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पीएम मोदी ने किया 20 लाख करोड़ के ‘आत्मनिर्भर भारत’ आर्थिक पैकेज का एलान, लॉकडाउन-4 नए रंग रूप में जारी रहेगा

पीएम मोदी ने आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को सिद्ध करने के लिए, इस पैकेज में- चार एल का सूत्र भी दिया जिसमें उन्होंने लैंड, लेबर, लिक्विडिटी और लॉ सभी पर बल दिया.

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राष्ट्र को संबोधित करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी. फोटो साभार: पीआईबी

नई दिल्ली: कोविड-19 महामारी के दौर में पीएम मोदी ने मंगलवार शाम को राष्ट्र को संबोधित करते हुए आत्मनिर्भर भारत का मंत्र दिया है. इस संबोधन में पीएम ने 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज का एलान किया. इसे ‘आत्मनिर्भर भारत पैकेज’ नाम दिया है. पीएम ने यह भी कहा कि लॉकडाउन जारी रहेगा. लॉकडाउन-4 राज्यों के सुझाव के साथ और नए नियमों के साथ लागू होगा. इसकी जानकारी 18 मई से पहले आपलोगों को दी जाएगी. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण अगले कुछ दिनों तक चरण-दर-चरण तरीके से आर्थिक पैकेज का विस्तृत ब्योरा देश के सामने रखेंगी.

पीएम ने आर्थिक पैकेज की घोषणा करते हुए कहा, ‘कोरोना संकट का सामना करते हुए, नए संकल्प के साथ मैं आज एक विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा कर रहा हूं.ये आर्थिक पैकेज,’आत्मनिर्भरभारत अभियान’ की अहम कड़ी के तौर पर काम करेगा.’

‘आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को सिद्ध करने के लिए, इस पैकेज में- पीएम ने चार एल का सूत्र भी दिया जिसमें उन्होंने लैंड, लेबर, लिक्विडिटी और लॉ सभी पर बल दिया.’

उन्होंने कहा, ‘हाल में सरकार ने कोरोना संकट से जुड़ी जो आर्थिक घोषणाएं की थीं जो रिजर्व बैंक के फैसले थे और आज जिस आर्थिक पैकेज का ऐलान हो रहा है, उसे जोड़ दें तो ये करीब-करीब 20 लाख करोड़ रुपए का है. ये पैकेज भारत की जीडीपी का करीब-करीब 10 प्रतिशत है. इन सबके जरिए देश के विभिन्न वर्गों को आर्थिक व्यवस्था की कड़ियों को 20 लाख करोड़ रुपए का संबल मिलेगा सपोर्ट मिलेगा. 20 लाख करोड़ रुपए का ये पैकेज 2020 में देश की विकास यात्रा को आत्मनिर्भर भारत अभियान को एक नई गति देगा.’

पीएम ने कहा,ये आर्थिक पैकेज हमारे कुटीर उद्योग,गृह उद्योग,हमारे लघु-मंझोले उद्योग,हमारे एमएसएमई के लिए है,जो करोड़ों लोगों की आजीविका का साधन है,जो आत्मनिर्भर भारत के हमारे संकल्प का मजबूत आधार है.

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भव्य इमारत और पांच पिलर्स 

पीएम ने कहा,आत्मनिर्भर भारत की ये भव्य इमारत पांच पिलर्स पर खड़ी है. पहला पिलर है अर्थव्यवस्था.एक ऐसी अर्थव्यवस्था जो पांच पिलर्स पर खड़ी होगी.एक ऐसी इकोनॉमी जो सिर्फ बढ़ोतरी नहीं बल्कि चौतरफा जंप लाएगी.

दूसरा पिलर इंफ्रास्ट्रक्चर एक ऐसा इंफ्रास्ट्रक्चर जो आधुनिक भारत की पहचान बने.

तीसरा पिलर हमारा सिस्टम.एक ऐसा सिस्टम जो बीती शताब्दी की रीति-नीति नहीं बल्कि 21वीं सदी के सपनों को साकार करने वाली टेक्नॉलजी ड्रीवन व्यवस्थाओं पर आधारित हो.

चौथा पिलर हमारी डेमोग्राफी दुनिया की सबसे बड़ी डेमोग्राफी में हमारी वाइब्रेंट डेमोग्राफी हमारी ताकत है आत्मनिर्भर भारत के लिए हमारी ऊर्जा का स्रोत.

पांचवा पिलर डिमांड हमारी अर्थव्यवस्था में डिमांड और सप्लाई चेन का जो चक्र है,जो ताकत है,उसे पूरी क्षमता से इस्तेमाल किए जाने की जरूरत है.

