बेंगलुरू: इधर कर्नाटक के सरकारी शिक्षण संस्थानों के भीतर हिजाब पहनने पर लगी पाबंदी के खिलाफ प्रदर्शन चल रहे हैं, उधर राज्य के कुछ हिस्सों में कालेज प्रशासन द्वारा कथित दंडात्मक कार्रवाई के नतीजे में स्थिति और अधिक तनावपूर्ण हो गई है. राज्य के तुमकुरू शहर में पुलिस ने बृहस्पतिवार को, हिजाब पहनकर कक्षाओं के अंदर दाख़िल होने की मांग करने के आरोप में, कुछ अज्ञात छात्राओं के खिलाफ एक एफआईआर दर्ज कर ली है.
माना जा रहा है कि इस मामले में किसी भी छात्र या छात्रा के खिलाफ दर्ज होने वाली ये पहली एफआईआर है, जो एक कालेज प्रिंसिपल की ओर से दर्ज एक शिकायत पर आधारित है, जिससे कुछ दिन पहले ही कर्नाटक हाईकोर्ट ने एक अंतरिम आदेश जारी किया था, जो 11 फरवरी को हाईकोर्ट वेबसाइट पर अपलोड किया गया, जिसमें छात्राओं पर पाबंदी लगा दी गई थी कि जिन कालेजों में एक ड्रेस कोड या यूनिफॉर्म निर्धारित है, वहां अगले आदेश तक वो ‘धार्मिक कपड़े’ नहीं पहन सकतीं.
तुमकुरू टाउन पुलिस द्वारा दर्ज एफआईआर में, एंप्रेस गवर्नमेंट प्री-यूनिवर्सिटी (पीयू) कालेज की 10-15 अज्ञात छात्राओं का उल्लेख है और ये एफआईआर कालेज प्रिंसिपल शनमुख एस की ओर से बृहस्पतिवार को दायर शिकायत पर आधारित है.
एफआईआर के अनुसार, जिसकी एक कॉपी दिप्रिंट के पास है, प्रिंसिपल ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि प्रदर्शनकारी छात्राओं ने, जो हिजाब पहनकर कक्षाओं में आने की अनुमति मांग रहीं थीं, कथित रूप से निषेधात्मक आदेशों (ग़ैर-क़ानूनी सभाओं, प्रदर्शनों, आंदोलनों को रोकने के लिए ज़िला प्रशासन द्वारा लागू) का उल्लंघन किया. प्रिंसिपल ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया कि प्रदर्शनकारी छात्राओं ने दूसरी छात्राओं के बीच डर का माहौल बनाया, कालेज में व्यवधान पैदा किया, और कक्षाओं में हिजाब पहनने पर लगी पाबंदी के आदेशों का उल्लंघन किया.
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और प्रिंसिपल के निलंबन की धमकी देने का वीडियो वायरल हुआ
इस बीच, शुक्रवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स और स्थानीय टेलीविज़न चैनलों पर एक वीडियो वायरल हो गया, जिसमें कर्नाटक के शिवमोगा ज़िले में, शिरालाकोप्पा के एक सरकारी स्कूल के प्रिंसिपल सोमशेखर, हिजाब बैन के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे 58 छात्र-छात्राओं के निलंबन की घोषणा करते दिखाई पड़ रहे हैं.
वीडियो में सोमशेखर को कहते सुना जा सकता है, ‘डिप्टी एसपी, डिप्टी कलेक्टर और स्कूल विकास प्राधिकरण के सदस्य, सबने आपको समझाने की कोशिश की, लेकिन आप अपनी हठ पर बने रहे और क़ानून तोड़ रहे हैं. इसलिए मैं आपको कालेज से निलंबित कर रहा हूं’.
वो आगे कहते हैं: ‘अब, जब आप निलंबित हो चुके हैं, तो आपको कालेज परिसर में घुसने की अनुमति नहीं है’.
लेकिन, शुक्रवार को कालेज की कथित कार्रवाई की आलोचना पर प्रतिक्रिया देते हुए, शिवमोगा के डिप्टी कमिश्नर डॉ सेल्वामणि आर ने दिप्रिंट से कहा कि कोई अधिकारिक निलंबन आदेश जारी नहीं किया गया है.
हिजाब बैन के खिलाफ प्रदर्शन कर रही छात्राओं पर दंडात्मक कार्रवाई की ख़बर ऐसे समय आई है, जब कुछ दिन पहले ही तुमकुरू के एक कालेज में, अंग्रेज़ी की एक लेक्चरर ने ये कहते हुए इस्तीफा दे दिया था कि कालेज प्रशासन उसे बिना हिजाब के पढ़ाने के लिए कह रहा था.
बुधवार को मुख्यमंत्री बासवराज बोम्मई ने कर्नाटक विधान सभा को बताया कि कर्नाटक हाईकोर्ट का अंतरिम आदेश उन डिग्री कालेजों पर लागू नहीं होता, जहां कोई ड्रेस कोड नहीं है.
कोर्ट में कई याचिकाओं पर सुनवाई चल रही है, जिनमें 5 फरवरी को पास किए गए एक सरकारी आदेश को चुनौती दी गई है, जो सरकारी शिक्षण संस्थानों के अंदर हिजाब पहनने पर लगे प्रतिबंध को ‘वैध क़रार देता है’. इस मामले पर अभी अंतिम निर्णय लिया जाना बाक़ी है.
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