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Friday, 22 November, 2024
होमदेश20 किलोमीटर पहले गाड़ी रोके जाने के बाद पीड़ित परिवार से मिलने पैदल हाथरस निकले चंद्रशेखर

20 किलोमीटर पहले गाड़ी रोके जाने के बाद पीड़ित परिवार से मिलने पैदल हाथरस निकले चंद्रशेखर

चंद्रशेखर ने रविवार को किए गए एक ट्वीट में लिखा, 'हमारी मांग है कि देश में 20 लाख बहुजनों को हथियारों के लाइसेंस तत्काल दिया जाए. हमें बंदूक़ और पिस्तौल ख़रीदने के लिए 50% सब्सिडी सरकार दे. हम अपनी रक्षा खुद कर लेंगे.'

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नई दिल्ली: भीम आर्मी और आज़ाद समाज पार्टी (आसपा) प्रमुख चंद्रशेखर आज़ाद रविवार को हाथरस के पीड़ित परिवार से मिलने जा रहे हैं. हालांकि, मीडिया को साझा की गई जानकारी के मुताबिक उनकी गाड़ी को हाथरस से 20 किलोमीटर पहले ही रोक दिया गया जिसके बाद वो भीम आर्मी के अपने साथियों के साथ पैदल ही हाथरस निकल पड़े.

दिप्रिंट से फ़़ोन पर बातचीत में भीम आर्मी के भी प्रमुख चंद्रशेखर ने कहा, ‘मृतक लड़की के गांव के आस-पास के गावों में सीएम योगी आदित्यनाथ के जाति के लोगों को पंचायत करने की इजाज़त दी जा रही है. ये परिवार पर दवाब बनाने की रणनीति नहीं है तो और क्या है? लेकिन मैं परिवार को भरोसा दिलाता हूं कि उन्हें शासन-प्रशासन किसी से डरने की ज़रूरत नहीं है.’

मीडिया रिपोर्ट् के मुताबिक हाथरस पीड़ित के घर के पास हुई जनसभा में आरोपिया के लिए न्याय की मांग उठाई गई. अपनी तरह ये पहली जनसभा नहीं है. इसपर चंद्रशेखर का कहना है कि उनका संगठन और वो परिवार के साथ खड़े हैं और वो तब तक परिवार संग खड़े रहेंगे जब उन्हें न्याय नहीं मिल जाता.

इसके पहले पीड़ित परिवार को फंसाए जाने की आशंका जताते हुए 3 अक्टूबर के एक ट्वीट में उन्होंने लिखा, ‘यूपी सरकार ने पहले फर्जी मेडिकल रिपोर्ट तैयार की फिर जब हमने सफदरजंग हॉस्पिटल में मेडिकल बोर्ड से पोस्टमार्टम करवाने की मांग की तो आनन फानन में बॉडी को कचरे की तरह जला दिया. देश मे पहली बार पीड़ित परिवार का होगा नार्को टेस्ट, मुझे शक है कल पीड़ित परिवार को हो दोषी बना देगी सरकार.’

यही नहीं, उन्होंने आत्मरक्षा के लिए 20 लाख़ बहुजनों को हथियार दिए जाने की भी मांग की है. इस सिलसिले में रविवार को किए गए एक ट्वीट में उन्होंने लिखा, ‘संविधान में हर नागरिक को जीने का अधिकार दिया है, जिसमें आत्म रक्षा का अधिकार शामिल है. हमारी मांग है कि देश में 20 लाख बहुजनों को हथियारों के लाइसेंस तत्काल दिया जाए. हमें बंदूक़ और पिस्तौल ख़रीदने के लिए 50% सब्सिडी सरकार दे. हम अपनी रक्षा खुद कर लेंगे.’

आपको बता दें 14 सिंतबर को हाथरस की लड़की के साथ हुए कथित रेप के बाद 29 तारीख़ को दिल्ली के सफ़दरजंग में उसकी मौत हो गई. इस दौरान अस्पताल के बाहर प्रदर्शन करने वालों में सबसे पहले भीम आर्मी शामिल थी. इसके बाद मामल तूल पकड़ता गया और इसमें कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, लेफ़्ट के संगठन समेत तमाम और लोग भी शामिल हुई. इसे लेकर दिल्ली के जंतर-मंतर पर शुक्रवार को हुए एक प्रदर्शन में भारी संख्या में लोग जुटे.

प्रदर्शन को देखते हुए योगी आदित्यानाथ की उत्तर प्रदेश सरकार ने मीडिया और राजनीतिक पार्टियों के हाथरस में प्रवेश पर रोक लगा दी थी. हालांकि, लगातार हुए आलोचना के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी और पार्टी की उत्तर प्रदेश की प्रभारी प्रियंका गांधी को परिवार से मिलने जाने दिया गया. इसी के साथ मीडिया को भी गांव में प्रवेश की इजाज़त मिली.

पीड़ित परिवार से शनिवार को मिली प्रियंका गांधी वाड्रा ने रविवार को ट्वीट कर योगी सरकार के परिवार की बात सुनने की मांग की. उन्होंने लिखा, ‘हाथरस के पीड़ित परिवार के अनुसार सबसे बुरा बर्ताव डीएम का था. उन्हें कौन बचा रहा है? उन्हें अविलंब बर्खास्त कर पूरे मामले में उनके रोल की जांच हो. परिवार न्यायिक जांच मांग रहा है तब क्यों सीबीआई जांच का हल्ला करके SIT की जांच जारी है.’

उन्होंने आगे लिखा कि यूपी सरकार यदि जरा भी नींद से जागी है तो उसे परिवार की बात सुननी चाहिए.

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