर्पण का आदेश पहली बार मई 2023 में एक अदालत ने दिया था, जिसे उन्होंने कैलिफोर्निया जिला अदालत में चुनौती दी. हालांकि, जिला अदालत ने प्रत्यर्पण अदालत के फैसले को बरकरार रखा.

उनकी याचिका को जब अमेरिकी कोर्ट ऑफ अपील्स ने भी खारिज कर दिया, तो राणा ने पिछले साल नवंबर में सुप्रीम कोर्ट का रुख किया. यह उनके पास प्रत्यर्पण रोकने का अंतिम कानूनी उपाय था.

21 जनवरी को, शीर्ष अदालत ने उनकी समीक्षा याचिका खारिज कर दी, जिससे भारत में उनके प्रत्यर्पण का रास्ता साफ हो गया.

(इस रिपोर्ट को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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