दिप्रिंट के संपादकों द्वारा चुने गये दिन के सबसे अच्छे कॉर्टून
चयनित कार्टून पहले अन्य प्रकाशनों में प्रकाशित किए जा चुके हैं जैसे प्रिंट, ऑनलाइन या सोशल मीडिया पर और इन्हें उचित श्रेय भी मिला है।
कार्टूनिस्ट नीलभ बनर्जी केंद्र सरकार के द्वारा सुप्रीम कोर्ट के ऊपर धारा 377 का निर्णय लेने और मामले से हाथ अलग करने के लिए केंद्र पर तंज करते हैं।(सेक्शन 377,केंद्र सरकार,सुप्रीम कोर्ट )
द इंडियन एक्सप्रेस में मीका अज़ीज़ ने मुंबई की स्थिति को दर्शाया है, जहां पर लगातार बारिश से शहर में बाढ़ आ गई है। इस वर्ष मुंबई में सामान्य वर्षा से 95 प्रतिशत अधिक दर्ज की गयी है ।(बुलेट बोट ,मुंबई )
विश्व जनसंख्या दिवस के थीम पर संदीप अध्वर्यु द टाइम्स ऑफ इंडिया में यह वर्णन करते है कि भारत को सच्चाई के विरुद्ध जनसँख्या विभाजन को कम करना चाहिए।( (विश्व जनसंख्या दिवस भारत को जनसँख्या विभाजन को कम करना चाहिए) धुले लिंचिंग -25 लोग जिनको गिरफ्तार किया गया था बेरोजगार थे या तो दैनिक मजदूर ,15 लोग अनपढ़ थे|
बीबीसी के लिए अपने कार्टून में उसी विषय को लेते हुए कीर्तिश भट्ट देश में हिंदू-मुस्लिम विभाजन को दर्शाते है ।
एशियन एज में गोकुल गोपालकृष्णन केंद्रीय मंत्री जयंत सिन्हा के द्वारा इस महीने की शुरुआत में आठ लिंचिंग अभियुक्तों को माला पहनाने और उसके बाद उस पर खेद प्रकट करने के मामले पर तंज करते हैं। सिन्हा ने बुधवार को कहा कि उनको अपने किये पर खेद हैं और लिंचिंग की वकालत नहीं करते हैं।(अफसोस की बात है कि विचार के बाद कोई प्रतिष्ठा नहीं है,पछतावा )
कार्टूनिस्ट मंजुल कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) और उसके राज्य केरल में ‘रामायण मासम’ (रामायण का महीना) को देखने के निर्णय पर तंज करते हैं।
सुहेल नक्शबंदी ने आईएएस अधिकारी शाह फैसल के ‘रैपिस्तान’ ट्वीट पर हाल में हुए विवाद पर अपना रुख दर्शाया है। अधिकारी ने पहले ट्वीट किया था “जनसंख्या + पितृसत्ता + निरक्षरता + शराब + अश्लील + प्रौद्योगिकी + अराजकता = रैपिस्तान (एसआईसी)”
(एक अनुभवी बचाव के लिए, हमारे जैसी टीम को स्केलिंग, यह समस्या नहीं होनी चाहिए।)
सुरेंद्र ने द हिंदू में 2019 के आम चुनावों के लिए तमिलनाडु में गठबंधन बनाने की बीजेपी की अफवाह की योजना को दर्शाया हैं ।
Read in English : Section 377 at Supreme Court’s doorstep and Mumbai’s latest local transport