scorecardresearch
Friday, 22 November, 2024
होमविदेश11 महीनों में इमरान पर 80वां केस दर्ज, पाकिस्तानी अदालत ने पूर्व PM के खिलाफ गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी

11 महीनों में इमरान पर 80वां केस दर्ज, पाकिस्तानी अदालत ने पूर्व PM के खिलाफ गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी

पुलिस ने FIR में पीटीआई कार्यकर्ता अली बिलाल की 'मौत' का भी जिक्र किया, जिससे उसकी हत्या के लिए एक अलग मामला दर्ज करने की संभावना कम हो गई.

Text Size:

नई दिल्ली: पाकिस्तान के पूर्व पीएम इमरान खान के खिलाफ पाकिस्तान की एक अदालत ने सरकारी संस्थानों के खिलाफ उकसाने के एक मामले में गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया. और अदालत ने निर्देश दिया कि इमरान को अदालत में पेश करें.

बता दें कि इस केस के दर्ज होने के बाद इमरान खान पर 80वां केस दर्ज कर लिया गया है. इस्लामाबाद की एक अदालत ने तोशाखाना मामले में ये गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया, जिसके बाद पुलिस ने छापेमारी शुरू की.
इमरान खान के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी होते ही पीटीआई और इमरान खान के समर्थक सड़कों पर उतर आए और प्रदर्शन करने लगे. जिसके बाद पुलिस और इमरान के प्रशंसकों के बीच जबरदस्त झड़प हुई जिसमें एक प्रशंसक के मारे जाने की खबर है.

लाहौर पुलिस ने इमरान खान, फवाद चौधरी, फारुख हबीब, हम्माद अजहर, महमूद रशीद और इजाज चौधरी सहित 400 से अधिक पीटीआई नेताओं और कार्यकर्ताओं के खिलाफ आतंकवाद विरोधी अधिनियम और पीपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की है. जिसमें 13 पुलिसकर्मियों को गंभीर रूप से घायल है और उन पुलिस कर्मियों और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया गया है.

‘घायल’ डीएसपी साबिर अली की शिकायत पर रेस कोर्स पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया था, जिसमें आरोप लगाया गया था कि 400 पीटीआई कार्यकर्ताओं की भीड़ हिंसक हो गई और बुधवार को पार्टी अध्यक्ष और पुलिस पर कई हमले किए. अन्य वरिष्ठ नेता ने कहा, पीटीआई के अपने साथियों के हिंसक हमलों के कारण पीटीआई के कई कार्यकर्ता भी घायल हो गए.

पुलिस ने FIR में पीटीआई कार्यकर्ता अली बिलाल की ‘मौत’ का भी जिक्र किया, जिससे उसकी हत्या के लिए एक अलग मामला दर्ज करने की संभावना कम हो गई.

बलूचिस्तान की राजधानी क्वेटा में न्यायिक मजिस्ट्रेट -1 बशीर अहमद बजाई की अदालत ने राज्य के संस्थानों और अधिकारियों के खिलाफ अभद्र भाषा के एक मामले में पीटीआई अध्यक्ष के लिए गैर-द्विभाषी वारंट जारी किया.

पुलिस ने न्यायिक मजिस्ट्रेट से संपर्क किया और 6 मार्च को बिजली रोड पुलिस स्टेशन में नवां किल्ली निवासी अब्दुल खली कक्कड़ की शिकायत पर खान के खिलाफ दर्ज एक FIR के आधार पर खान के लिए वारंट मांग की.

गौरतलब है कि ये वारंट रविवार को उनके राजकीय संस्थाओं और उनके अधिकारियों के खिलाफ इमरान खान की टिप्पणी के बाद क्वेटा पुलिस ने सोमवार को उनके भाषण के बाद राज्य संस्थानों और उनके कार्यालयों के खिलाफ “नफरत फैलाने” के लिए इलेक्ट्रॉनिक अपराध रोकथाम अधिनियम 2016 की धारा 153ए, 124ए और 505 के तहत मामला दर्ज किया.

क्या है तोशाखाना मामला

इमरान खान तोशाखाना मामले में बुरी तरह घिरे हुए हैं. उनकी सरकार गिरने के बाद उनकी संसद सदस्यता चली गई थी. दरअसल तोशाखाना पाकिस्तानी कैबिनेट में एक विभाग होता है, जहां दूसरे देश की सरकारों, राष्ट्रप्रमुखों और विदेशी मेहमानों द्वारा दिए गए उपहारों को रखा जाता है.

सरकार किसी की भी हो, ये उपहार तोशाखाना में रखने जरूरी होते हैं. इमरान खान पर आरोप है कि 2018 में जब वह पाकिस्तान के पीएम बने तो उन्हें अरब देशों तथा अन्य राष्ट्रों की यात्रा के दौरान काफी महंगे तोहफे मिले थे. इमरान ने इन उपहारों को तोशाखाना में जमा करा दिया और बाद में इन्हें सस्ते दाम में खरीद लिया और ज्यादा कीमतों पर बेच दिया. गौर करने वाली बात ये है कि उनकी सरकार ने तब इसे बकायदा कानूनी अनुमति दी थी.

इमरान ने क्या कहा था सफाई में

इमरान ने अपनी सफाई में कहा था कि ये उनके तोहफे हैं जो निजी तौर पर दिए गए थे इसलिए उनका इस पर पूरा अधिकार है.

गौरतलब है कि, जब इमरान खान प्रधानमंत्री थे तब उन्हें करीब 6 करोड़ रुपये का मुनाफा हुआ था. जो उपहार बेचे गए थे उनमें एक ग्राफ घड़ी, कफलिंक का एक जोड़ा, एक महंगा पेन, एक अंगूठी और चार रोलेक्स घड़ियां सहित कई अन्य उपहार शामिल थे.


यह भी पढ़ें: शी जिनपिंग तीसरी बार चीन के राष्ट्रपति चुने गए, सबसे लंबे समय के लिए राष्ट्रपति बनें


share & View comments