लोकल के लिए वोकल

पीएम ने अपने संबोधन में कहा कि कोरोना ने हमें लोकल मार्केट की चेन का महत्व भी समझा दिया है. स्थानीय बाजार केवल जरुरत नहीं ​बल्कि हम सबकी जिम्मेदारी है. लोकल को हमें अपने जीवन का मंत्र बनाना ही होगा. आपको जो ‘ग्लोबल ब्रांड्स’ दिखते हैं, वो भी कभी ‘लोकल’ थे. लेकिन जब वहां के लोगों ने उन्हें अपनाया और उनका प्रचार ​शुरु किया तो वो ‘प्रोडक्टस लोकल से ग्लोबल’ बन गए.

पीएम मोदी ने इस दौरान भारत में बनने वाली चीजों को आगे बढ़ाने की गुजारिश करते हुए कहा, ‘आज से हर भारतवासी को लोकल के लिए ‘वोकल’ बनना है. आज से हर भारतवासी को न सिर्फ लोकल प्रोडक्ट खरीदने हैं बल्कि उन पर गर्व भी करना है.’


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बचना भी है बढ़ना भी है

पीएम ने कहा, साथियों एक वायरस ने दुनिया को तहस-नहस कर दिया है. विश्वभर में करोड़ों जिंदगियां संकट का सामना कर रही हैं.सारी दुनिया जिंदगी बचाने की जंग में जुटी है. लेकिन थकना, हारना, टूटना-बिखरना, मानव को मंजूर नहीं है.सतर्क रहते हुए ऐसी जंग के सभी नियमों का पालन करते हुए बढ़ना है.

मोदी ने अपने चिर-परिचित अंदाज में कहा, ‘अब हमें बचना भी है और आगे भी बढ़ना है.’

जब हम इन दोनों कालखंडो को भारत के नजरिए से देखते हैं तो लगता है कि 21वीं सदी भारत की हो ये हमारा सपना नहीं ये हम सभी की जिम्मेदारी है.विश्व की आज की स्थिति हमें सिखाती है कि इसका मार्ग एक ही है-‘आत्मनिर्भर भारत’.

पीएम ने कहा आज हमारे पास साधन हैं.हमारे पास सामर्थ्य है.हमारे पास दुनिया का सबसे बेहतरीन टैलेंट है.हम बेस्ट प्रोडेक्टस बनाएंगे.अपनी क्वालिटी और बेहतर करेंगे. सप्लाई चेन को और आधुनिक बनाएंगे. ये हम कर सकते हैं और हम जरूर करेंगे.यही हम भारतीयों की संकल्पशक्ति है. हम ठान लें तो कोई लक्ष्य असंभव नहीं,कोई राह मुश्किल नहीं और आज तो चाह भी है,राह भी है.ये है भारत को आत्मनिर्भर बनाना.

हम अहम मोड़ पर हैं

पीएम ने आगे कहा, ‘एक राष्ट्र के रूप में आज हम एक बहुत ही अहम मोड़ पर खड़े हैं. इतनी बड़ी आपदा भारत के लिए एक संकेत लेकर आई है. ‘

‘एक संदेश लेकर आई है. एक अवसर लेकर आई है.जब कोरोना संकट शुरु हुआ तब भारत में एक भी पीपीई किट नहीं बनती थी.एन-95 मास्क का भारत में नाममात्र उत्पादन होता था.आज स्थिति ये है कि भारत में ही हर रोज 2 लाख पीपीई किट और 2 लाख एन-95 मास्क बनाए जा रहे हैं.’


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पीएम नरेंद्र मोदी का राष्‍ट्र के नाम यह पांचवां संबोधन था. पीएम ने पहली दफा 19 मार्च को रात 8 बजे राष्ट्र को संबोधित किया था. इसमें उन्होंने सावधानियां का पालने करते हुए 22 मार्च को जनता कर्फ्यू की बात कही थी.जनता कर्फ्यू के पीएम ने दूसरी बार 24 मार्च की रात 8 बजे देश को संबोधित करते हुए पूरे देश में 21 दिन के लॉकडाउन की घोषणा की थी.

इसके बाद तीन अप्रैल को पीएम ने लोगों से अपील की थी कि वे पांच अप्रैल की रात 9 बजे कोरोना वॉरियर्स के लिए 9 मिनट का समय निकलें और घरों में दीप, मोमबत्ती और टार्च की लाइट से रोशनी करने का आव्हान किया था. पीएम ने चौथी बार 14 अप्रैल को देशवासियों को संबोधित किया था. इस दौरान उन्होंने पूरे देश में लॉकडाउन 2 की घोषणा की थी.

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