कांग्रेस वर्किंग कमिटी का ये फैसला करना कि पार्टी के नए अध्यक्ष का चुनाव जून में होगा, ये दिखाता है कि नेतृत्व को लेकर लगातार भ्रम की स्थिति बनी हुई है. पार्टी पर अपनी पकड़ कमजोर न करने की गांधी परिवार की अनिच्छा सीडब्ल्यूसी चुनावों पर उनके रुख से स्पष्ट होता है.